लखनऊ: विपक्ष की तरफ से राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार के लिए यशवंत सिन्हा के नाम पर मुहर लग गई है. सपा समेत सभी सहयोगी दलों के सांसद-विधायक यशवंत सिन्हा को समर्थन देने के लिए तैयार हैं. इसके लिए अखिलेश यादव ने शुक्रवार को पार्टी मुख्यालय पर बैठक कर सांसद और विधायकों से प्रस्तावक फार्म पर हस्ताक्षर करवाए हैं.
गौरतलब है कि समाजवादी पार्टी के कुल 111 विधायक हैं. इनके अलावा सपा गठबंधन में शामिल राष्ट्रीय लोकदल के 8 और सुभासपा के 6 विधायक हैं. इस तरह कुल 125 विधायक हैं. इनके अलावा लोकसभा और राज्यसभा के 3-3 सांसद हैं. सपा मुखिया अखिलेश यादव ने बैठक बुलाकर सभी की सहमति ली है. इस बैठक में सपा के राष्ट्रीय महासचिव और राज्यसभा सांसद रामगोपाल यादव, राज्यसभा सांसद जावेद अली भी मौजूद रहे. हालांकि शिवपाल यादव और आजम खान इस बैठक में शामिल नहीं हुए.
बता दें कि विपक्ष के उम्मीदवार यशवंत सिन्हा के समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव से बेहतर रिश्ते हैं और हाल ही में अखिलेश यादव से उनकी मुलाकात हुई थी. खास बात यह है कि तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष ममता बनर्जी से भी अखिलेश यादव के रिश्ते हैं और पिछले दिनों दिल्ली में विपक्ष के राष्ट्रपति उम्मीदवार को लेकर एक बैठक भी हुई थी. दिल्ली में हुई बैठक में अखिलेश यादव ने मुख्य रूप से शिरकत की थी. यह बैठक ममता बनर्जी ने खासतौर पर विपक्षी नेताओं को एकजुट करने के लिए की थी.
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अखिलेश यादव के ऊपर यशवंत सिन्हा को यूपी के विपक्षी दलों के वोट दिलाने की जिम्मेदारी है. अखिलेश यादव पर उनके सहयोगी दलों राष्ट्रीय लोक दल और सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के विधायकों के भी वोट दिलाने की जिम्मेदारी है. इसके चलते अखिलेश यादव ने इन दोनों दलों के साथ भी बातचीत की है. साथ ही सपा मुख्यालय में बैठक कर पार्टी विधायकों को दिशा-निर्देश देने का काम किया है.
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