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लखनऊ : ओडिसा दिवस के अवसर पर कलाकारों ने दी मनमोहक प्रस्तुति

लखनऊ में ओडिसा दिवस का आयोजन किया गया. यहां उड़ीसा से आए कलाकारों ने 'घोड़ा नाच' और सीता की कहानी दर्शाने वाली 'ओडिसी' और 'छऊ' प्रस्तुति की दी.

ओडिसा दिवस का आयोजन
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Published : Apr 2, 2019, 10:07 AM IST

लखनऊ : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में सोमवार को ओडिसा दिवस का आयोजन किया गया. इस आयोजन में उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए. वहीं प्रिंसिपल सेक्रेट्री संस्कृति विभाग जितेंद्र कुमार ने विशिष्ट अतिथि के रूप में शिरकत की. इस अवसर पर पूर्व आईएएस देवदास चोत्राय ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की.

ओडिसा दिवस का आयोजन

आयोजन में उड़ीसा से आए कलाकारों ने 'घोड़ा नाच' और सीता की कहानी दर्शाने वाली 'ओडिसी' और 'छऊ' की प्रस्तुति दी. इस अवसर पर लखनऊ उड़िया समाज के सेक्रेटरी प्रोफेसर डीआर साहू ने बताया कि 1936 मैं 1 अप्रैल के ही उड़ीसा राज्य की स्थापना हुई थी, तब से लेकर अब तक उसे स्थापना दिवस के रूप में मनाया जाता है. पिछले 24 वर्षों से लखनऊ उड़िया समाज इस दिवस को मनाते हुए आ रहा है.

राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि यहां उड़ीसा दिवस और महाराष्ट्र दिवस भी मनाया जाता है, लेकिन जब मैं उत्तर प्रदेश का राज्यपाल बना तो देखा कि उत्तर प्रदेश दिवस नहीं मनाया जाता है. मेरे प्रयासों के बाद उत्तर प्रदेश दिवस पिछले 2 वर्षों से मनाया जाने लगा. यह देख कर मुझे काफी प्रसन्नता हुई इसके अलावा उड़ीसा की परंपरा के बारे में भी राज्यपाल ने प्रशंसा की.

लखनऊ : उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में सोमवार को ओडिसा दिवस का आयोजन किया गया. इस आयोजन में उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए. वहीं प्रिंसिपल सेक्रेट्री संस्कृति विभाग जितेंद्र कुमार ने विशिष्ट अतिथि के रूप में शिरकत की. इस अवसर पर पूर्व आईएएस देवदास चोत्राय ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की.

ओडिसा दिवस का आयोजन

आयोजन में उड़ीसा से आए कलाकारों ने 'घोड़ा नाच' और सीता की कहानी दर्शाने वाली 'ओडिसी' और 'छऊ' की प्रस्तुति दी. इस अवसर पर लखनऊ उड़िया समाज के सेक्रेटरी प्रोफेसर डीआर साहू ने बताया कि 1936 मैं 1 अप्रैल के ही उड़ीसा राज्य की स्थापना हुई थी, तब से लेकर अब तक उसे स्थापना दिवस के रूप में मनाया जाता है. पिछले 24 वर्षों से लखनऊ उड़िया समाज इस दिवस को मनाते हुए आ रहा है.

राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि यहां उड़ीसा दिवस और महाराष्ट्र दिवस भी मनाया जाता है, लेकिन जब मैं उत्तर प्रदेश का राज्यपाल बना तो देखा कि उत्तर प्रदेश दिवस नहीं मनाया जाता है. मेरे प्रयासों के बाद उत्तर प्रदेश दिवस पिछले 2 वर्षों से मनाया जाने लगा. यह देख कर मुझे काफी प्रसन्नता हुई इसके अलावा उड़ीसा की परंपरा के बारे में भी राज्यपाल ने प्रशंसा की.

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लखनऊ। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में आज उड़ीसा दिवस का आयोजन किया गया इस आयोजन में उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक मुख्य अतिथि की भूमिका में रहे वहीं प्रिंसिपल सेक्रेट्री संस्कृति विभाग जितेंद्र कुमार विशिष्ट अतिथि की भूमिका में रहे इस अवसर पर पूर्व आईएएस देवदास चोत्राय ने कार्यक्रम की अध्यक्षता की।


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मुख्य अतिथि के रूप में मौजूद रहे उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि उड़ीसा दिवस इधर आ महाराष्ट्र दिवस भी मनाया जाता है लेकिन जब मैं उत्तर प्रदेश का राज्यपाल बना तुम्हारा देखा कि उत्तर प्रदेश दिवस नहीं मनाया जाता है। मेरे प्रयासों के बाद उत्तर प्रदेश दिवस पिछले 2 वर्षों से मनाया जाने लगा यह देख कर मुझे काफी प्रसन्नता हुई इसके अलावा उड़ीसा की परंपरा के बारे में भी राज्यपाल ने प्रशंसा की।

इस अवसर पर लखनऊ उड़िया समाज के सेक्रेटरी और लखनऊ विश्वविद्यालय के प्रोफेसर डीआर साहू ने बताया कि 1936 मैं 1 अप्रैल के ही उड़ीसा राज्य की स्थापना हुई थी तब से लेकर अब तक उसे स्थापना दिवस के रूप में मनाया जाता है पिछले 24 वर्षों से लखनऊ उड़िया समाज इस दिवस को मनाते हुए आ रहा है। इस वर्ष के संयोजन में उड़ीसा के पारंपरिक मृत्यु और कुछ परंपराओं को शामिल किया गया है इसका उद्देश्य ऑडी सी संस्कृति के प्रति जागरूकता लाना है।

इस अवसर पर पूर्व आईएएस और लेखक देवदास चोत्राय उड़ीसा समाज और और ऐसी परंपराओं को याद किया और उसके बारे में भी जानकारी दी साथ ही फिल्मों के माध्यम से ओडीसी परंपरा के बारे में भी कितनी जागरूकता आई है, इस बारे में बताया।
आयोजन में उड़ीसा की ओर से आए कलाकारों ने 'घोड़ा नाच' और सीता की कहानी दर्शाने वाली 'ओडिसी' और 'छऊ' प्रस्तुति दी।



Conclusion:बाइट- डॉ डी आर साहू, सेक्रेटरी, उड़िया समाज
बाइट- डॉ देवदास चोत्राय, पूर्व आईएएस
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