लखनऊ: डॉ. नूतन ठाकुर ने 09 अगस्त 2020 को सरोजनीनगर, लखनऊ में एसटीएफ द्वारा राकेश उर्फ हनुमान पाण्डेय के एनकाउंटर मामले में नया खुलासा करने का दावा किया है. उन्होंने बताया कि घटना की रात राकेश पाण्डेय श्री साईं अस्पताल, गुडंबा में भर्ती थे, जहां वे अपना इलाज करा रहे थे. वहीं रात करीब 02.30 बजे 4 से 5 लोग उनके पास गए और उन्हें अपने साथ ले गए थे. अस्पताल वालों के पूछने पर उन लोगों ने राकेश की मां की तबियत बहुत खराब होने की बात बताई थी.
राकेश पाण्डेय एनकाउंटर मामले में नया खुलासा एफआईआर के अनुसार यह घटना सुबह 04.26 बजे घटित हुई. इसके विपरीत घटना के पूर्व 04.00 बजे ही दुबारा कई हथियारबंद लोग सादे कपड़ों में उस अस्पताल में आये जो अस्पताल के सभी सीसीटीवी कैमरे, उनकी सभी रिकॉर्डिंग तथा राकेश पाण्डे सहित तमाम दूसरे मरीजों के केस रिकॉर्ड अपने साथ ले गए. जाते समय उन लोगों ने अस्पताल मैनेजमेंट से कहा कि ये रिकॉर्ड जांच के लिए सरोजनीनगर थाने जा रही हैं, जहां से वापस मिल जाएगी. लेकिन आज तक ये चीजें अस्पताल को वापस नहीं हुई हैं और सरोजनीनगर पुलिस ने इन्हें ले जाने से मना किया है.नूतन ठाकुर ने राकेश पाण्डेय के श्री साईं अस्पताल में भर्ती होने के सबूत के रूप में अस्पताल में उनकी भर्ती के पर्ची तथा अस्पताल के रूम की फोटो सामने रखी. उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि ये पर्ची गलती से एसटीएफ द्वारा राकेश की जेब में रह गयी थी, जो उनके घरवालों को मिली. नूतन ने इस एनकाउंटर के संबंध में राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग में शिकायत की है, जिसपर डीजीपी, यूपी से जवाब तलब किया गया है. उन्होंने कहा कि इन नए सबूतों को भी वह आयोग को भेजेंगी.
राकेश उर्फ हनुमान पाण्डेय का एनकाउंटर पुलिस द्वारा अस्पताल से उठाकर अपने साथ ले जाकर किया गया है. साथ ही अस्पताल के सीसीटीवी और पर्ची अपने साथ ले गए जिससे उनके यहां भर्ती होने के साक्ष्य न मिल सके. मैंने इन सारे तथ्यों को नेशनल ह्यूमन राइट्स कमीशन में पत्र लिखते हुए अवगत कराया है और इस संबंध में आवश्यक कार्रवाई की मांग की है.
-डॉ. नूतन ठाकुर, एक्टिविस्ट