नई दिल्ली/लखनऊ : नोएडा और ग्रेटर नोएडा की हवा विषैली हो गई है. वायु प्रदूषण का ग्राफ दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है. विषैली हुई हवा की वजह से लोगों को आंखों में जलन और सांस लेने में समस्याएं बढ़ रही है. नोएडा और ग्रेटर नोएडा बीते एक हफ्ते से बेहद खराब श्रेणी में है. नोएडा का एयर क्वालिटी इंडेक्स 335 और ग्रेटर नोएडा का एयर क्वालिटी इंडेक्स 348 दर्ज किया गया है. यह आंकड़े सेंट्रल पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड की वेबसाइट से लिए गए हैं.
'ग्रेटर नोएडा में दर्ज AQI'
सेंट्रल पॉल्युशन कंट्रोल बोर्ड (CPCB) की वेबसाइट के मुताबिक दिल्ली से भी ज्यादा प्रदूषित ग्रेटर नोएडा है. ग्रेटर नोएडा में दो स्टेशन यूपीपीसीबी ( उत्तर प्रदेश पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड) ने लगाए हैं, जिसमें नॉलेज पार्क-III में एयर क्वालिटी इंडेक्स 349 दर्ज और नॉलेज पार्क-V का एयर क्वालिटी इंडेक्स 348 दर्ज किया गया है. पिछले हफ्ते के मुकाबले प्रदूषण का स्तर लगातार बढ़ता जा रहा है. माना जा रहा है वायु की रफ्तार थमने से प्रदूषण का स्तर बढ़ा है.
'नोएडा में दर्ज AQI'
नोएडा में UPPCB ने 4 स्टेशन ने इंस्टॉल किए हैं. जिसमें सेक्टर 62 स्टेशन का AQI 313, सेक्टर 125 में 316 AQI, सेक्टर 1 में 354 AQI और सेक्टर 116 का स्टेशन पर 357 AQI दर्ज किया गया है.
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'विषैली हुई हवा'
नोएडा और ग्रेटर नोएडा में प्रदूषण का ग्राफ बढ़ता जा रहा है. नोएडा/ग्रेटर नोएडा में प्रदूषण रेड ज़ोन में बना हुआ है. प्रदूषण स्तर बेहद भयावह होता जा रहा है. स्मॉग की चादर से शहर सुबह और शाम ढका दिखाई देता है. प्राधिकरण और UPPCB ग्रेप की अनदेखी पर लगातार कार्रवाई भी कर रही है. डॉक्टर की सलाह के मुताबिक बुजुर्ग, बच्चे, ह्रदय रोगी सहित अस्थमेटिक मरीजों को विशेष सावधानी बरतनी होगी.