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प्रदेश में और अधिक छात्रों को मिल सकेगी एनसीसी की ट्रेनिंग

उत्तर प्रदेश में अब और भी ज्यादा छात्रों को एनसीसी की ट्रेनिंग मिल सकेगी. केंद्र सरकार ने एनसीसी में 4000 जूनियर डिवीजन/विंग रिक्तियों को आवंटित किया है.

और अधिक छात्रों को मिल सकेगी एनसीसी की ट्रेनिंग
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Published : May 17, 2021, 7:19 PM IST

Updated : May 17, 2021, 8:18 PM IST

लखनऊ: उत्तर प्रदेश में एनसीसी की पढ़ाई का इंतजार कर रहे स्कूलों के लिए एक अच्छी खबर है. केंद्र सरकार ने हाल ही में पूर्ण स्व-वित्तपोषित योजना के तहत एनसीसी में 4000 जूनियर डिवीजन/विंग रिक्तियों को आवंटित किया है. यह कदम राज्य में एनसीसी की गतिविधियों को विस्तार देने में मदद करेगा. राज्य में पहले से ही एक लाख पचास हजार कैडेट हैं, जो देश में सबसे ज्यादा हैं.

एनसीसी 'ए' प्रमाण पत्र प्राप्त कर सकेंगे छात्र
मध्य कमान मुख्यालय की तरफ से जानकारी दी गई है कि यह कदम कई स्कूलों की लंबित मांग के बाद उठाया गया है. स्कूलों में सीमित रिक्तियों के कारण एनसीसी शुरू नहीं किया जा सकता था. इस योजना से छात्रों को बड़े पैमाने पर लाभ होगा. उन्हें न केवल राष्ट्र निर्माण में प्रमुख भूमिका निभाने का अवसर मिलेगा, बल्कि एनसीसी 'ए' प्रमाण पत्र प्राप्त करने के अलावा पेशेवर कॉलेजों में प्रवेश पाने के लिए भी काफी लाभ होगा. कैडेट्स को बुनियादी सैन्य प्रशिक्षण और विभिन्न सामाजिक सेवा और सामुदायिक विकास गतिविधियों में भाग लेने के साथ राष्ट्रीय स्तर पर शिविर, ट्रेक, पर्वतारोहण पाठ्यक्रम, नेतृत्व विकास कैप्सूल में हिस्सा लेने का अवसर भी मिलेगा.

इसे भी पढ़ें-भाजपा सांसद हेमा मालिनी ने वीडियो जारी कर ब्रजवासियों से की यह अपील

एनसीसी कार्यालय से कर सकते हैं संपर्क
उत्तर प्रदेश एनसीसी निदेशालय के अपर महानिदेशक मेजर जनरल राकेश राणा ने बताया कि जो स्कूल पूरी तरह से स्व-वित्तपोषण योजनाओं में आउट ऑफ टर्न आवंटन के इच्छुक हैं, वे निकटतम एनसीसी कार्यालय से संपर्क कर सकते हैं.

एनसीसी को वैकल्पिक विषय के रूप में चुन सकेंगे कैडेट्स

भारत सरकार की नई शिक्षा नीति में एनसीसी को प्रोत्साहन देने के प्रावधान के अंतर्गत यूजीसी और एआईसीटीई ने अब विद्यार्थियों को एनसीसी को वैकल्पिक विषय के रूप में चुनने की मंजूरी दे दी है. कॉलेज व विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों को अनुशासित बनाने व उनमें देशभक्ति की भावना पैदा करने के लिए यह एक महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है. मध्य कमान मुख्यालय की तरफ से जानकारी दी गई है कि लखनऊ स्थित एनसीसी निदेशालय उत्तर प्रदेश की एनसीसी यूनिटों के कमांडिंग अफसरों ने सभी विश्वविद्यालयों और टेक्निकल संस्थानों के कुलपतियों को एनसीसी की शुरुआत के लिए सामान्य वैकल्पिक क्रेडिट पाठ्यक्रम (सीबीएसई) के बारे में विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई जा रही है. प्रेजेंटेशन और विभिन्न ब्रीफिंग से जानकारी दी जा रही है. जल्द ही कई विश्वविद्यालय वर्ष 2021-22 पाठ्यक्रम में एनसीसी को एक वैकल्पिक विषय के रूप में सम्मिलित कर सकते हैं. जो छात्र एनसीसी कैडेट के रूप में दाखिला लेंगे वह एनसीसी प्रशिक्षण के लिए क्रेडिट बी और सी प्रमाण पत्र के अलावा शैक्षणिक क्रेडिट प्राप्त करेंगे. विभिन्न केंद्रीय और राज्य सरकार की योजनाओं के तहत प्रदान की जाने वाली रोजगार सुविधाओं का लाभ उठा सकेंगे. इस कार्यक्रम में एनसीसी को एक वैकल्पिक विषय के रूप में शामिल करने से अनुशासन और टीम भावना के मूल्यों में बढ़ोतरी होगी.


लखनऊ: उत्तर प्रदेश में एनसीसी की पढ़ाई का इंतजार कर रहे स्कूलों के लिए एक अच्छी खबर है. केंद्र सरकार ने हाल ही में पूर्ण स्व-वित्तपोषित योजना के तहत एनसीसी में 4000 जूनियर डिवीजन/विंग रिक्तियों को आवंटित किया है. यह कदम राज्य में एनसीसी की गतिविधियों को विस्तार देने में मदद करेगा. राज्य में पहले से ही एक लाख पचास हजार कैडेट हैं, जो देश में सबसे ज्यादा हैं.

एनसीसी 'ए' प्रमाण पत्र प्राप्त कर सकेंगे छात्र
मध्य कमान मुख्यालय की तरफ से जानकारी दी गई है कि यह कदम कई स्कूलों की लंबित मांग के बाद उठाया गया है. स्कूलों में सीमित रिक्तियों के कारण एनसीसी शुरू नहीं किया जा सकता था. इस योजना से छात्रों को बड़े पैमाने पर लाभ होगा. उन्हें न केवल राष्ट्र निर्माण में प्रमुख भूमिका निभाने का अवसर मिलेगा, बल्कि एनसीसी 'ए' प्रमाण पत्र प्राप्त करने के अलावा पेशेवर कॉलेजों में प्रवेश पाने के लिए भी काफी लाभ होगा. कैडेट्स को बुनियादी सैन्य प्रशिक्षण और विभिन्न सामाजिक सेवा और सामुदायिक विकास गतिविधियों में भाग लेने के साथ राष्ट्रीय स्तर पर शिविर, ट्रेक, पर्वतारोहण पाठ्यक्रम, नेतृत्व विकास कैप्सूल में हिस्सा लेने का अवसर भी मिलेगा.

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एनसीसी कार्यालय से कर सकते हैं संपर्क
उत्तर प्रदेश एनसीसी निदेशालय के अपर महानिदेशक मेजर जनरल राकेश राणा ने बताया कि जो स्कूल पूरी तरह से स्व-वित्तपोषण योजनाओं में आउट ऑफ टर्न आवंटन के इच्छुक हैं, वे निकटतम एनसीसी कार्यालय से संपर्क कर सकते हैं.

एनसीसी को वैकल्पिक विषय के रूप में चुन सकेंगे कैडेट्स

भारत सरकार की नई शिक्षा नीति में एनसीसी को प्रोत्साहन देने के प्रावधान के अंतर्गत यूजीसी और एआईसीटीई ने अब विद्यार्थियों को एनसीसी को वैकल्पिक विषय के रूप में चुनने की मंजूरी दे दी है. कॉलेज व विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों को अनुशासित बनाने व उनमें देशभक्ति की भावना पैदा करने के लिए यह एक महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है. मध्य कमान मुख्यालय की तरफ से जानकारी दी गई है कि लखनऊ स्थित एनसीसी निदेशालय उत्तर प्रदेश की एनसीसी यूनिटों के कमांडिंग अफसरों ने सभी विश्वविद्यालयों और टेक्निकल संस्थानों के कुलपतियों को एनसीसी की शुरुआत के लिए सामान्य वैकल्पिक क्रेडिट पाठ्यक्रम (सीबीएसई) के बारे में विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई जा रही है. प्रेजेंटेशन और विभिन्न ब्रीफिंग से जानकारी दी जा रही है. जल्द ही कई विश्वविद्यालय वर्ष 2021-22 पाठ्यक्रम में एनसीसी को एक वैकल्पिक विषय के रूप में सम्मिलित कर सकते हैं. जो छात्र एनसीसी कैडेट के रूप में दाखिला लेंगे वह एनसीसी प्रशिक्षण के लिए क्रेडिट बी और सी प्रमाण पत्र के अलावा शैक्षणिक क्रेडिट प्राप्त करेंगे. विभिन्न केंद्रीय और राज्य सरकार की योजनाओं के तहत प्रदान की जाने वाली रोजगार सुविधाओं का लाभ उठा सकेंगे. इस कार्यक्रम में एनसीसी को एक वैकल्पिक विषय के रूप में शामिल करने से अनुशासन और टीम भावना के मूल्यों में बढ़ोतरी होगी.


Last Updated : May 17, 2021, 8:18 PM IST
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