लखनऊ : राजधानी के कैंट थाना क्षेत्र में हुए बिहार पुलिस के मोस्टवांटेड अपराधी वीरेन्द्र उर्फ गोरख ठाकुर हत्याकांड के मुख्य आरोपी फिरदौस (Main accused Firdaus) ने गुरुवार को लखनऊ की अदालत में सरेंडर (surrender in court) कर दिया. फिरदौस को लखनऊ पुलिस काफी दिनों से तलाश कर रही थी. पुलिस के मुताबिक फिरदौस ने 2 दिसंबर को बिहार के नरकटियागंज में एक प्रॉपर्टी डीलर की हत्या (Murder of a property dealer in Narkatiaganj) की थी. इस मामले में बिहार पुलिस भी सरगर्मी से उसकी तलाश कर रही थी. दो प्रदेशों की पुलिस को पीछे पड़ा देख फिरदौस ने गुरुवार को लखनऊ में अपने खिलाफ दर्ज शस्त्र अधिनियम एक मुकदमे में पुलिस को चकमा देते हुए कोर्ट में सरेंडर कर दिया.
बता दें, 25 जून 2022 को दिनदहाड़े कैंट थाना क्षेत्र के प्रकाशनगर में रहने वाले बिहार पुलिस के मोस्टवांटेड अपराधी वीरेन्द्र उर्फ गोरख ठाकुर की उसके घर में घुसकर गोली मार कर हत्या कर दी गई थी. वीरेन्द्र की दूसरी पत्नी खुशबुन तारा ने बिहार के माफिया रईस खान के शूटर फिरदौस, कमलेश उर्फ बिट्टू जायसवाल व गोरख की पहली पत्नी प्रियंका को नामजद किया था. इस मामले में लखनऊ पुलिस चार लोगों को मुठभेड़ में पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है.
शूटर फिरदौस ने पुलिस को चकमा देकर किया आत्मसमर्पण : रेलवे ठेकेदार वीरेंद्र ठाकुर की हत्या का आरोपी शूटर फिरदौस उर्फ शदाब अख्तर पुलिस को चकमा देकर गुरुवार को कोर्ट में आत्मसमर्पण करने में सफल रहा. वह गुडंबा थाने के एक पुराने आर्म्स एक्ट के मामले में देर शाम अदालत में हाजिर हो गया. न्यायिक मजिस्ट्रेट अंकिता सिंह ने आरोपी को न्यायिक हिरासत में लेकर 4 जनवरी तक के लिए जेल भेज दिया है.
आरोपी फिरदौस ग्राम बरवा बरौली थाना शिकारपुर जनपद पश्चिमी चंपारण बिहार का रहने वाला बताया जाता है. आरोपी ने जिस मामले में अदालत में आत्मसमर्पण किया है, वह पत्रावली आर्म्स एक्ट से सम्बंधित है. पत्रावली के अनुसार 3 अप्रैल 2018 को थाना गुडंबा के एसएसआई योगेंद्र प्रसाद ने 2017 एवं 2018 के मारपीट व जानलेवा हमला के मामले में फिरदौस एवं उसके साथी को गिरफ्तार किया था. गुरुवार को वह इसी मुकदमे में अदालत में हाजिर होकर जेल चला गया. जिसकी भनक पुलिस को नहीं लग सकी.
सीरियल किलर गैंग के रुस्तम की जमानत अर्जी खारिज : दिल्ली की तिहाड़ जेल से फोन कर अवैध वसूली की मांग करने और धमकाने के मामले में सीरियल किलर गैंग के सदस्य रुस्तम की जमानत अर्जी एडीजे अजय श्रीवास्तव ने खारिज कर दी है. अदालत में रुस्तम की जमानत अर्जी का विरोध करते हुए डीजीसी मनोज त्रिपाठी ने तर्क दिया कि घटना की रिपोर्ट वादी अवधेश कुमार ने ठाकुरगंज में दर्ज कराई थी कि एक फरवरी को उसके मोबाइल पर लगातार वॉटसएप काल आ रही थीं. जिस पर सलीम तिहाड़ लिखा था. वादी ने फोन उठाया तो उधर से बोलने वाले ने अपना नाम रुस्तम बताया और वसूली के लिए धमकी दी.