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नए संसद भवन के उद्घाटन में शामिल नहीं होंगी मायावती, जानिए विपक्ष के लिए क्या कह दिया

बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने नए संसद भवन के उद्घाटन में शामिल होने में असमर्थता जताई है. हालांकि उन्होंने किसी तरह से विरोध नहीं जताया है. मायावती ने संसद भवन के उद्घाटन की शुभकामनाएं दी हैं.

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Published : May 25, 2023, 4:48 PM IST

लखनऊ : देश के नए संसद भवन का 28 मई को उद्घाटन होना है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद का अनावरण करेंगे, लेकिन उद्घाटन से पहले ही विपक्षी दल लामबंद होकर इसका विरोध कर रहे हैं. विपक्षी दलों की मांग है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बजाय राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू संसद भवन का उद्घाटन करें. इसे लेकर लगभग 20 राजनीतिक दलों ने उद्घाटन कार्यक्रम का बहिष्कार कर दिया है. इसी बीच बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसद भवन का उद्घाटन करने का स्वागत किया है. उन्होंने कहा है कि मुझे भी उद्घाटन में शामिल होने का निमंत्रण मिला है, लेकिन व्यस्तता के कारण मैं शामिल नहीं हो पाऊंगी. संसद भवन के उद्घाटन की शुभकामनाएं मायावती ने दी हैं. विपक्षी दलों को नसीहत दी है कि इस मामले में आदिवासी समाज की महिला राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को न लाया जाए. सरकार को हक है उसने संसद भवन बनाया है तो उसका उद्घाटन भी करे. विपक्षी दलों को द्रौपदी मुर्मू के सामने राष्ट्रपति का प्रत्याशी उतारते वक्त भी सोचना चाहिए था.

  • 3. देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम अर्थात नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनायें। किन्तु पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी।

    — Mayawati (@Mayawati) May 25, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">



बसपा सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट किया है कि केंद्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका समर्थन किया है. 28 मई को संसद के नए भवन के उद्घाटन को भी पार्टी इसी संदर्भ में देखते हुए इसका स्वागत करती है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से नए संसद भवन का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर बहिष्कार अनुचित है. सरकार ने इसको बनाया है इसलिए उसके उद्घाटन का उसे हक है. इसको आदिवासी महिला सम्मान से जोड़ना भी अनुचित है. यह उन्हें निर्विरोध न चुनकर उनके विरुद्ध उम्मीदवार खड़ा करते वक्त सोचना चाहिए था. देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम यानी नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनाएं, लेकिन पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी.



महाराष्ट्र के नेताओं के साथ की बैठक : बसपा सुप्रीमो मायावती इन दिनों अलग-अलग राज्यों के अपनी पार्टी नेताओं से बैठक कर कामकाज की समीक्षा कर रही हैं. गुरुवार को मायावती ने महाराष्ट्र के नेताओं के साथ बैठक की और उन्हें आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर तन मन धन से तैयार रहने के निर्देश दिए. कहा कि अभी से चुनाव के लिए जुट जाएं, संगठन मजबूत करें. महाराष्ट्र डॉक्टर भीमराव आम्बेडकर की जन्मस्थली और कर्मस्थली है. ऐसे में यहां पर बहुजन समाज पार्टी को मजबूत होना चाहिए. सरकार की मास्टर चाबी बसपा के पास हो, इसके लिए अभी से जुट जाएं.

यह भी पढ़ें : करंट की चपेट में आई बेटी को बचाने गए पिता-पुत्र की मौत

लखनऊ : देश के नए संसद भवन का 28 मई को उद्घाटन होना है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी संसद का अनावरण करेंगे, लेकिन उद्घाटन से पहले ही विपक्षी दल लामबंद होकर इसका विरोध कर रहे हैं. विपक्षी दलों की मांग है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बजाय राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू संसद भवन का उद्घाटन करें. इसे लेकर लगभग 20 राजनीतिक दलों ने उद्घाटन कार्यक्रम का बहिष्कार कर दिया है. इसी बीच बहुजन समाज पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश की पूर्व मुख्यमंत्री मायावती ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसद भवन का उद्घाटन करने का स्वागत किया है. उन्होंने कहा है कि मुझे भी उद्घाटन में शामिल होने का निमंत्रण मिला है, लेकिन व्यस्तता के कारण मैं शामिल नहीं हो पाऊंगी. संसद भवन के उद्घाटन की शुभकामनाएं मायावती ने दी हैं. विपक्षी दलों को नसीहत दी है कि इस मामले में आदिवासी समाज की महिला राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को न लाया जाए. सरकार को हक है उसने संसद भवन बनाया है तो उसका उद्घाटन भी करे. विपक्षी दलों को द्रौपदी मुर्मू के सामने राष्ट्रपति का प्रत्याशी उतारते वक्त भी सोचना चाहिए था.

  • 3. देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम अर्थात नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनायें। किन्तु पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी।

    — Mayawati (@Mayawati) May 25, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">



बसपा सुप्रीमो मायावती ने ट्वीट किया है कि केंद्र में पहले चाहे कांग्रेस पार्टी की सरकार रही हो या अब वर्तमान में बीजेपी की, बीएसपी ने देश व जनहित निहित मुद्दों पर हमेशा दलगत राजनीति से ऊपर उठकर उनका समर्थन किया है. 28 मई को संसद के नए भवन के उद्घाटन को भी पार्टी इसी संदर्भ में देखते हुए इसका स्वागत करती है. राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से नए संसद भवन का उद्घाटन नहीं कराए जाने को लेकर बहिष्कार अनुचित है. सरकार ने इसको बनाया है इसलिए उसके उद्घाटन का उसे हक है. इसको आदिवासी महिला सम्मान से जोड़ना भी अनुचित है. यह उन्हें निर्विरोध न चुनकर उनके विरुद्ध उम्मीदवार खड़ा करते वक्त सोचना चाहिए था. देश को समर्पित होने वाले कार्यक्रम यानी नए संसद भवन के उद्घाटन समारोह का निमंत्रण मुझे प्राप्त हुआ है, जिसके लिए आभार और मेरी शुभकामनाएं, लेकिन पार्टी की लगातार जारी समीक्षा बैठकों सम्बंधी अपनी पूर्व निर्धारित व्यस्तता के कारण मैं उस समारोह में शामिल नहीं हो पाऊंगी.



महाराष्ट्र के नेताओं के साथ की बैठक : बसपा सुप्रीमो मायावती इन दिनों अलग-अलग राज्यों के अपनी पार्टी नेताओं से बैठक कर कामकाज की समीक्षा कर रही हैं. गुरुवार को मायावती ने महाराष्ट्र के नेताओं के साथ बैठक की और उन्हें आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर तन मन धन से तैयार रहने के निर्देश दिए. कहा कि अभी से चुनाव के लिए जुट जाएं, संगठन मजबूत करें. महाराष्ट्र डॉक्टर भीमराव आम्बेडकर की जन्मस्थली और कर्मस्थली है. ऐसे में यहां पर बहुजन समाज पार्टी को मजबूत होना चाहिए. सरकार की मास्टर चाबी बसपा के पास हो, इसके लिए अभी से जुट जाएं.

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