लखनऊ : समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव 2024 के लोक सभा चुनाव की गुणा गणित में व्यस्त हैं. सूत्रों के अनुसार इस पर सपा मुखिया परिवार से इतर अन्य समीकरणों पर ध्यान दे रहे हैं. जिससे बीजेपी परिवारवाद के आरोप न लगा पाए. इसके अलावा रणनीति यह भी है कि कार्यकर्ताओं में जोश और उत्साह कैसे बरकरार रखा जाए. समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव की कोशिश है कि लोकसभा चुनाव की तैयारियों को आने वाले तीन से चार महीने में पूरी कर लिया जाए. इसके लिए जिलों के दौरे, संगठन को मजबूत करने और जनता से संवाद करने के कार्यक्रम करने की रणनीति तय की जा रही है.
दूसरी तरफ समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव 23 जून को पटना में गैर भाजपाई दलों की एक बड़ी बैठक में हिस्सा लेंगे. इस बैठक में राष्ट्रीय जनता दल सहित कई दलों के नेता शामिल होंगे. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी रहेंगे और अन्य प्रदेशों से भी तमाम नेता आएंगे. इस दौरान केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार व एनडीए गठबंधन के खिलाफ तीसरा मोर्चा पर चर्चा के साथ रणनीति बनाई जा सकती है.
समाजवादी पार्टी के प्रवक्ता व विधायक रविदास मेहरोत्रा कहते हैं कि 2024 के लोकसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी गैर भाजपा दलों के साथ गठबंधन करने पर विचार कर रही है. 23 जून को पटना में बड़ी रैली का आयोजन किया गया है. जिसमें तमाम राजनीतिक दलों के लोग आएंगे और 2024 कि लोकसभा चुनाव को लेकर चर्चा करेंगे. हम उत्तर प्रदेश में अधिक से अधिक सीटें किस प्रकार से जीत सकते हैं. इस पर भी चर्चा होगी. साथ ही जिन दलों के साथ गठबंधन करेंगे. उनका अगर कोई उम्मीदवार बेहतर चुनाव लड़ सकता है तो उसे चुनाव मैदान में उतारा जाएगा. अखिलेश यादव के परिवार में कम से कम टिकट देने के सवाल पर रविदास मेहरोत्रा ने कहा कि इसका फैसला राष्ट्रीय अध्यक्ष राष्ट्रीय नेतृत्व को करना है, लेकिन यह जरूर है कि हम जिताऊ उम्मीदवार उतारने पर विचार करेंगे.