लखनऊ: राजधानी के लोहिया संस्थान में बीते दिनों संस्थान के ही टेक्नीशियन अनुराग सिंह की मौत चिकित्सकों की लापरवाही की वजह से हो गई थी. इसके बाद से ही संस्थान के कर्मचारियों में सीएमएस डॉ. राजन भटनागर को लेकर के काफी ज्यादा रोष है. कर्मचारी लगातार सीएमएस डॉक्टर राजन भटनागर को हटाने की मांग कर रहे हैं. इसको लेकर के कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी को पत्र भी लिखा है.
ये था मामला
राजधानी लखनऊ के मिनी पीजीआई कहे जाने वाले लोहिया संस्थान के हॉस्पिटल ब्लॉक में तैनात टेक्नीशियन अनुराग सिंह इमरजेंसी में ड्यूटी घर लौट रहा था. इस दौरान सड़क हादसे में वह जख्मी हो गये. आनन-फानन में उसे लोहिया संस्थान की इमरजेंसी में ले जाया गया, जहां उसे प्लास्टर बांधकर लौटा दिया गया, लेकिन जब टेक्नीशियन की हालत बिगड़ी तो उसे फिर लोहिया संस्थान ले जाया गया. आरोप है कि घायल कर्मचारी को वहां उचित चिकित्सा सेवाएं नहीं मिलीं. इसके बाद साथी कर्मचारी उसे निजी अस्पताल ले गए, जहां पर 14 अक्टूबर को जांच में डेंगू की भी पुष्टि हुई. तीमारदार दोबारा उसे लोहिया ले गए, लेकिन उसे भर्ती नहीं किया गया था. इस दौरान कर्मचारी की मौत हो गई.
जिम्मेदार बोले, लापरवाही पर रेजिडेंट डॉक्टर हुए निलंबित
लोहिया संस्थान में हुई इस लापरवाही पर लोहिया संस्थान के प्रवक्ता डॉक्टर श्रीकेश सिंह ने बताया कि लापरवाही के आरोपी दोनों रेजिडेंट डॉक्टरों को हटाया जा चुका है. साथ ही जांच जारी है दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा.
टेक्नीशियन की मौत का होगा ऑडिट
संस्थान के टेक्नीशियन की मौत का ऑडिट भी सीएमओ कार्यालय की तरफ से किया जा रहा है. टेक्नीशियन की मौत डेंगू से होने का दावा किया जा रहा है. इसको लेकर के जब हमने वेक्टर बोर्न डिज़ीज़ कंट्रोल रूम के नोडल डॉक्टर के.पी. त्रिपाठी से बातचीत की तो उन्होंने बताया कि निजी अस्पताल से दस्तावेज मंगाए गए हैं. ऑडिट में मरीज की मौत यदि डेंगू से हुई है तो उसे रिकॉर्ड में दर्ज किया जाएगा.
टेक्नीशियन की मौत के बाद लोहिया संस्थान के CMS को हटाने की मांग
राजधानी लखनऊ के लोहिया संस्थान के अपने ही कर्मचारी का इलाज सही समय पर न कर पाने से टेक्निशियन की मौत हो गयी थी. इसकी वजह से लोहिया संस्थान के कर्मचारियों में अफसरों के खिलाफ काफी रोष है. वहीं संस्थान के कर्मचारियों ने सीएमएस को हटाने के लिए प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी को पत्र लिखा है.
लखनऊ: राजधानी के लोहिया संस्थान में बीते दिनों संस्थान के ही टेक्नीशियन अनुराग सिंह की मौत चिकित्सकों की लापरवाही की वजह से हो गई थी. इसके बाद से ही संस्थान के कर्मचारियों में सीएमएस डॉ. राजन भटनागर को लेकर के काफी ज्यादा रोष है. कर्मचारी लगातार सीएमएस डॉक्टर राजन भटनागर को हटाने की मांग कर रहे हैं. इसको लेकर के कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी को पत्र भी लिखा है.
ये था मामला
राजधानी लखनऊ के मिनी पीजीआई कहे जाने वाले लोहिया संस्थान के हॉस्पिटल ब्लॉक में तैनात टेक्नीशियन अनुराग सिंह इमरजेंसी में ड्यूटी घर लौट रहा था. इस दौरान सड़क हादसे में वह जख्मी हो गये. आनन-फानन में उसे लोहिया संस्थान की इमरजेंसी में ले जाया गया, जहां उसे प्लास्टर बांधकर लौटा दिया गया, लेकिन जब टेक्नीशियन की हालत बिगड़ी तो उसे फिर लोहिया संस्थान ले जाया गया. आरोप है कि घायल कर्मचारी को वहां उचित चिकित्सा सेवाएं नहीं मिलीं. इसके बाद साथी कर्मचारी उसे निजी अस्पताल ले गए, जहां पर 14 अक्टूबर को जांच में डेंगू की भी पुष्टि हुई. तीमारदार दोबारा उसे लोहिया ले गए, लेकिन उसे भर्ती नहीं किया गया था. इस दौरान कर्मचारी की मौत हो गई.
जिम्मेदार बोले, लापरवाही पर रेजिडेंट डॉक्टर हुए निलंबित
लोहिया संस्थान में हुई इस लापरवाही पर लोहिया संस्थान के प्रवक्ता डॉक्टर श्रीकेश सिंह ने बताया कि लापरवाही के आरोपी दोनों रेजिडेंट डॉक्टरों को हटाया जा चुका है. साथ ही जांच जारी है दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा.
टेक्नीशियन की मौत का होगा ऑडिट
संस्थान के टेक्नीशियन की मौत का ऑडिट भी सीएमओ कार्यालय की तरफ से किया जा रहा है. टेक्नीशियन की मौत डेंगू से होने का दावा किया जा रहा है. इसको लेकर के जब हमने वेक्टर बोर्न डिज़ीज़ कंट्रोल रूम के नोडल डॉक्टर के.पी. त्रिपाठी से बातचीत की तो उन्होंने बताया कि निजी अस्पताल से दस्तावेज मंगाए गए हैं. ऑडिट में मरीज की मौत यदि डेंगू से हुई है तो उसे रिकॉर्ड में दर्ज किया जाएगा.