लखनऊ: बिहार में भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की सहयोगी नीतीश कुमार की जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) ने उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव 2022 (UP Assembly Election 2022) के लिए तैयारी शुरू कर दी है. पार्टी में बैठकों का दौर शुरू हो गया है. राष्ट्रीय महासचिव और उत्तर प्रदेश प्रभारी केसी त्यागी कई बार लखनऊ आ चुके हैं. जल्द ही उनके लखनऊ आने का फिर प्लान बन रहा है.
इस मुद्दे पर सीएम योगी से भी हो चुकी है चर्चा
बिहार की तरह यूपी में भी बीजेपी-जदयू के बीच गठबंधन को लेकर जनता दल यूनाइटेड के प्रदेश प्रभारी केसी त्यागी पहले ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलकर चर्चा कर चुके हैं. हालांकि, अभी इस पर कोई आधिकारिक मुहर नहीं लगी है. लेकिन, जेडीयू को उम्मीद है कि उत्तर प्रदेश में भाजपा बिहार की तरह जेडीयू को अपना सहयोगी बनाएगी. पार्टी नेताओं का कहना है कि अगर भाजपा से गठबंधन नहीं हुआ तो भी जेडीयू उत्तर प्रदेश में पूरे दमखम के साथ चुनाव मैदान में उतरेगी.
बिहार में नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू और भाजपा का गठबंधन हुआ. इसका नतीजा यह हुआ कि बिहार की सत्ता पर नीतीश कुमार फिर से काबिज हो गए. हालांकि, यहां पर सीटें बीजेपी की ज्यादा आई थीं, लेकिन बीजेपी ने मौका नीतीश कुमार को ही दिया. इससे यह संदेश गया कि बीजेपी और जेडीयू अन्य राज्यों में भी साथ-साथ चुनाव लड़ सकते हैं. अब अगले साल उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव होने हैं, ऐसे में गठबंधन को लेकर दोनों पार्टियों में बातचीत का सिलसिला शुरू हो चुका है.
प्रदेश में भाजपा-जेडीयू के गठबंधन की चाह
राष्ट्रीय महासचिव केसी त्यागी मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से भेंट कर चुके हैं. अपनी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं को भी मैदान में पार्टी को मजबूत करने का मंत्र भी दे चुके हैं. पार्टी के नेता बताते हैं कि हम चाहते हैं कि उत्तर प्रदेश में भाजपा के साथ जेडीयू का गठबंधन हो जाए. जितनी सीटें जेडीयू को मिलेंगी, उतनी सीटों पर मजबूती से चुनाव लड़ा जाएगा. हालांकि, जेडीयू नेता ये नहीं बताते हैं कि गठबंधन में जेडीयू ने कितनी सीटों की मांग भाजपा के सामने रखी है.
पिछले चुनाव में नहीं हो पाया था गठबंधन
पार्टी के नेता बताते हैं कि अगर 2022 के विधानसभा चुनाव के लिए जेडीयू और भाजपा का गठबंधन नहीं हो पाया, तो जेडीयू अकेले मैदान में उतरेगी. 200 से लेकर 250 सीटों पर प्रत्याशी ताल ठोकेंगे. जेडीयू पूर्वांचल में काफी मजबूती से चुनाव लड़ेगी. वहां पर प्रत्याशियों की जीतने की संभावना भी ज्यादा है. नेता बताते हैं कि पूर्वांचल में कुल 40 से 45 सीटें हैं. जिन पर बिहार की राजनीति का असर रहता है. ऐसे में जेडीयू यहां पर अच्छा प्रदर्शन करने में कामयाब होगी.
20212 में जदयू ने 275 सीटों पर लड़ा था चुनाव
जनता दल यूनाइटेड ने उत्तर प्रदेश में 2012 का विधानसभा चुनाव लड़ा था. पार्टी ने कुल 275 सीटों पर पार्टी ने अपने प्रत्याशी उतारे थे, लेकिन ये प्रत्याशी कोई कमाल नहीं कर पाए थे. पार्टी सीटें जीतने में कामयाब नहीं हुई थी, लेकिन अपना वोट बैंक बढ़ाने में उसे कामयाबी जरूर मिली.
वजह बताने से हिचकिचाते हैं पार्टी के नेता
उत्तर प्रदेश के 2017 में हुए विधानसभा चुनाव में जदयू ने अपने प्रत्याशी मैदान में नहीं उतारे. हालांकि, पार्टी के नेता इसके पीछे कोई वजह बताने से भी हिचकिचाते हैं. उनका कहना है कि 2017 में कुछ ऐसे समीकरण बने, जिसके चलते जेडीयू ने 2012 की तरह उत्तर प्रदेश में चुनाव लड़ने के लिए योजना तो बनाई, लेकिन आखिर में चुनाव नहीं लड़ने का फैसला लिया.
गठबंधन होना अभी तय नहीं
जेडीयू प्रदेश अध्यक्ष अनूप सिंह पटेल ने कहा कि अभी इस बारे में कोई सूचना नहीं है. बड़े लीडर यह तय करेंगे कि गठबंधन होना है और कितनी सीटें मिलनी हैं. लेकिन, जेडीयू चुनाव लड़ने की तैयारियां पूरी हैं. हम सभी जिलों पर दो से चार प्रत्याशी जरूर उतारेंगे. 2012 में हमने 275 सीटों पर चुनाव लड़ा था. 2017 में किसी कारणवश चुनाव में जेडीयू नहीं उतरी, लेकिन 2022 के लिए तैयारी पूरी है.
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