लखनऊ: कोरोना महामारी के चलते मूर्ति बनाने वाले कुम्हार व्यापारी इस साल बेहद परेशान नजर आए हैं. इस महामारी के चलते कुम्हारों के द्वारा बनाई गई मिट्टी की मूर्तियां और उनके द्वारा मूर्तियों में भरे हुए रंग लोगों को खूब भाते थे. इस बार कुम्हारों का व्यापार कोरोना के चलते पूरी तरह से मिट्टी में मिलता नजर आ रहा है. उनका मानना है कि यह साल पूरी तरह से उनके परिवार के लिए परेशानी बन कर आया है.
कुम्हारों ने बताया कि हर साल हम लोग जन्माष्टमी में लाखों रुपये का व्यापार करते थे. वहीं इस बार जितनी भी बनाई गई मूर्तियां थीं, वह घर पर ही रखी रह गईं. क्योंकि इस बार न तो कोई थोक व्यापारी आया और न ही फुटकर व्यापारी माल खरीदने के लिए आया. उन्होंने बाताया कि जिस तरह से हम लोगों ने इन मूर्तियों को तैयार किया था और उम्मीद थी कि हर वर्ष की तरह इस बार व्यापारी आएंगे. हम सभी मूर्तिकारों ने काफी मात्रा में मूर्तियां तैयार की थी, लेकिन सारी मेहनत बेकार चली गई.