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लखनऊ: भूगर्भ जल सप्ताह के अवसर पर राज्य संग्रहालय में लगाई गईं प्रदर्शनी

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में राज्य संग्रहालय में भूगर्भ जल सप्ताह के अवसर पर जल संरक्षण के बारे में जागरूक करने के लिए 'जल बचाएं जीवन बचाएं' कार्यक्रम का आयोजन किया गया. जिसमें राज्य संग्रहालय के अस्थाई वीथिका में चित्रकारों द्वारा कैनवस चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई.

पेटिंग देखते हुए मुख्य अतिथि.
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Published : Jul 19, 2019, 1:59 PM IST

लखनऊ: प्रदेश की राजधानी स्थित राज्य संग्रहालय में भूगर्भ जल सप्ताह के अवसर पर 'जल बचाएं जीवन बचाएं' विषय पर कार्यक्रम आयोजित किया गया. जिसमें चित्रकारों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का उद्घाटन संस्कृति विभाग के विशेष सचिव द्वारा किया गया. इस प्रदर्शनी में भूजल संरक्षण पर आधारित 32 चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई. इसके माध्यम से जल संरक्षण, पर्यावरण संरक्षण और भू संरक्षण का संदेश दिया गया.

जानकारी देते राज्य संग्रहालय के निदेशक डॉ. आनंद कुमार सिंह.

क्या कहते हैं जानकार-

'जल ही जीवन है' इस बात के बारे में हर कोई जानता तो है पर इसकी महत्ता को समझने की कोशिश नहीं करता. वास्तव में पृथ्वी ग्रह के समस्त प्राणियों को आपस में जोड़ने वाला साधन भी जल ही है. जल का कोई विकल्प नहीं है और यह प्रकृति का नि:शुल्क उपहार है. इस बात में कोई दो राय नहीं है कि यदि जल को हमने आज नहीं बचाया तो अगला विश्वयुद्ध पानी के लिए ही किया जाएगा.


उत्तर प्रदेश के भूगर्भ जल संपदा के महत्व के प्रति जन जागरूकता बढ़ाने के लिए 16 से 22 जुलाई के बीच भूजल सप्ताह का आयोजन किया जाता है. इसके तहत राज्य संग्रहालय में कई तरह के आयोजन किए जाते हैं. गुरुवार को यहां पर पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था. जिसकी थीम 'जल बचाओ जीवन बचाओ' रखा गया था. जिस पर शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास यूनिवर्सिटी, कला एवं शिल्प महाविद्यालय, गोयल ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूट समेत कई जगहों से छात्र-छात्राओं और चित्रकारों ने कैनवस पर चित्र बनाकर उसकी प्रदर्शनी लगाई है.
-डॉ.आनंद कुमार सिंह ,निदेशक, राज्य संग्रहालय

लखनऊ: प्रदेश की राजधानी स्थित राज्य संग्रहालय में भूगर्भ जल सप्ताह के अवसर पर 'जल बचाएं जीवन बचाएं' विषय पर कार्यक्रम आयोजित किया गया. जिसमें चित्रकारों द्वारा लगाई गई प्रदर्शनी का उद्घाटन संस्कृति विभाग के विशेष सचिव द्वारा किया गया. इस प्रदर्शनी में भूजल संरक्षण पर आधारित 32 चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई. इसके माध्यम से जल संरक्षण, पर्यावरण संरक्षण और भू संरक्षण का संदेश दिया गया.

जानकारी देते राज्य संग्रहालय के निदेशक डॉ. आनंद कुमार सिंह.

क्या कहते हैं जानकार-

'जल ही जीवन है' इस बात के बारे में हर कोई जानता तो है पर इसकी महत्ता को समझने की कोशिश नहीं करता. वास्तव में पृथ्वी ग्रह के समस्त प्राणियों को आपस में जोड़ने वाला साधन भी जल ही है. जल का कोई विकल्प नहीं है और यह प्रकृति का नि:शुल्क उपहार है. इस बात में कोई दो राय नहीं है कि यदि जल को हमने आज नहीं बचाया तो अगला विश्वयुद्ध पानी के लिए ही किया जाएगा.


उत्तर प्रदेश के भूगर्भ जल संपदा के महत्व के प्रति जन जागरूकता बढ़ाने के लिए 16 से 22 जुलाई के बीच भूजल सप्ताह का आयोजन किया जाता है. इसके तहत राज्य संग्रहालय में कई तरह के आयोजन किए जाते हैं. गुरुवार को यहां पर पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था. जिसकी थीम 'जल बचाओ जीवन बचाओ' रखा गया था. जिस पर शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास यूनिवर्सिटी, कला एवं शिल्प महाविद्यालय, गोयल ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूट समेत कई जगहों से छात्र-छात्राओं और चित्रकारों ने कैनवस पर चित्र बनाकर उसकी प्रदर्शनी लगाई है.
-डॉ.आनंद कुमार सिंह ,निदेशक, राज्य संग्रहालय

Intro:लखनऊ। उत्तर प्रदेश राज्य संग्रहालय में भूगर्भ जल सप्ताह के अवसर पर जल संरक्षण के महत्व को दर्शाने के लिए और जनमानस को जागरूक करने के लिए जल बचाएं जीवन बचाएं विषय पर कार्यक्रम आयोजित किया गया।इसमें राज्य संग्रहालय के अस्थाई वीथिका में चित्रकारों द्वारा कैनवस चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई।


Body:वीओ1 इस प्रदर्शनी का उद्घाटन संस्कृति विभाग के विशेष सचिव शिशिर द्वारा किया गया। इस प्रदर्शनी में भूजल संरक्षण पर आधारित 32 चित्रों की प्रदर्शनी लगाई गई। इसके माध्यम से जल संरक्षण, पर्यावरण संरक्षण और भू संरक्षण के संदेश दिया गया। इस अवसर पर मुख्य अतिथि ने कहा कि 'जल ही जीवन है' इस बात के बारे में हर कोई जानता तो है पर इसकी महत्ता को समझने की कोशिश नहीं करता। वास्तव में पृथ्वी ग्रह के समस्त प्राणियों को आपस में जोड़ने वाला साधन भी जल ही है। जल का कोई विकल्प नहीं है और यह प्रकृति का निशुल्क उपहार है। इस बात में कोई दो राय नहीं है कि यदि जल को हमने आज नहीं बचाया तो अगला विश्वयुद्ध पानी के लिए ही किया जाएगा। इस अवसर पर राज्य संग्रहालय के निदेशक डॉ आनंद कुमार सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश के भूगर्भ जल संपदा के महत्व के प्रति जन जागरूकता बढ़ाने के लिए 16 से 22 जुलाई के बीच भूजल सप्ताह का आयोजन किया जाता है। इसके तहत राज्य संग्रहालय में कई तरह के आयोजन किए जाते हैं। आज गुरुवार को यहां पर पेंटिंग प्रतियोगिता का आयोजन किया गया था जिसकी थीम 'जल बचाओ जीवन बचाओ' रखा गया था जिस पर शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास यूनिवर्सिटी, कला एवं शिल्प महाविद्यालय, गोयल ग्रुप ऑफ़ इंस्टीट्यूट समेत कई जगहों से छात्र-छात्राओं और चित्रकारों ने कैनवस पर चित्र बनाकर उसकी प्रदर्शनी लगाई है।


Conclusion:इस अवसर पर प्रदर्शनी में लगे चित्रों में से बेहतरीन चित्रकला के चित्रकारों को पुरस्कार भी दिए गए। बाइट- शिशिर, विशेष सचिव संस्कृति विभाग बाइट- डॉ ए के सिंह, निदेशक, राज्य संग्रहालय रामांशी मिश्रा
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