लखनऊ: यूपी से भाजपा ने एक और नेता को राज्यसभा भेजने का निर्णय लिया है. दरअसल पूर्व वित्त मंत्री अरुण जेटली के निधन के बाद यूपी कोटे की एक सीट रिक्त हुई थी. इस सीट के लिए भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष डॉ. लक्ष्मीकांत बाजपेयी और पूर्व रेल राज्य मंत्री मनोज सिन्हा के नाम पर चर्चा हो रही थी. इसी बीच सुधांशु त्रिवेदी का नाम निकलकर सामने आया और पार्टी ने इन्हें राज्यसभा भेजने का निर्णय लिया है.
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सुधांशु ने मजबूती से रखा पार्टी का पक्ष
सुधांशु त्रिवेदी के बारे में माना जा रहा है कि वह रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के करीबी नेताओं में से एक हैं. सुधांशु त्रिवेदी की शब्दों पर अच्छी पकड़ है. राष्ट्रीय प्रवक्ता के रूप में उन्होंने पार्टी के लिए मीडिया में परिचर्चा के दौरान पार्टी का पक्ष मजबूती से रखा है.
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दायित्व का करूंगा निर्वहन
नामांकन के बाद सुधांशु त्रिवेदी ने ईटीवी भारत से बातचीत में कहा कि पार्टी समय-समय पर लोगों को दायित्व देती है. पिछले वर्षों में मुझे जो भी दायित्व दिया गया, मैंने उसका अपनी सामर्थ्य और क्षमता के अनुरूप निर्वहन किया. इस दायित्व का भी निर्वहन मैं अपनी पूरी क्षमता के साथ करूंगा. मोदी जी के नेतृत्व में विराट भारत का निर्माण हो रहा है. योगी के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश का तेजी से सर्वांगीण विकास हो रहा है.
जन्मभूमि के लिए जितना भी करो कम ही है
सुधांशु त्रिवेदी ने कहा कि अपनी जन्मभूमि में अपेक्षाओं पर बात नहीं होती है, आप जितना भी कर दें वह कम होता है'. यहां के लिए मैं इतना ही कहना चाहूंगा कि 'न भाषा भाव सहेली है नवारी सारगर्भित है, यह तो आदर है ह्रदय का, जो सादर समर्पित है'.