लखनऊ: आर्थिक अपराध शाखा (EOW) ने बाइक बोट घोटाले में मुख्य आरोपी व एक न्यूज चैनल के मालिक बीएन तिवारी को रिमांड पर लेकर दो लग्जरी कारों समेत करोड़ों की संपत्ति बरामद की है. ईओडब्ल्यू को पूछताछ में जानकारी मिली है की अभी दो लग्जरी कारें उनके बेटे कुश और मनोज के पास हैं. ईओडब्ल्यू उन कारों को भी बरामद करने के प्रयास में जुटी है. वहीं पूछताछ के बाद ईओडब्ल्यू ने बीएन तिवारी को जेल भेज दिया है.
लखनऊ एसटीएफ ने किया था गिरफ्तार
ईओडब्ल्यू के एसपी ने बताया कि 4200 करोड़ के बाइक बोट घोटाले में एक निजी टीवी चैनल के निदेशक बीएन तिवारी को एसटीएफ लखनऊ की टीम ने 26 फरवरी को गिरफ्तार किया था. ईओडब्ल्यू ने कोर्ट के आदेश पर बीएन तिवारी को रिमांड पर लेकर पूछताछ की. बीएन तिवारी ने बताया कि उनके तीन मकान आलमनगर रोड राजाजी पुरम थाना तालकटोरा, विवेक खंड थाना गोमतीनगर लखनऊ और रमैया जी पुरम डालीबाग लखनऊ में हैं. साथ ही एक निजी कंपनी के स्वामी भी हैं. वह कंपनी के अधीन संचालित निजी टीवी चैनल के संचालक भी हैं.
जीआईपीएल की स्कीम बताकर हड़पे करोड़ों रुपये
बिजेंद्र हुड्डा की कंपनी को सेवा देने के लिए उनका समझौता हुआ था. इसी दौरान बिजेंद्र ने बीएन तिवारी की मुलाकात संजय भाटी से कराई थी. इसके बाद जीआईपीएल की स्कीम बताते हुए जुड़ने को कहा गया. इसके बाद उन्होंने अपने बेटे मनोज तिवारी और कुश तिवारी को एक निजी टीवी का निदेशक बना दिया. संजय भाटी ने अपनी कंपनियों में वित्तीय सलाहकार एवं प्रशासनिक संचालक बना दिया था. बीएन तिवारी ने करीब 41 करोड़ रुपये उक्त कंपनियों से अपनी कंपनियों के खातों में डाल लिए.
चैनल मालिक के बेटों की तलाश जारी
बीएन तिवारी की निशानदेही पर ईओडब्ल्यू ने कंपनी के कार्यालय में छिपाकर रखी गई जगुआर (कीमत 60 लाख) और फार्च्यूनर (कीमत 30 लाख) बरामद कर ली है. घोटाले की एक फार्च्यूनर और मर्सडीज को बीएन तिवारी ने अपने बेटे मनोज तिवारी और कुश तिवारी को दे दिया था. दोनों लग्जरी कार उनके बेटों के पास हैं. साथ ही बीएन तिवारी के कार्यालय से कुछ कागजात बरामद किए गए हैं. बीएन तिवारी की निशानदेही पर संजय भाटी के चीती गांव से पराली के नीचे से चार करोड़ की मशीन और दो करोड़ कीमत का आल्टीनेटर एवं कंडेसर मिला है. बीएन तिवारी के बेटों की तलाश की जा रही है.