लखनऊ: नवरात्रि में पूजा-पाठ, व्रत-उपवास का अलग महत्व होता है. जिले में पिछले कई सालों से अलग-अलग तरह से दुर्गा पूजा के पंडाल सजाए जाते हैं. वहीं जिले के रविंद्र पल्ली में पिछले 36 वर्षों से दुर्गा पूजा पंडाल लगाया जाता है. हजारों की संख्या में लोग दुर्गा मां के दर्शन करने के लिए यहां आते हैं.
रविन्द्र पल्ली दुर्गा पूजा कमेटी के जनरल सेक्रेटरी मीतू दास कहते हैं कि
- यह पंडाल बंगाली समाज द्वारा बनाया जाता है.
- इसे बनाने के लिए हर साल कोलकाता से कारीगर आते हैं.
- इसे पूरी तरह सजाने में लगभग एक महीने का समय लग जाता है.
इस पंडाल की खास बात यह है कि
- इसे हर साल अलग-अलग थीम पर बनाया जाता है.
- इस वर्ष की थीम है राजस्थानी महल, वहीं मां दुर्गा को ग्रामीण अंचल के थीम पर सजाया गया है.
इस दुर्गा पूजा के पंडाल को पंचमी के दिन से शुरू किया जाता है और दशहरे तक यहां पर लोग आते रहते हैं और मां दुर्गा के दर्शन करते हैं. मीतू दास ने बताया कि सबसे पहले दुर्गा पूजा यहां पर 1984 में शुरू की गई थी. पहले यह कार्यक्रम हमारी कॉलोनी के ही रविंद्र भवन में आयोजित किया जाता था पर जैसे-जैसे साल दर साल भीड़ बढ़ती गई वैसे-वैसे इसकी भव्यता भी हमने बढ़ानी शुरू कर दी. साल 1990 से हमने इसे काफी बड़े स्तर पर सजाना शुरू किया.
बंगाली समाज से जुड़े लोग नवरात्रि को बड़े फेस्टिव सीजन के रूप में देखते हैं. यहां पर लगे पंडाल की भव्यता सिर्फ थीम पर ही नहीं बल्कि यहां होने वाले कार्यक्रमों पर भी आधारित होती है.