लखनऊ : कोरोना के बढ़ते संक्रमण के बीच उत्तर प्रदेश परिवहन निगम की बड़ी लापवाही सामने आयी है. यहां बस अड्डे पर आए यात्री कोविड जांच में संक्रमित मिल रहे हैं. बावजूद इसके बसों को बिना सैनिटाइज किए संचालन के लिए रूटों पर भेजा जा रहा है. यहीं नहीं बसों की सफाई भी नहीं हो रही है. बस के भीतर गंदगी के बीच लोग सफर कर रहे हैं. बसों की छोड़ी-छोटी गड़बड़ियों को दूर करने से डिपो के कर्मी कतरा रहे हैं. इन समस्याओं से नाराज अवध डिपो के ड्राइवर और कंडक्टर्स ने कैसरबाग स्थित बस डिपो से बसें ले जाने से इनकार दिया.
बसों की स्थिति में नहीं हो रहा सुधार
संविदा कर्मचारी यूनियन के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र पाल ने आरोप लगाया कि बार-बार कहने के बावजूद बसों की स्थिति में सुधार नहीं हो रहा है. वहीं इस मामले में अवध डिपो के एआरएम गोपाल दयाल ने बताया कि बसों की मरम्मत लगातार हो रही है. कुछ पार्ट की कमी होने से बसें के दुरूस्त होने में समय लग रहा है. ऐसे में जिन चालक परिचालकों को ड्यूटी नहीं मिली तो बसों में गड़बड़ी होने का आरोप लगा रहे हैं.
ब्रेक फेल होने से दीवार से भिड़ी थी बस
बता दें कि दो दिन पहले अवध डिपो की बस अनियंत्रित होकर मवईया पुल के नीचे दिवार से टकरा गई थी. जिसमें ब्रेक में तकनीकी गड़बड़ी सामने आई. इस घटना को संज्ञान में लेते हुए, बाकी ड्राइवरों ने कहा कि बसों की मरम्मत कराए बिना रूट पर नहीं ले जाएंगे. कोई भी घटना होगी तो इसका जिम्मेदार कौन होगा.
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