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लखनऊ: औषधीय तेलों के गुणों से बना यह उत्पाद, डिफ्यूजर के लिए होगा बेहद खास

राजधानी लखनऊ के केंद्रीय औषधीय सगंध पौधा संस्थान (सीमैप) में डॉक्टरों ने एक वेपोराइजर कंसंट्रेट उत्पाद बनाया है. इससे सांस संबंधी परेशानियों के साथ एलर्जी को भी काफी हद तक कम किया जा सकता है.

औषधीय तेलों के गुणों से बना सिम- रेस्पकूल वेपोराइजर
औषधीय तेलों के गुणों से बना सिम- रेस्पकूल वेपोराइजर
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Published : May 3, 2020, 11:28 AM IST

लखनऊ: सीएसआईआर की प्रयोगशाला केंद्रीय औषधीय एवं सगंध पौधा संस्थान ने एक नया उत्पाद बनाया है. जिससे सांस संबंधी परेशानियों के साथ एलर्जी को भी काफी हद तक कम किया जा सकता है. यह उत्पाद जानवरों पर टेस्ट किया जा चुका है और आयुर्वेद में वर्णित औषधीय तेलों की गुणवत्ता को लेकर बनाया गया है. 'सिम- रेस्पकूल' नामक वेपोराइजर कंसंट्रेट उत्पाद घरों या अन्य जगहों पर डिफ्यूजर में रखने के लिए बनाया गया है.

औषधीय तेलों के गुणों से बना सिम- रेस्पकूल वेपोराइजर

इसका इस्तेमाल हानिकारक नहीं

संस्थान के निदेशक डॉ. बेदी ने बताया कि यह उत्पाद शरीर में माइक्रोवेयर एक्टिविटी को काफी हद तक कम कर सकता है इसके साथ ही इसमें इस्तेमाल किए गए एसेंशियल ऑयल, एरोमाथेरेपी ट्रीटमेंट में भी सामान्य तौर पर इस्तेमाल किए जाते हैं. ऐसे में वेपोराइजर के तौर पर इनका इस्तेमाल करना किसी भी तरह से हानिकारक नहीं होगा. सीमैप में इसे बनाने को लेकर लॉकडाउन के बाद से ही उन्होंने चर्चा शुरू की थी और लगभग 2 महीने की मेहनत के बाद वह इसे तैयार कर चुके हैं.

पानी में है घुलनशील

इस उत्पाद को तैयार करने वाली टीम में शामिल प्रधान वैज्ञानिक डॉक्टर अजीत कुमार शासने ने बताया कि उन्होंने आयुर्वेद और औषधीय पौधों को वेपोराइजर को बनाने के लिए चुना है और उसके लिए भी कुछ प्राथमिकताएं रही हैं. सबसे पहले उन पौधों का चुनाव किया है जो सीमैप और भारत में आसानी से उत्पादित की जा रही हो, ताकि इसका फायदा अरोमा मिशन के तहत काम करने वाले किसानों को भी मिल सके. इसके बाद रोजमैरी, मेंथा, थाइम, यूकेलिप्टस और बेसिल जैसे कुछ एसेंशियल ऑइल्स के एक्सट्रैक्ट को एक निश्चित अनुपात में मिलाकर इसे तैयार किया गया है.

खास बात यह है कि यह उत्पाद पानी में घुलनशील है. हालांकि सामान्य तौर पर तेल पानी में घुलते नहीं हैं, ऐसे में इसकी महत्ता और अधिक बढ़ जाती है. वेपोराइजर के तौर पर डिफ्यूजर में रखने के बाद इसके मॉलिक्यूल पूरे कमरे में फैल जाएंगे और जब आप सांस लेंगे तो श्वास नली के द्वारा यह आपके शरीर में जाएंगे जो अपर ट्रेकिया को सामान्य कर देंगे और साथ ही रेस्पिरेट्री डिस्ट्रेस से भी आप को बचाएंगे.

नहीं पड़ेगी किसी डॉक्टरी सलाह की जरूरत

डॉ. अजीत ने बताया कि वह इस उत्पाद का एनिमल ट्रायल कर चुके हैं और इस दौरान यह भी पाया है कि इस वेपोराइजर में एंटी एलर्जी एक्टिविटीज भी हैं. यह वेपोराइजर हमारे शरीर में हिस्टामिन की एलर्जी को रोक सकता है. सीमैप का यह उत्पाद ओवर द काउंटर उपलब्ध होगा अर्थात इसे खरीदने के लिए किसी तरह की डॉक्टरी सलाह की जरूरत नहीं पड़ेगी. डॉ. अजीत के अनुसार यह वेपोराइजर कंसंट्रेट डिफ्यूजर के तौर पर घर, ऑफिस और अस्पतालों तक में इस्तेमाल किया जा सकता है.

संस्थान के निदेशक डॉक्टर त्रिवेदी का कहना है कि यह उत्पाद अब टेक्नोलॉजी ट्रांसफर के लिए भी उपलब्ध है. ऐसे में जो स्टार्टप या अंत्रप्रेनोर इसमें रुचि लेना चाहे वह सीमैप से संपर्क कर सकते हैं.

लखनऊ: सीएसआईआर की प्रयोगशाला केंद्रीय औषधीय एवं सगंध पौधा संस्थान ने एक नया उत्पाद बनाया है. जिससे सांस संबंधी परेशानियों के साथ एलर्जी को भी काफी हद तक कम किया जा सकता है. यह उत्पाद जानवरों पर टेस्ट किया जा चुका है और आयुर्वेद में वर्णित औषधीय तेलों की गुणवत्ता को लेकर बनाया गया है. 'सिम- रेस्पकूल' नामक वेपोराइजर कंसंट्रेट उत्पाद घरों या अन्य जगहों पर डिफ्यूजर में रखने के लिए बनाया गया है.

औषधीय तेलों के गुणों से बना सिम- रेस्पकूल वेपोराइजर

इसका इस्तेमाल हानिकारक नहीं

संस्थान के निदेशक डॉ. बेदी ने बताया कि यह उत्पाद शरीर में माइक्रोवेयर एक्टिविटी को काफी हद तक कम कर सकता है इसके साथ ही इसमें इस्तेमाल किए गए एसेंशियल ऑयल, एरोमाथेरेपी ट्रीटमेंट में भी सामान्य तौर पर इस्तेमाल किए जाते हैं. ऐसे में वेपोराइजर के तौर पर इनका इस्तेमाल करना किसी भी तरह से हानिकारक नहीं होगा. सीमैप में इसे बनाने को लेकर लॉकडाउन के बाद से ही उन्होंने चर्चा शुरू की थी और लगभग 2 महीने की मेहनत के बाद वह इसे तैयार कर चुके हैं.

पानी में है घुलनशील

इस उत्पाद को तैयार करने वाली टीम में शामिल प्रधान वैज्ञानिक डॉक्टर अजीत कुमार शासने ने बताया कि उन्होंने आयुर्वेद और औषधीय पौधों को वेपोराइजर को बनाने के लिए चुना है और उसके लिए भी कुछ प्राथमिकताएं रही हैं. सबसे पहले उन पौधों का चुनाव किया है जो सीमैप और भारत में आसानी से उत्पादित की जा रही हो, ताकि इसका फायदा अरोमा मिशन के तहत काम करने वाले किसानों को भी मिल सके. इसके बाद रोजमैरी, मेंथा, थाइम, यूकेलिप्टस और बेसिल जैसे कुछ एसेंशियल ऑइल्स के एक्सट्रैक्ट को एक निश्चित अनुपात में मिलाकर इसे तैयार किया गया है.

खास बात यह है कि यह उत्पाद पानी में घुलनशील है. हालांकि सामान्य तौर पर तेल पानी में घुलते नहीं हैं, ऐसे में इसकी महत्ता और अधिक बढ़ जाती है. वेपोराइजर के तौर पर डिफ्यूजर में रखने के बाद इसके मॉलिक्यूल पूरे कमरे में फैल जाएंगे और जब आप सांस लेंगे तो श्वास नली के द्वारा यह आपके शरीर में जाएंगे जो अपर ट्रेकिया को सामान्य कर देंगे और साथ ही रेस्पिरेट्री डिस्ट्रेस से भी आप को बचाएंगे.

नहीं पड़ेगी किसी डॉक्टरी सलाह की जरूरत

डॉ. अजीत ने बताया कि वह इस उत्पाद का एनिमल ट्रायल कर चुके हैं और इस दौरान यह भी पाया है कि इस वेपोराइजर में एंटी एलर्जी एक्टिविटीज भी हैं. यह वेपोराइजर हमारे शरीर में हिस्टामिन की एलर्जी को रोक सकता है. सीमैप का यह उत्पाद ओवर द काउंटर उपलब्ध होगा अर्थात इसे खरीदने के लिए किसी तरह की डॉक्टरी सलाह की जरूरत नहीं पड़ेगी. डॉ. अजीत के अनुसार यह वेपोराइजर कंसंट्रेट डिफ्यूजर के तौर पर घर, ऑफिस और अस्पतालों तक में इस्तेमाल किया जा सकता है.

संस्थान के निदेशक डॉक्टर त्रिवेदी का कहना है कि यह उत्पाद अब टेक्नोलॉजी ट्रांसफर के लिए भी उपलब्ध है. ऐसे में जो स्टार्टप या अंत्रप्रेनोर इसमें रुचि लेना चाहे वह सीमैप से संपर्क कर सकते हैं.

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