लखनऊः 69 हजार शिक्षक भर्ती से वंचित अभ्यर्थियों ने सोमवार को बेसिक शिक्षा, राज्य मंत्री डाॅ सतीश द्विवेदी से मुलाकात की.अभ्यर्थियों ने शिक्षक भर्ती में आरक्षण के नियमों का पालन न किए जाने का आरोप लगाया. जिस पर शिक्षामंत्री ने कहा कि नियमों के तहत ही भर्ती की गई है. इसमें कोई धांधली नहीं हुई है. किसी के लिए नियमों को नहीं बदला जा सकता है.
कई दिनों से अभ्यर्थी कर रहे प्रदर्शन
लखनऊ में पिछले कई दिनों से धरना प्रदर्शन कर रहे 69 हजार शिक्षक भर्ती से वंचित अभ्यर्थियों में नाराजगी बढ़ती ही जा रही है. सोमवार को वीवीआईपी गेस्ट हाउस में बेसिक शिक्षा, राज्य मंत्री डाॅ.सतीश द्विवेदी से अभ्यार्थियों के एक प्रतिनिधि मंडल ने मुलाकात की. जिसमें शामिल पांच लोगों ने ज्ञापन के माध्यम से शिक्षा मंत्री को अपनी शिकायतों से अवगत कराया.
एमआरसी की आड़ में छीना जा रहा आरक्षण
अभ्यर्थियों ने बेसिक शिक्षामंत्री से कहा कि 69 हजार शिक्षक भर्ती में एमआरसी की आड़ में ओबीसी और एससी का आरक्षण छीना जा रहा है. अभ्यर्थियों ने जल्द मूल चयन सूची जारी करने की मांग की. ताकि इसका खुलासा हो सके, कि आखिर किस आधार पर यह भर्ती की गई है. जिस पर बेसिक शिक्षामंत्री डाॅ सतीश द्विवेदी ने शिक्षा अधिकारियों से कहा कि जो सूची सार्वजनिक की जा सकती है. उसे उपलब्ध कराया जाए.
'प्रदर्शन से नहीं होता नौकरी में सिलेक्शन'
बेसिक शिक्षा, राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डाॅ.सतीश द्विवेदी ने बताया कि अभ्यार्थियों को बता दिया गया है कि भर्ती प्रक्रिया में नियमों का उल्लंघन नहीं हुआ है. प्रदेश सरकार के नियमों के अनुसार ही भर्ती होती है.अब कोई भी व्यक्ति ऐसा है,जिसका चयन नहीं हुआ है. तो उसके हिसाब से नियम नहीं बदल सकते हैं. मंत्री ने बताया कि अभ्यार्थियों से अनुरोध किया गया है कि धरना प्रदर्शन खत्म करके अपने-अपने घर जाएं. क्योंकि प्रदर्शन से किसी भी नौकरी के लिए सिलेक्शन नहीं होता है.
बुद्धि-शुद्धि यज्ञ कर मांगा अधिकार
69 हजार शिक्षक भर्ती में ओबीसी और एससी वर्ग के साथ धांधली का आरोप लगाकर अभ्यर्थियों का धरना प्रदर्शन लगातार जारी है. निशातगंज स्थित रिवर फ्रंट में सोमवार को अभ्यथियों ने बुद्धि शुद्धि यज्ञ किया. अभ्यार्थियों ने कहा कि उनका अधिकार न मारा जाए. सरकार ने हम लोगों के साथ अन्याय किया है. इसके अलावा एमआरसी पीड़ितों का कहना है कि सरकार हम लोगों का सही तरीके से चयन करके फिर से कटऑफ जारी करें. प्रदर्शनकारी अभ्यर्थियों ने मांग माने जाने तक धरना जारी रखने की चेतावनी दी है.