लखनऊ. ऑनलाइन क्लासेज बंद करने की मांग को लेकर बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय (BBAU) छात्र शुक्रवार को धरने पर बैठ गए. छात्रों का कहना है कि अभी तक ऑफलाइन कक्षाएं शुरू नहीं किए जाने से उन्हें पढ़ाई में काफी दिक्कतों सामना करना पड़ रहा है. बी.टेक, बीसीए से लेकर कानून तक की पढ़ाई करने वाले छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की.
छात्रों के धरने पर बैठने की सूचना मिलने पर प्रॉक्टर बीबी मालिक, सिक्योरिटी इंचार्ज प्रो.गजानन पांडेय समेत अन्य अधिकारी मौके पर पहुंचे. उनके साथ आशियाना थाने की पुलिस भी मौजूद थी. छात्रों का कहना है कि उनकी ऑनलाइन क्लासेस चल रहीं हैं. 85 फीसदी छात्र गांव देहात से हैं. गांवों में इंटरनेट कनेक्टिविटी की गंभीर समस्या है. ऐसे में ठीक से पढ़ाई नहीं हो पा रही है. छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन को चेतावनी दी कि अगर दो दिनों के भीतर ऑफलाइन क्लासेस शुरू नहीं की गईं तो बड़े पैमाने पर आंदोलन किया जाएगा.
ऑफलाइन क्लासेस शुरू करने की मांग को लेकर छात्र पहले भी प्रदर्शन कर चुके हैं. छात्रों की लगातार मांग और उनकी समस्याओं को देखते हुए विश्वविद्यालय प्रशासन ने 10 फरवरी को बैठक कर फैसला भी लिया था कि 21 फरवरी से अंतिम वर्ष के छात्रों के लिए और 2 मार्च को सभी छात्रों के लिए विश्वविद्यालय परिसर खोल दिए जाएंगे लेकिन बाद में विश्वविद्यालय प्रशासन ने अपने इस फैसले को बदल दिया.
छात्रों का कहना है कि देशभर में स्कूल व कॉलेज खुल गए हैं. प्राइमरी और प्रीप्राइमरी स्कूलों में भी बच्चे पहुंच रहे हैं जबकि बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय (BBAU) को अब तक पूरी तरह से खोला नहीं गया है.
छात्रों का कहना है कि UGC के नोटिस के आदेशानुसार JNU, DU, BHU, AU, DU और गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय समेत केंद्रीय विश्वविद्यालयों और राज्य विश्वविद्यालयों को पूरी तरह से खोल दिया गया है. सभी विश्वविद्यालयों में छात्रों को हॉस्टल भी आवंटित कर दिए गए हैं.
वहीं, बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय प्रशासन का कहना है कि उनके पास उपलब्ध छात्रावासों की संख्या सीमित है. यूजीसी की तरफ से एक कमरे एक ही छात्र को आवंटित किए जाने के निर्देश दिए गए हैं. ऐसे में सभी को छात्रावास दे पाना भी संभव नहीं है.
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