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दिल्ली हाईकोर्ट ने UP के अंतरधार्मिक जोड़े को सुरक्षा देने का दिया आदेश

दिल्ली हाईकोर्ट ने उत्तर प्रदेश के एक अंतरधार्मिक जोड़े की सुरक्षा प्रदान करने का आदेश दिया है. जोड़े की वकील ने कोर्ट को बताया कि दोनों की मुलाकात एक कोचिंग क्लास में हुई थी, जहां दोनों में प्यार हो गया. दोनों ने बिना अपना धर्म बदले स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी करने की योजना बनाई.

दिल्ली हाई कोर्ट
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Published : Dec 19, 2020, 11:01 PM IST

नई दिल्लीः दिल्ली हाईकोर्ट ने यूपी के एक अंतरधार्मिक जोड़े की सुरक्षा का आदेश दिया है. जस्टिस अनु मल्होत्रा की बेंच ने दिल्ली पुलिस को शाहजहांपुर के इस धार्मिक जोड़े को सुरक्षा देने का आदेश दिया.

कोचिंग क्लास में मुलाकात के बाद हुआ प्यार
इस जोड़े की महिला 21 साल की है, जबकि पुरुष 25 साल का है. जोड़े की ओर से वकील वृंदा ग्रोवर, आकर्ष कामरा और सौतिक बनर्जी ने कोर्ट को बताया कि दोनों की मुलाकात एक कोचिंग क्लास में हुई थी, जहां दोनों में प्यार हो गया. दोनों ने बिना अपना धर्म बदले स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी करने की योजना बनाई.

याचिका में कहा गया कि महिला के माता-पिता और रिश्तेदार इस शादी से नाराज थे और उसे धमका रहे थे. महिला के माता-पिता और रिश्तेदारों ने उसे शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताड़ित किया ताकि वह शादी करने की योजना त्याग दे. उसके मामा और चाचा ने धमकी दी कि अगर वह अपने पिता की इच्छा के मुताबिक शादी नहीं करेगी, तो वे महिला और पुरुष दोनों को जान से मार देंगे.

11 दिसंबर को शाहजहांपुर से दिल्ली आया जोड़ा
दोनों ने शाहजहांपुर के सदर बाजार थाना और एसपी सिटी को सूचना दी कि उनकी जान को खतरा है, इसलिए वे अपने घर को छोड़कर जा रहे हैं. उसके बाद दोनों जोड़ा पिछले 11 दिसंबर को शाहजहांपुर से भाग कर दिल्ली आया. उसके बाद दोनों ने धनक फॉर ह्यूमैनिटी नामक एनजीओ से संपर्क किया और सहायता मांगी.

इस जोड़े ने दिल्ली सरकार के समाज कल्याण विभाग से संपर्क किया और सुरक्षित आवास की मांग की. लेकिन समाज कल्याण विभाग ने उनके आग्रह को ठुकरा दिया. उसके बाद जोड़े ने दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया.

नई दिल्लीः दिल्ली हाईकोर्ट ने यूपी के एक अंतरधार्मिक जोड़े की सुरक्षा का आदेश दिया है. जस्टिस अनु मल्होत्रा की बेंच ने दिल्ली पुलिस को शाहजहांपुर के इस धार्मिक जोड़े को सुरक्षा देने का आदेश दिया.

कोचिंग क्लास में मुलाकात के बाद हुआ प्यार
इस जोड़े की महिला 21 साल की है, जबकि पुरुष 25 साल का है. जोड़े की ओर से वकील वृंदा ग्रोवर, आकर्ष कामरा और सौतिक बनर्जी ने कोर्ट को बताया कि दोनों की मुलाकात एक कोचिंग क्लास में हुई थी, जहां दोनों में प्यार हो गया. दोनों ने बिना अपना धर्म बदले स्पेशल मैरिज एक्ट के तहत शादी करने की योजना बनाई.

याचिका में कहा गया कि महिला के माता-पिता और रिश्तेदार इस शादी से नाराज थे और उसे धमका रहे थे. महिला के माता-पिता और रिश्तेदारों ने उसे शारीरिक और मानसिक रूप से प्रताड़ित किया ताकि वह शादी करने की योजना त्याग दे. उसके मामा और चाचा ने धमकी दी कि अगर वह अपने पिता की इच्छा के मुताबिक शादी नहीं करेगी, तो वे महिला और पुरुष दोनों को जान से मार देंगे.

11 दिसंबर को शाहजहांपुर से दिल्ली आया जोड़ा
दोनों ने शाहजहांपुर के सदर बाजार थाना और एसपी सिटी को सूचना दी कि उनकी जान को खतरा है, इसलिए वे अपने घर को छोड़कर जा रहे हैं. उसके बाद दोनों जोड़ा पिछले 11 दिसंबर को शाहजहांपुर से भाग कर दिल्ली आया. उसके बाद दोनों ने धनक फॉर ह्यूमैनिटी नामक एनजीओ से संपर्क किया और सहायता मांगी.

इस जोड़े ने दिल्ली सरकार के समाज कल्याण विभाग से संपर्क किया और सुरक्षित आवास की मांग की. लेकिन समाज कल्याण विभाग ने उनके आग्रह को ठुकरा दिया. उसके बाद जोड़े ने दिल्ली हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया.

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