लखनऊ: सूबे के 75 जनपदों में कोरोना वायरस का प्रकोप दिनों दिन बढ़ रहा है. कोरोना के मामलों में चार जनपद टॉप पर हैं. प्रदेश के कुल मरीजों के 50 फीसदी मरीज इन चार जनपदों के ही हैं. स्थिति यह है कि गत वर्ष 11 सितम्बर को राज्य में सर्वाधिक मरीज 7,103 पाए गए थे. वहीं इस वर्ष गुरुवार को सर्वाधिक 8,490 मरीज पाए गए हैं. इस दौरान 39 मरीजों की मौत हो गई. शुक्रवार को प्रदेश भर में 9,695 लोगों में वायरस की पुष्टि हुई साथ ही 37 लोगों की कोरोना के चलते मौत हो गई.
कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच राजधानी के अस्पतालों में बेड फुल हो चुके हैं. गंभीर मरीजों की कोविड आईसीयू में शिफ्टिंग नहीं हो पा रही है. स्थिति यह है कि मार्च माह में राज्य में जहां कोरोना के सक्रिय मामले सिर्फ 2000 के करीब थे, वहीं नौ अप्रैल को बढ़कर ये संख्या 48,306 हो गई है. शनिवार सुबह 700 मरीज और हो गए हैं. सामने आया है 41 दिनों में 24 गुना से ज्यादा तेज वायरस फैल रहा है.
लखनऊ में सर्वाधिक प्रकोप
राज्य के चार जनपदों लखनऊ, कानपुर, प्रयागराज, वाराणसी में तो कोरोना ने कोहराम मचाया है. प्रदेश के कुल मरीजों के 50 फीसद मरीज चार जनपदों के ही हैं. वहीं मौतें भी इन्हीं चार जिलों में सर्वाधिक हैं. लखनऊ में शुक्रवार को 2,934 मरीज मिले. वर्ष 2021 में लखनऊ में सबसे ज्यादा 14 मौतें एक दिन में हुई हैं. वहीं शुक्रवार को कानपुर नगर में 522, प्रयागराज में 1016, वाराणसी में 845, गौतमबुद्ध नगर में 225 मरीज पाए गए हैं.
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मरीजों की रिकवरी रेट घटी
गंभीर मरीजों की संख्या बढ़ने से कोरोना रिकवरी रेट घट गई है. ऐसे में प्रदेश भर में जहां गुरुवार को 1084 मरीजों ने वायरस को मात दी, वहीं शुक्रवार को 583 ने ही वायरस को हराने में कामयाबी हासिल की. अब तक 9039 मरीज मौत के शिकार हो चुके हैं.
कैसे बढ़ा प्रकोप
दिन | मरीज | मौत |
चार अप्रैल | 4164 | 31 |
पांच अप्रैल | 3,999 | 13 |
छह अप्रैल | 5,928 | 30 |
सात अप्रैल | 6,023 | 40 |
आठ अप्रैल | 8,490 | 39 |
नौ अप्रैल | 9,695 | 37 |