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विधानसभा अध्यक्ष ने कहा, जल्द शुरू होगा यूपी में नई विधानसभा का निर्माण

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Published : Mar 31, 2023, 1:14 PM IST

Updated : Mar 31, 2023, 2:04 PM IST

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13:12 March 31

लखनऊ : उत्तर प्रदेश में नई विधानसभा का निर्माण बहुत जल्द शुरू होगा. विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना ने अपने कार्यकाल का 1 वर्ष पूरा होने के मौके पर यह महत्वपूर्ण घोषणा की है. फिलहाल उन्होंने समय निर्धारित नहीं किया. सतीश महाना का यह बयान तब बहुत महत्वपूर्ण हो जाता है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल ही दिल्ली में सेंट्रल विस्टा का निरीक्षण किया है. सतीश महाना ने इस मौके पर अपने कार्यकाल की उपलब्धियों को भी गिनाया.

विधान भवन के तिलक हाल में आयोजित इस वार्ता में सतीश महाना ने कहा कि 'वर्तमान बजट में 50 करोड़ रुपए नई विधानसभा के निर्माण के लिए प्रस्तावित किया गया है. जिसमें कंसल्टेशन का काम किया जाएगा व कुछ अन्य काम होंगे. अभी मैं यह नहीं बता सकता कि निर्माण कब तक होगा, मगर इस दिशा में काम जारी है. गौरतलब है कि सुल्तानपुर रोड पर चक गजरिया सिटी में नई विधानसभा के लिए भूमि चिन्हित की जा चुकी है.'



सतीश महाना ने कहा कि '29 मार्च 2022 को मेरा चुनाव हुआ था. लोकतंत्र में विधायिका की महत्वपूर्ण भूमिका होती है. कुछ समय से विधायिका को कमजोर करने का प्रयास हुआ है. भारत के लोगों के द्वारा चुने हुए लोगों की जिम्मेदारी है कि वह जनता के कल्याण का काम करें. पीछे एक साल में बहुत कुछ नया किया गया.'

सतीश महाना ने आगे कहा कि 'डेढ़ माह के समय में पहला सत्र हमने डिजिटल किया. सारे सदस्य अपनी डिवाइस पर काम करते हैं. कई राज्यों के स्पीकर देखने आ चुके हैं. गैलरी में विशिष्ट व्यक्तियों की तस्वीरें लगाई. अब विधानसभा का परसेप्शन जाति नहीं योग्यता के आधार पर होता है. सिस्टम को सुधारने पर चर्चा होनी चाहिए. विधायकों के जन्मदिन की बधाई की व्यवस्था शुरू की. ज्यादा प्रश्न लेने शुरू किये. नए बिलों पर बोलने की व्यवस्था शुरू की. पिछले तीन दशक में सबसे अधिक विधायकों ने चर्चा में भाग लिया. 1958 की व्यवस्था और 2023 में बहुत बदलाव हुआ है, जिसको लेकर अब बहुत सारा डिजिटल इंतजाम किया है.'



सतीश महाना ने कहा कि 'महिला सदस्यों के लिए विशेष दिवस का आयोजन किया गया. पूरे देश ने इसको फॉलो किया. विशेषाधिकार हनन के केस को लेकर वर्षों बाद पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को सजा भी दी गई है. पूरे एक साल में 403 सदस्यों को बुलाकर उनके साथ बातचीत की. मैंनेजमेंट का बहुत बड़ा रोल हो गया है. आईआईएम और आईआईटी के लोगों से विधायिका के संबंध में सुझाव लेंगे. सारे विधायकों को अलग उद्योगों की जानकारी के लिए भेजा जाएगा.'

यह भी पढ़ें : कोविड के बढ़ते मामलों को लेकर अस्पतालों में आरक्षित किए गए बेड, खोले गए काउंटर

13:12 March 31

लखनऊ : उत्तर प्रदेश में नई विधानसभा का निर्माण बहुत जल्द शुरू होगा. विधानसभा अध्यक्ष सतीश महाना ने अपने कार्यकाल का 1 वर्ष पूरा होने के मौके पर यह महत्वपूर्ण घोषणा की है. फिलहाल उन्होंने समय निर्धारित नहीं किया. सतीश महाना का यह बयान तब बहुत महत्वपूर्ण हो जाता है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल ही दिल्ली में सेंट्रल विस्टा का निरीक्षण किया है. सतीश महाना ने इस मौके पर अपने कार्यकाल की उपलब्धियों को भी गिनाया.

विधान भवन के तिलक हाल में आयोजित इस वार्ता में सतीश महाना ने कहा कि 'वर्तमान बजट में 50 करोड़ रुपए नई विधानसभा के निर्माण के लिए प्रस्तावित किया गया है. जिसमें कंसल्टेशन का काम किया जाएगा व कुछ अन्य काम होंगे. अभी मैं यह नहीं बता सकता कि निर्माण कब तक होगा, मगर इस दिशा में काम जारी है. गौरतलब है कि सुल्तानपुर रोड पर चक गजरिया सिटी में नई विधानसभा के लिए भूमि चिन्हित की जा चुकी है.'



सतीश महाना ने कहा कि '29 मार्च 2022 को मेरा चुनाव हुआ था. लोकतंत्र में विधायिका की महत्वपूर्ण भूमिका होती है. कुछ समय से विधायिका को कमजोर करने का प्रयास हुआ है. भारत के लोगों के द्वारा चुने हुए लोगों की जिम्मेदारी है कि वह जनता के कल्याण का काम करें. पीछे एक साल में बहुत कुछ नया किया गया.'

सतीश महाना ने आगे कहा कि 'डेढ़ माह के समय में पहला सत्र हमने डिजिटल किया. सारे सदस्य अपनी डिवाइस पर काम करते हैं. कई राज्यों के स्पीकर देखने आ चुके हैं. गैलरी में विशिष्ट व्यक्तियों की तस्वीरें लगाई. अब विधानसभा का परसेप्शन जाति नहीं योग्यता के आधार पर होता है. सिस्टम को सुधारने पर चर्चा होनी चाहिए. विधायकों के जन्मदिन की बधाई की व्यवस्था शुरू की. ज्यादा प्रश्न लेने शुरू किये. नए बिलों पर बोलने की व्यवस्था शुरू की. पिछले तीन दशक में सबसे अधिक विधायकों ने चर्चा में भाग लिया. 1958 की व्यवस्था और 2023 में बहुत बदलाव हुआ है, जिसको लेकर अब बहुत सारा डिजिटल इंतजाम किया है.'



सतीश महाना ने कहा कि 'महिला सदस्यों के लिए विशेष दिवस का आयोजन किया गया. पूरे देश ने इसको फॉलो किया. विशेषाधिकार हनन के केस को लेकर वर्षों बाद पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को सजा भी दी गई है. पूरे एक साल में 403 सदस्यों को बुलाकर उनके साथ बातचीत की. मैंनेजमेंट का बहुत बड़ा रोल हो गया है. आईआईएम और आईआईटी के लोगों से विधायिका के संबंध में सुझाव लेंगे. सारे विधायकों को अलग उद्योगों की जानकारी के लिए भेजा जाएगा.'

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Last Updated : Mar 31, 2023, 2:04 PM IST
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