लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को समीक्षा बैठक के दौरान स्वच्छता और पौधरोपण से लेकर बारिश को लेकर की जा रही तैयारियों की गहनता से समीक्षा की. उन्होंने कहा कि स्वच्छता के संबंध में कोई शिथिलता नहीं होनी चाहिए. कोरोना संक्रमण और बारिश के मौसम में संचारी रोगों के प्रसार के दृष्टिगत प्रभावी कार्रवाई करने के सीएम योगी ने निर्देश दिए. मुख्यमंत्री ने सोमवार को लोक भवन में एक उच्चस्तरीय बैठक में अनलॉक व्यवस्था की समीक्षा के दौरान कहा कि गौतमबुद्ध नगर और गाजियाबाद के साथ ही मेरठ मंडल में पूरी सतर्कता और सावधानी बरती जाए.
अपर मुख्य सचिव गृह एवं सूचना अवनीश अवस्थी ने बताया कि मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड अस्पतालों में व्यवस्थाओं को चुस्त-दुरुस्त रखा जाए. कोविड अस्पतालों में बेड की संख्या को बढ़ाया जाए. प्रत्येक जिले में ऑक्सीजन की उपलब्धता बनाए रखने के निर्देश दिए गए हैं. मुख्यमंत्री ने कहा कि यह भी सुनिश्चित किया जाए कि डॉक्टर और नर्सिंग स्टाफ नियमित रूप से रोगियों की स्थिति देखने के लिए वार्ड्स में जाएं.
इसके साथ ही सीएम योगी ने पैरामेडिकल टीमों को रोगियों की लगातार मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं. 24 घंटे में कम से कम एक बार मरीज के परिजनों को रोगी के स्वास्थ्य की जानकारी भी देने के निर्देश हैं. हेल्पलाइन नंबर 108 और 102 के साथ ही एलएस एंबुलेंस सेवाओं को पूरी तरह सक्रिय रखने के भी निर्देश हैं. एंबुलेंस में ऑक्सीजन की व्यवस्था अनिवार्य है.
टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने के निर्देश
मुख्यमंत्री ने टेस्टिंग क्षमता में लगातार वृद्धि के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा कि टेस्टिंग क्षमता बढ़ाने के लिए विभिन्न संस्थानों में उपलब्ध संसाधनों का पूरा उपयोग किया जाए. ट्रू नेट मशीनों और रैपिड एंटीजन टेस्ट मशीनों को पूरी क्षमता से संचालित कर ज्यादा से ज्यादा टेस्ट किए जाएं. संक्रमण पर नियंत्रण के लिए निजी अस्पतालों में ट्रू नेट मशीनों के प्रयोग को बढ़ावा दिया जाए. बैठक में यह जानकारी दी गई कि अब प्रदेश में 25 सरकारी और निजी प्रयोगशालाओं में टेस्टिंग कार्य किया जा रहा है.
सर्विलांस टीम को भी निर्देश
मुख्यमंत्री ने कहा कि संपर्क में आने वाले लोगों से संक्रमण होने की संभावना रहती है. इसे ध्यान में रखते हुए फील्ड में तैनात शासकीय अधिकारियों और कर्मचारियों को विशेष सावधानी बरतने के लिए कहा जाए. किसी कर्मी के संक्रमित हो जाने की स्थिति में अविलंब उसके स्थान पर दूसरे अधिकारी की तैनाती की जाए. मुख्यमंत्री ने स्वास्थ्य विभाग और चिकित्सा शिक्षा विभाग को सर्विलांस व्यवस्था सुदृढ़ करने के निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि इसे सुचारू ढंग से लागू करते हुए इंसेफलाइटिस पर प्रभावी रोक लगाई जा सकती है. सर्विलांस टीम को घर-घर कोविड के बचाव के संबंध में हैंडबिल भी उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं.
संचारी रोग नियंत्रण अभियान की तैयारियों की हुई समीक्षा
मुख्यमंत्री ने एक से 31 जुलाई तक संचालित किए जाने वाले संचारी रोग नियंत्रण अभियान की तैयारियों की भी समीक्षा की. उन्होंने निर्देश दिए हैं कि प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र को संचारी रोग के संबंध में सतर्क रखा जाए. मानव संसाधन को इस संबंध में प्रशिक्षित रखते हुए एम्बुलेंस आदि की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए. उन्होंने अंतर विभागीय समन्वय के माध्यम से कार्यों को निचले स्तर तक पहुंचाए जाने पर भी बल दिया है. बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने सिंगल यूज प्लास्टिक पर रोक लगाने, महिलाओं को पुष्टाहार की सुचारू उपलब्धता सुनिश्चित करने, मानसून आने के दृष्टिगत बाढ़ नियंत्रण के संबंध में पूरी सतर्कता बरतने जैसे अन्य महत्वपूर्ण बिंदुओं पर भी निर्देश दिए हैं.
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प्रदेश में अब तक कोरोना के 22,828 मामले
उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण के अब तक 22,828 मामले सामने आ चुके हैं. अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य अमित मोहन प्रसाद ने बताया कि प्रदेश में पिछले 24 घंटे में 685 कोरोना के नए केस सामने आए हैं. प्रदेश में 6650 एक्टिव कोरोना वायरस के मरीज हैं. वहीं 15 हजार 506 मरीज ठीक होने के बाद डिस्चार्ज किए जा चुके हैं. ऐसे में प्रदेश में कोरोना संक्रमित मरीजों का रिकवरी दर 66 प्रतिशत से ऊपर है. राज्य में कोरोना संक्रमित 672 लोगों की मौत हुई है. रविवार को प्रदेश ने कोरोना की जांच में एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है. रविवार को प्रदेश में 22 हजार 378 सैम्पल्स के टेस्ट किये गए. अबतक प्रदेश में सात लाख सात हजार 839 टेस्ट किए जा चुके हैं. आइसोलेशन वार्ड में 6,806 लोगों को रखा गया है, जिनका विभिन्न चिकित्सालयों और महाविद्यालयों में इलाज किया जा रहा है. वहीं फैसिलिटी क्वारंटाइन में 5,299 लोगों को रखा गया है.