लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को कोविड अनलॉक व्यवस्था की समीक्षा करने के लिए बैठक की. मुख्यमंत्री ने इस दौरान अस्पतालों की व्यवस्था, कोरोना जांच में वृद्धि करने, स्वच्छता और सैनिटाइजेशन के अभियान को सफल बनाने को लेकर गहन समीक्षा की. साथ ही अधिकारियों को निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा कि स्वच्छता और सैनिटाइजेशन को लेकर शासन के दिशा-निर्देशों के क्रम में अगर किसी जिले में नगर निगम के स्तर पर लापरवाही की गई तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.
अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी ने बताया कि साप्ताहिक बाजार बंद रहने के निर्देश दिए गए हैं. सख्त रूख अख्तियार करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा है कि जो शासन से निर्देश जारी किया गया है, उसका पालन कड़ाई से किया जाए. सोमवार से शुक्रवार तक प्रदेश के सभी जिलों के बाजार पूरी तरह से खुले रहेंगे. प्रत्येक शनिवार और रविवार को स्वच्छता और सैनिटाइजेशन का अभियान चलाने का निर्देश दिया गया है. यह तभी संभव है जब प्लास्टिक के इस्तेमाल पर पूरी तरह से रोक लगाई जाए. जिला प्रशासन, नगर निगम, वाणिज्य कर विभाग सामूहिक रूप से प्रतिबंधित चीजों के इस्तेमाल को रोकने का अभियान चलाया जाए. इस पूरे अभियान में हर नगर निगम में कार्रवाई की जानी है. जिस भी नगर निगम में इस अभियान को प्रमुखता से नहीं लिया गया या लापरवाही बरती गई तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. पिछले दिनों कुछ दिनों में ऐसे लापरवाह अफसरों के खिलाफ कार्रवाई भी की गई है.
कोरोना जांच में यूपी तीसरे स्थान पर
अपर मुख्य सचिव अवनीश अवस्थी ने बताया कि मुख्यमंत्री का जोर है कि प्रदेश में ज्यादा से ज्यादा कोरोना जांच की जाए. जुलाई माह के अंत तक हर दिन कम से कम 50 हजार जांच के निर्देश दिए हैं. इसे पूरा ही करना है. प्रदेश में अब तक 12 लाख 77 हजार 127 कोरोना जांचें हो चुकी हैं. अब हम केवल तमिलनाडु और महाराष्ट्र से ही जांच में पीछे हैं. फिर भी यूपी देश में तीसरे स्थान पर पहुंच गया हैं. उन्होंने कहा कि यूपी में जितनी जांच हो रही हैं, उसमें संक्रमित मरीजों का प्रतिशत कम है. उत्तर प्रदेश में संक्रमित मरीजों में मौत का भी प्रतिशत कम है. सरकार पूरा प्रयास कर रही है कि जिस व्यक्ति को आवश्यकता हो उसकी जांच की जाए. जांच से सही समय पर इलाज संभव हो पाता है. संक्रमित मरीज की जान भी बचाई जा सकती है.
सीएम का निर्देश है कि शासन द्वारा जिलों में भेजी गई स्वास्थ्य विभाग की टीम कोविड और नॉन कोविड अस्पतालों की व्यवस्था की समीक्षा करे. रोगियों को इलाज मिल रहा है या कहीं कोई कमी है. धारा 188 के अंतर्गत एक लाख 20 हजार एफआईआर दर्ज की गई हैं. दो लाख 60 हजार लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज हुई है. 67 हजार वाहन सीज किये गए हैं. करीब 46 करोड़ रुपये जुर्माने के रूप में वसूल किया गया है.