लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम अधिनियम-2020 के तहत प्रदेश में एमएसएमई इकाइयों की तेजी से स्थापना किए जाने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने कहा कि इकाइयों के शीघ्र संचालन के माध्यम से रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे और प्रदेश की अर्थव्यवस्था तेजी से आगे बढ़ेगी. राज्य सरकार वैश्विक महामारी कोविड-19 से उत्पन्न परिस्थितियों को देखते हुए प्रदेश की एमएसएमई इकाइयों को हर सम्भव सहायता उपलब्ध कराने के लिए तत्पर है.
सीएम योगी ने की समीक्षा
मुख्यमंत्री योगी ने मंगलवार को अपने सरकारी आवास पर सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (स्थापना एवं संचालन सरलीकरण) अधिनियम-2020 के तहत एमएसएमई इकाइयों की स्थापना की प्रगति के सम्बन्ध में समीक्षा की. उन्होंने कहा कि इस अधिनियम के तहत इकाइयों की स्थापना के लिए जिला उद्योग केन्द्र के अधिकारी, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम विभाग और उद्यमियों के साथ समन्वय और संवाद बनाया जाए. उद्यमियों को इस सम्बन्ध में अधिक से अधिक जानकारी देते हुए प्रक्रिया से अवगत कराया जाए. अधिनियम के मुख्य बिन्दुओं को हाईलाइट करते हुए एमएसएमई इकाइयों की स्थापना सुगमतापूर्वक किए जाने की व्यवस्थाएं की जाएं. इस सम्बन्ध में व्यापक प्रचार-प्रसार किए जाने के निर्देश दिए.
'यूपी असीम सम्भावनाओं वाला प्रदेश'
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश व देश के औद्योगिक विकास में एमएसएमई सेक्टर का महत्वपूर्ण योगदान है. औद्योगिक विकास और एमएसएमई इकाइयों की स्थापना के सम्बन्ध में राज्य सरकार हर सम्भव प्रयास कर रही है. लोगों को रोजगार देकर उन्हें स्वावलम्बी बनाना वर्तमान सरकार की प्राथमिकता है. उत्तर प्रदेश असीमित सम्भावनाओं वाला प्रदेश है. एमएसएमई इकाइयों की स्थापना से व्यापक पैमाने पर उद्यमी लाभान्वित होंगे. पूंजी निवेश उपलब्ध होगा. उद्यमियों की ऊर्जा के सही इस्तेमाल से प्रदेश का नवनिर्माण सुनिश्चित होगा.
इसे भी पढ़ें:जनता की नजर में पलटू नेता बनते जा रहे अखिलेश- सिद्धार्थनाथ सिंह
'एमएसएमई से जुड़े सभी कार्यालय ऑनलाइन किए जा रहे'
उन्होंने कहा कि सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (स्थापना एवं संचालन सरलीकरण) अधिनियम-2020 का उद्देश्य प्रदेश के एमएसएमई इकाइयों की स्थापना को सुगम बनाना है. विभाग के अपर मुख्य सचिव नवनीत सहगल ने बताया कि इकाइयों के आवेदन निवेश मित्र पोर्टल पर ऑनलाइन कराए जा रहे हैं. इन प्रकरणों का निस्तारण शीघ्र ही किया जाएगा. सभी 18 मंडलों में फैसिलिटेशन काउन्सिल गठित की जा चुकी हैं. व्यापक प्रचार-प्रसार कर अधिनियम की व्यवस्थाओं को लागू कराया जाना प्रस्तावित है. एमएसएमई से जुड़े सभी कार्यालयों को ऑनलाइन कराया जा रहा है. इस अवसर पर मंत्री सिद्धार्थनाथ सिंह सहित अन्य लोग मौजूद रहे.