लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मकर संक्रांति पर प्रदेशवासियों को शुभकामनाएं दी हैं. बुधवार को जारी एक शुभकामना संदेश में मुख्यमंत्री ने कहा कि देश के विभिन्न भागों में मकर संक्रांति का विशिष्ट पर्व विभिन्न रूपों में मनाया जाता है. यह पर्व हमारे देश की समृद्ध विरासत एवं सांस्कृतिक एकता का प्रतीक है.
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#UPCM श्री @myogiadityanath जी ने मकर संक्रांति और खिचड़ी पर्व पर प्रदेशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं दी हैं।
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मुख्यमंत्री जी ने मकर संक्रांति और खिचड़ी पर्व के अवसर पर समस्त अनुष्ठानों में कोविड-19 के प्रोटोकाॅल तथा सोशल डिस्टेन्सिंग का पूर्ण पालन करने की अपील की है।
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मुख्यमंत्री जी ने मकर संक्रांति और खिचड़ी पर्व के अवसर पर समस्त अनुष्ठानों में कोविड-19 के प्रोटोकाॅल तथा सोशल डिस्टेन्सिंग का पूर्ण पालन करने की अपील की है।#UPCM श्री @myogiadityanath जी ने मकर संक्रांति और खिचड़ी पर्व पर प्रदेशवासियों को हार्दिक शुभकामनाएं दी हैं।
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मुख्यमंत्री जी ने मकर संक्रांति और खिचड़ी पर्व के अवसर पर समस्त अनुष्ठानों में कोविड-19 के प्रोटोकाॅल तथा सोशल डिस्टेन्सिंग का पूर्ण पालन करने की अपील की है।
कोविड-19 प्रोटोकाॅल का पालन करने की अपील
मुख्यमंत्री ने मकर संक्रांति के अवसर पर समस्त अनुष्ठानों में कोविड-19 के प्रोटोकाॅल तथा सोशल डिस्टेसिंग का पूर्ण पालन करने की अपील की है. गौरतलब है सम्पूर्ण भारत में मकर संक्रांति का पर्व विभिन्न रूपों में मनाया जाता है. उत्तर प्रदेश और बिहार सहित विभिन्न राज्यों में इसे खिचड़ी पर्व के रूप में मनाया जाता है. इस दिन सूर्य धनु राशि से मकर राशि में प्रवेश करते हैं और उत्तरायण हो जाते हैं. उत्तरायण को सकारात्मकता का प्रतीक माना गया है.
प्रकाश की ओर अग्रसर होने का द्योतक है मकर संक्रांति
मकर संक्रांति पर सूर्यदेव की राशि में हुआ परिवर्तन अंधकार से प्रकाश की ओर अग्रसर होने का द्योतक है. यह सर्वविदित है कि प्रकाश अधिक होने से प्राणियों की चेतना एवं कार्यशक्ति में वृद्धि होती है. इसलिए पूरे भारतवर्ष में इस अवसर पर लोग विविध रूपों में सूर्यदेव की उपासना करते हैं. मकर संक्रांति के अवसर पर पवित्र नदियों एवं सरोवरों में स्नान, पूजा-अर्चना तथा दान का विशेष महत्व है.