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यूपी में चलाया जाएगा स्वच्छ ढाबा अभियान, रेटिंग के आधार पर होंगे सम्मानित - स्वच्छ ढाबा अभियान चलाया जाएगा

यूपी में अब स्वच्छ ढाबा अभियान (Clean Dhaba campaign will be launched in UP) चलाया जाएगा. यूपी की तस्वीर बदलने के लिए अभियान 5 से 12 जनवरी के बीच चलेगा. रेटिंग के आधार पर प्रतिष्ठानों को सम्मानित किया जाएगा.

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Published : Jan 3, 2023, 10:02 PM IST

लखनऊ : स्वच्छ भारत मिशन नगरीय 2.0 के तहत यूपी को स्वच्छ बनाने को लेकर स्वच्छ भारत मिशन (नगरीय) उत्तर प्रदेश द्वारा पांच जनवरी से स्वच्छ ढाबा अभियान (Clean Dhaba campaign will be launched in UP) की शुरुआत की जा रही है. 12 जनवरी तक चलने वाले इस अभियान के तहत प्रदेश के 750 निकायों में संचालित ढाबों से निकलने वाले अपशिष्ट का वैज्ञानिक विधि से स्वत: निस्तारण के प्रति प्रेरित किया जाएगा. साथ ही मानक पर खरा उतरने वाले ढाबों को पुरस्कृत भी किया जाएगा. इन्हें एक स्टार, तीन स्टार और पांच स्टार रेटिंग जारी की जाएगी.

निदेशक, स्वच्छ भारत मिशन नेहा शर्मा ने बताया कि शासन के निर्देश पर प्रदेश के सभी 750 निकायों में स्वच्छ भारत मिशन नगरीय के अन्तर्गत पांच जनवरी से 12 जनवरी तक स्वच्छ ढाबा अभियान चलाया जाएगा. इस अभियान के तहत मुख्य मार्गों पर संचालित ढाबा, रेस्टोरेन्ट प्रतिष्ठानों से प्रतिदिन भारी मात्रा में निकलने वाले अपशिष्ट को वैज्ञानिक विधि से स्वत: निस्तारित करने के प्रति प्रेरित किया जाएगा. उन्होंने बताया कि निकायों में संचालित ढाबों अथवा रेस्टोरेंटों का निरीक्षण एक विशेष टीम द्वारा किया जाएगा. जिसके बाद मापदंडों पर खरा उतरने वाले प्रतिष्ठानों को पुरस्कृत किया जाएगा. उन्होंने बताया कि स्वच्छ ढाबा अभियान के जरिए एक ओर जहां ढाबों में स्वच्छता सुनिश्चित होगी, वहीं इन ढाबों अथवा रेस्टोरेंटों पर भारी संख्या में पहुंचने वाले राहगीर भी स्वच्छता के प्रति जागरूक होंगे. स्वच्छ ढाबा अभियान उत्तर प्रदेश के आम जन को स्वच्छता के प्रति जागरुक करने में मील का पत्थर साबित होगा.



तीन महीने तक चलेगा अभियान : स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 के दृष्टिगत अभियान तीन माह तक चलाया जाएगा, वहीं 05 से 12 जनवरी 2023 तक चिन्हित ढाबों पर जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन होगा. इसके साथ ही 13 जनवरी से 20 मार्च 2023 तक चिन्हित ढाबों की मॉनिटरिंग होगी. वहीं 20 मार्च से 31 मार्च तक रेटिंग के आधार पर ढाबों का पुरस्कार वितरण किया जाएगा.

यह हैं 1 स्टार रेटिंग के मानक : सिंगल यूज प्लास्टिक और प्लास्टिक कटलरी का प्रयोग ढाबे में नहीं किया जाना चाहिए. सार्वजनिक उपयोग के लिए 2 डिब्बे (हरे और नीले) ढाबे में लगे होने चाहिए. ढाबे द्वारा गीले और सूखे कचरे में अलग-अलग करना चाहिए और अलग-अलग निपटान भी करना चाहिए. ढाबे में लोगों के लिए शौचालय साफ एवं उपलब्ध होना चाहिए. ढाबे द्वारा ओडीएफ श्रेणी की सभी शर्तों को पूरा करना चाहिए. गूगल मैप या टॉयलेट लोकेटर पर ढाबे के शौचालय की लोकेशन अपलोड होनी चाहिए. ढाबों के आस-पास कूड़े का ढेर नहीं होना चाहिए. ढाबों पर चित्रों के माध्यम से स्वच्छता का संदेश होना चाहिए.


तीन स्टार (3 star) : ढाबे द्वारा 1 स्टार की सभी शर्तों को पूरा करना होगा. ढाबे में गीले अपशिष्ट (कम्पोस्टिंग या कॉम्पैक्ट बायोगैस) की उपलब्धता होनी चाहिए. ढाबे में साफ पार्किंग, Beautification होना चाहिए.


पांच स्टार (5 star) : ढाबे द्वारा 1 और 3 स्टार की सभी शर्तों को पूरा करना होगा. ढाबे द्वारा गीला और सूखा दोनों प्रकार के कचरे का पुनः उपयोग स्वयं के स्तर पर करना होगा. ढाबा जीरो वेस्ट और 3 आर (Reduce, Re-use and Recycle) को फॉलो करना होगा. ढाबे पर वेस्ट टू वंडर (आइटम), सेल्फी प्वाइंट (कचरे से बना) होना चाहिए. ढाबे पर बेकार सामग्री से बने सामान को बेचने के लिए छोटा स्टॉल लगाना होगा, जिससे ढाबे पर आने वाले लोग उसको देखे और प्रोत्साहित हों.

यह भी पढ़ें : कल मुंबई पहुचेंगे सीएम योगी, देश के बड़े उद्योग समूहों के प्रतिनिधियों से करेंगे मुलाकात

लखनऊ : स्वच्छ भारत मिशन नगरीय 2.0 के तहत यूपी को स्वच्छ बनाने को लेकर स्वच्छ भारत मिशन (नगरीय) उत्तर प्रदेश द्वारा पांच जनवरी से स्वच्छ ढाबा अभियान (Clean Dhaba campaign will be launched in UP) की शुरुआत की जा रही है. 12 जनवरी तक चलने वाले इस अभियान के तहत प्रदेश के 750 निकायों में संचालित ढाबों से निकलने वाले अपशिष्ट का वैज्ञानिक विधि से स्वत: निस्तारण के प्रति प्रेरित किया जाएगा. साथ ही मानक पर खरा उतरने वाले ढाबों को पुरस्कृत भी किया जाएगा. इन्हें एक स्टार, तीन स्टार और पांच स्टार रेटिंग जारी की जाएगी.

निदेशक, स्वच्छ भारत मिशन नेहा शर्मा ने बताया कि शासन के निर्देश पर प्रदेश के सभी 750 निकायों में स्वच्छ भारत मिशन नगरीय के अन्तर्गत पांच जनवरी से 12 जनवरी तक स्वच्छ ढाबा अभियान चलाया जाएगा. इस अभियान के तहत मुख्य मार्गों पर संचालित ढाबा, रेस्टोरेन्ट प्रतिष्ठानों से प्रतिदिन भारी मात्रा में निकलने वाले अपशिष्ट को वैज्ञानिक विधि से स्वत: निस्तारित करने के प्रति प्रेरित किया जाएगा. उन्होंने बताया कि निकायों में संचालित ढाबों अथवा रेस्टोरेंटों का निरीक्षण एक विशेष टीम द्वारा किया जाएगा. जिसके बाद मापदंडों पर खरा उतरने वाले प्रतिष्ठानों को पुरस्कृत किया जाएगा. उन्होंने बताया कि स्वच्छ ढाबा अभियान के जरिए एक ओर जहां ढाबों में स्वच्छता सुनिश्चित होगी, वहीं इन ढाबों अथवा रेस्टोरेंटों पर भारी संख्या में पहुंचने वाले राहगीर भी स्वच्छता के प्रति जागरूक होंगे. स्वच्छ ढाबा अभियान उत्तर प्रदेश के आम जन को स्वच्छता के प्रति जागरुक करने में मील का पत्थर साबित होगा.



तीन महीने तक चलेगा अभियान : स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 के दृष्टिगत अभियान तीन माह तक चलाया जाएगा, वहीं 05 से 12 जनवरी 2023 तक चिन्हित ढाबों पर जागरूकता कार्यक्रमों का आयोजन होगा. इसके साथ ही 13 जनवरी से 20 मार्च 2023 तक चिन्हित ढाबों की मॉनिटरिंग होगी. वहीं 20 मार्च से 31 मार्च तक रेटिंग के आधार पर ढाबों का पुरस्कार वितरण किया जाएगा.

यह हैं 1 स्टार रेटिंग के मानक : सिंगल यूज प्लास्टिक और प्लास्टिक कटलरी का प्रयोग ढाबे में नहीं किया जाना चाहिए. सार्वजनिक उपयोग के लिए 2 डिब्बे (हरे और नीले) ढाबे में लगे होने चाहिए. ढाबे द्वारा गीले और सूखे कचरे में अलग-अलग करना चाहिए और अलग-अलग निपटान भी करना चाहिए. ढाबे में लोगों के लिए शौचालय साफ एवं उपलब्ध होना चाहिए. ढाबे द्वारा ओडीएफ श्रेणी की सभी शर्तों को पूरा करना चाहिए. गूगल मैप या टॉयलेट लोकेटर पर ढाबे के शौचालय की लोकेशन अपलोड होनी चाहिए. ढाबों के आस-पास कूड़े का ढेर नहीं होना चाहिए. ढाबों पर चित्रों के माध्यम से स्वच्छता का संदेश होना चाहिए.


तीन स्टार (3 star) : ढाबे द्वारा 1 स्टार की सभी शर्तों को पूरा करना होगा. ढाबे में गीले अपशिष्ट (कम्पोस्टिंग या कॉम्पैक्ट बायोगैस) की उपलब्धता होनी चाहिए. ढाबे में साफ पार्किंग, Beautification होना चाहिए.


पांच स्टार (5 star) : ढाबे द्वारा 1 और 3 स्टार की सभी शर्तों को पूरा करना होगा. ढाबे द्वारा गीला और सूखा दोनों प्रकार के कचरे का पुनः उपयोग स्वयं के स्तर पर करना होगा. ढाबा जीरो वेस्ट और 3 आर (Reduce, Re-use and Recycle) को फॉलो करना होगा. ढाबे पर वेस्ट टू वंडर (आइटम), सेल्फी प्वाइंट (कचरे से बना) होना चाहिए. ढाबे पर बेकार सामग्री से बने सामान को बेचने के लिए छोटा स्टॉल लगाना होगा, जिससे ढाबे पर आने वाले लोग उसको देखे और प्रोत्साहित हों.

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