लखनऊ: काउंसलिंग फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन काउंसिल के सचिव गेरी अरथून ने सूचना जारी की है कि कक्षा 10 और 12 की बोर्ड परीक्षाएं अप्रैल और मई से शुरू होंगी. उन्होंने बताया कि काउंसलिंग फॉर द इंडियन स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन की परीक्षाएं हमेशा सीबीएसई और यूपी बोर्ड से पहले शुरू होती थीं, लेकिन इस बार परीक्षाएं 2 महीने बाद शुरू होंगी. सचिव ने सभी राज्यों की सरकारों से 4 जनवरी से कक्षा 10 और 12 की कक्षाएं पूर्णरूप से संचालित करने की अनुमति मांगी है. कोरोना के चलते गत मार्च में होली के बाद से विद्यालय बंद हो गए थे, जिसके बाद स्कूलों ने ऑनलाइन और टीवी के माध्यम से पढ़ाई शुरू की. अक्टूबर से स्कूलों को आंशिक रूप से खोला गया, जिसमें कक्षा 9 से 12 तक की क्लास 3 घंटे चलाई जा रही है.
सचिव ने सभी राज्यों से कक्षा 10 और 12 की कक्षाएं 4 जनवरी से पूर्ण रूप से चलाने की मांग की है, ताकि बोर्ड परीक्षा की तैयारी कराई जा सके. राज्य सरकारों को सचिव द्वारा लिखे पत्र के अनुसार बोर्ड परीक्षा से पहले छात्रों की अंतिम तैयारी कराई जानी है. प्रोजेक्ट वर्क, प्रैक्टिकल, विभिन्न विषयों से संबंधित छात्रों की समस्याएं दूर करने के लिए कक्षाओं का सुचारु रुप से चलना अनिवार्य है. इसके अलावा उन्होंने इस बात की जानकारी दी है कि इस बार बोर्ड परीक्षाएं अप्रैल और मई माह में होंगी. उन्होंने केंद्रीय मुख्य चुनाव आयुक्त को पत्र लिखकर इन दोनों महीने में होने वाले चुनाव के बारे में जानकारी मांगी है, ताकि बोर्ड परीक्षा की समय सारणी तैयार की जा सके.
इस बारे में अनएडेड प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन के अध्यक्ष अनिल अग्रवाल ने बताया कि काउंसिल को हमने 15 अप्रैल के बाद बोर्ड परीक्षाएं कराने का प्रस्ताव दिया था. कोरोना के चलते स्कूलों की पढ़ाई प्रभावित होने के बाद यह प्रस्ताव दिया गया था. उम्मीद है कि अप्रैल के अंतिम सप्ताह से बोर्ड परीक्षाएं शुरू होंगी. उन्होंने बताया कि बोर्ड परीक्षा के लिए करीब 40% तक पाठ्यक्रम पढ़ाया जाना बाकी है. जनवरी और फरवरी में पहली और दूसरी प्री बोर्ड परीक्षा कराने का प्रस्ताव है. उन्होंने इसे ऑफलाइन कराए जाने की मांग की है. उन्होंने कहा कि जल्द ही बोर्ड परीक्षाएं पूर्ण रूप से कैंपस में कराए जाने और जूनियर कक्षाओं को खोले जाने का प्रस्ताव वह सरकार को देंगे.