लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को पंचायती राज विभाग के कार्यक्रमों, योजनाओं की समीक्षा की और ग्राम पंचायतों के सशक्तिकरण के सम्बंध में आवश्यक दिशा-निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि 'प्रदेश के सभी ग्राम पंचायतों में संचालित ग्राम सचिवालयों को हाई स्पीड इंटरनेट सेवा से लैस किया जाए. सचिवालय परिसर के 50 मीटर परिधि में आम जन के उपयोगार्थ वाई-फाई की सुविधा भी मुहैया कराई जाए. हर गांव डिजिटल सुविधा युक्त हो.
उन्होंने कहा कि 'प्रदेश की समृद्धि के लिए गांवों का सशक्तिकरण आवश्यक है. इस दिशा में विगत 06 वर्ष में उत्तर प्रदेश में हुए नियोजित प्रयासों के अच्छे परिणाम मिले हैं. देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश में देश की कुल पंचायतों के लगभग 5वां हिस्सा है. वर्तमान में 57,702 ग्राम पंचायतों, 75 जिला पंचायतों, 826 क्षेत्र पंचायतों के माध्यम से प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत राज व्यवस्था आदर्श रूप में कार्य कर रही है. हमारी कई पंचायतों ने नवाचार अपना कर एक मॉडल प्रस्तुत किया है. हमें अपने गांवों को आत्मनिर्भर बनाना होगा. इस संबंध में ठोस प्रयास किया जाना चाहिए.
उन्होंने कहा कि 'साधन संपन्न परिवारों के पास अपने परिजनों के विवाह व अन्य कार्यक्रमों के आयोजन के लिए अनेक विकल्प होते हैं. किंतु सीमित अथवा कमजोर आय वाले परिवारों के लिए ऐसे समारोहों का भव्य आयोजन करने में बड़ी आर्थिक समस्या होती है. गांवों में बारातघर की बड़ी आवश्यकता है. ऐसे में सभी ग्राम पंचायतों में बारातघर का निर्माण कराया जाना चाहिए. मातृभूमि योजना के अंतर्गत अब तक मिले प्रस्ताव उत्साहजनक हैं. हर जिले के लिए प्रवासीजनों से प्रस्ताव मिल रहे हैं. इस योजना का उपयोग गांवों में बारातघर निर्माण में भी किया जाना चाहिए.'
उन्होंने कहा कि 'खुले से शौच से मुक्ति के बाद अब हमें गांवों में ठोस और तरल अपशिष्ट के निस्तारण के लिए कार्य करना होगा. हर गांव में जल निकासी की बेहतर व्यवस्था हो. हमारा लक्ष्य हो कि आगामी वर्ष 2025 तक सभी 57702 ग्राम पंचायतों और उनमें शामिल 95826 राजस्व ग्रामों को अपशिष्ट निस्तारण का मॉडल बनाएं. इस लक्ष्य की सफलता के लिए चरणबद्ध कार्ययोजना तैयार करें. तरल अपशिष्ट प्रबंधन के लिए सोख्ता, फिल्टर चैंबर, कंस्ट्रक्टेड वेटलैंड आदि का निर्माण कराया जाना चाहिये. ठोस अपशिष्ट प्रबंधन के लिए कूड़े से खाद बनाना उपयोगी हो सकता है. गांवों को प्रतिबंधित श्रेणी के प्लास्टिक से मुक्त कराने के लिए जनजागरूकता बढ़ाने के प्रयास करें. सभी ग्राम पंचायतों को चरणबद्ध रूप से आईएसओ सर्टिफाई कराया जाए.'
उन्होंने कहा कि 'त्रिस्तरीय पंचायतों (ग्राम, क्षेत्र व जिला पंचायत) में विकास कार्यों के लिए धन की कोई कमी नहीं है. पंचायतों के विकास के लिए धनराशि का आवंटन समय पर हो. कार्य की गुणवत्ता सुनिश्चित करें. त्रिस्तरीय पंचायतों के कार्यों में पारदर्शिता के दृष्टिगत यहां भी जेम (गवर्नमेंट ई-मार्केट) पोर्टल की व्यवस्था लागू की जाए. प्रदेश के सभी ग्राम पंचायतों में ग्राम सचिवालयों की स्थापना ने ग्रामीण जीवन को सहज बनाया है. यहां पंचायत सहायक, अकाउंटेंट कम डाटा एंट्री ऑपरेटर नियुक्त किये गए हैं. पहली बार गावों के लिए आर्किटेक्ट/कंसल्टिंग इंजीनियर का इम्पैनलमेन्ट किया जा रहा है. ग्राम पंचायतें ऑनलाइन कार्यों में सक्षम हैं. आज शासन की योजनाओं का सीधा लाभ सीधे गांव में बैठे व्यक्ति को मिल रहा है.'
उन्होंने कहा कि 'प्रदेश के सभी ग्राम पंचायतों में संचालित ग्राम सचिवालयों को हाई स्पीड इंटरनेट सेवा से लैस किया जाए. सचिवालय परिसर के 50 मीटर परिधि में आम जन के उपयोगार्थ वाई-फाई की सुविधा भी मुहैया कराई जाए. हर गांव डिजिटल सुविधा युक्त हो. इस संबंध में आवश्यक कार्ययोजना तैयार करें. प्रदेश की जिला पंचायतों में ई-गवर्नेंस प्रणाली को लागू कर कार्यों के संपादन में पारदर्शिता लाने के उद्देश्य से ऑनलाइन रेवेन्यू मैनेजमेंट सिस्टम पोर्टल को लागू किया जाए. इस पोर्टल से कर वसूली, लाइसेंस निर्गत करने की प्रक्रिया, मानचित्र की स्वीकृति आदि को सुचारु एवं पारदर्शी रूप से किया जाना संभव होगा. सभी ग्राम सचिवालयों में पब्लिक एड्रेस सिस्टम और सीसीटीवी कैमरे की उपलब्धता कराएं. ग्रामीण क्षेत्र में मौसम के पूर्वानुमान के लिए कृषि विभाग के साथ समन्वय स्थापित करते हुए ऑल वेदर स्टेशन व रेन गेज़ स्थापित कराए जाएं.'
2021 बैच के यूपी कैडर के IAS अधिकारियों से सीएम योगी का संवाद : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 2021 बैच के यूपी कैडर के आईएएस अधिकारियों से मुलाकात की. उनकी यह मुलाकात मुख्यमंत्री के सरकारी आवास 5 कालिदास मार्ग पर हुई. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को जरूरी दिशा-निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि अधिकारियों के मन में जनहित का भाव होना चाहिए, फील्ड में तैनाती के दौरान जनता से जितना बेहतर कनेक्ट रखेंगे, उतना ही लोग अधिकारियों को याद रखेंगे.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS) के वर्ष 2021 बैच के उत्तर प्रदेश कैडर के प्रशिक्षु अधिकारियों से संवाद किया. उन्होंने IAS में शामिल हुए युवा अधिकारियों को सफल करियर के लिए संवाद, समन्वय और सकारात्मकता का मंत्र देते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य के प्रशासन का महत्वपूर्ण हिस्सा बनना, चुनौतियों से भरा है. यह चुनौतियां ही आपके व्यक्तित्व को निखारेंगी.
उन्होंने कहा कि 'IAS अधिकारी के रूप में आप सभी को ज्वॉइंट मजिस्ट्रेट से लेकर शासन के शीर्ष पदों पर काम करने तथा नीतियां बनाने का दायित्व मिलेगा. ऐसे में आपके मन में जनहित का भाव होना चाहिए. सेवा के शुरुआती 05-06 वर्ष में आपके काम करने की दिशा आने वाले 30-35 वर्षों के लिए आपके करियर की राह तय करने वाली होगी. उन्होंने कहा कि स्थानान्तरण के समय यदि लोग आपके जाने से दुःखी होते हैं तो समझ लीजिए आप सही दिशा में हैं. प्रदेश के अनेक घटनाक्रमों का जिक्र करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि ट्रेनिंग के बाद जब आप ज्वॉइंट मजिस्ट्रेट के रूप में पहली तैनाती पाएंगे तो वहां राजस्व के मामले भी आएंगे और कानून-व्यवस्था भी संभालने का अवसर होगा. आज राजस्व के लाखों मामले लंबित हैं, लोगों को त्वरित न्याय का इंतज़ार है. आप उनकी अपेक्षा पूरी कर सकते हैं. कानून-व्यवस्था के मामलों में संवाद की महत्ता बताते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि बड़ी से बड़ी भीड़, कितनी भी आक्रोशित क्यों न हो, यदि ठीक से संवाद हो तो हर समस्या का समाधान हो जाता है.'
उन्होंने कहा कि 'अयोध्या, कानपुर, हरदोई, रायबरेली, मुरादाबाद, आगरा, सहारनपुर, आमजमगढ़, झांसी, मथुरा, गोरखपुर, वाराणसी आदि जिलों में बीडीओ, उपजिलाधिकारी, सीडीपीओ जैसे पदों पर तैनाती के साथ फील्ड का अनुभव लेकर आईएएस के फेज-दो के प्रशिक्षण के लिए तैयार अधिकारियों ने संवाद के दौरान अपने अनुभव भी साझा किए. युवा अधिकारियों ने अपने-अपने जिलों की चुनौतियों के बारे में मुख्यमंत्री को बताया, साथ ही, अपने द्वारा किए गए नवाचारों से भी अवगत कराया. मुख्यमंत्री ने सभी प्रशिक्षु अधिकारियों के अनुभवों को आगे के कार्यकाल के लिए उपयोगी बताते हुए कहा कि 25 करोड़ की आबादी, 18 मंडलों और 75 जनपदों वाले इस विशाल राज्य के हर जनपद की अपनी चुनौतियां हैं. प्रशासनिक अधिकारी के रूप में इन्हें समझना और इनका सामना करना आपका दायित्व है. मुख्यमंत्री ने कहा कि IAS अधिकारी के रूप में आपके पास आमजन के जीवन में बदलाव लाने का एक अच्छा मौका है, इसका सदुपयोग करना चाहिए.'