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लखनऊ: अखिलेश यादव ने कहा, यह युवाओं के सपने को तोड़ने वाली सरकार है - अखिलेश यादव ने योगी सरकार पर बोला हमला

उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमत्री अखिलेश यादव ने केंद्र और राज्य सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि भाजपा युवाओं को बरगलाने का काम कर रही है. भाजपा सरकार नौजवानों के सपनों को तोड़ने वाली सरकार साबित हो रही है. वहीं देहरादून में मकान गिरने से चार लोगों की मौत पर उन्होंने उत्तराखंड सरकार पर भी निशाना साधा.

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सपा राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव.
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Published : Jul 17, 2020, 1:21 AM IST

लखनऊ: यूपी के पूर्व सीएम व समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने केंद्र और प्रदेश सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि भाजपा युवाओं को बरगलाने का काम कर रही है. उन्होंने कहा कि जुमलेबाजी में पारंगत भाजपा सरकार ने करोड़ों युवाओं की आशाओं, संभावनाओं और प्रतिभाओं को निराश किया है. युवाओं का भविष्य अंधकार में है. रोजगार के अवसर सृजित नहीं हो रहे हैं और उसकी कोई सम्भावनाएं भी नहीं हैं. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार नौजवानों के सपनों को तोड़ने वाली सरकार साबित हो रही है.

सपा अध्यक्ष ने कहा कि करोड़ों रोजगार बांटने का दावा करने वाली भाजपा ने किस क्षेत्र में कितना रोजगार दिया. इसका आंकड़ा क्यों नहीं दे रही है. झूठे दावे की की पोल न खुले इसलिए मुख्यमंत्री जुमलेबाजी में प्रधानमंत्री को शामिल करने में संकोच नहीं करते हैं. अखिलेश ने कहा कि एक चीनी कंपनी द्वारा मलेशिया में यूपी के कई जिलों के श्रमिकों को प्रताड़ित करने की खबर सामने आई है.

केंद्र और प्रदेश सरकार को वहां की सरकार और दूतावास के संपर्क कर श्रमिकों को सुरक्षित वापस लाने का प्रयास करना चाहिए. मलेशिया में यूपी के 35 लोग हैं. केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि हवाई चप्पल वालों को भी हवाई जहाज से घर वापसी का अधिकार मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि सरकार की लापरवाही के कारण पिछले तीन- चार महीनों में विभिन्न राज्यों से पलायन कर रहे कई श्रमिक की मौत हो गई. सपा ने पीड़ित श्रमिक परिवारों को एक- एक लाख रुपये आर्थिक मदद की है. सरकार को कम से कम 10 लाख रुपये की मदद देनी चाहिए.

प्रदेश सरकार की कार्यशैली पर सवाल खड़ा करते हुए कहा अखिलेश यादव ने कहा कि पूंजीनिवेश केवल पत्रों पर एमओयू में आया है. जमीन पर एक भी उद्योग नहीं लगाया गया है. ग्रामीण और कुटीर उद्योगों के जरिए स्वावलम्बन की दिशा में समाजवादी पार्टी ने कदम उठाए थे, जिसके तहत अवध शिल्प ग्राम की स्थापना की थी. बुनकरों को तमाम रियायतें दी गई थी और जिले के हुनर को प्रोत्साहित किया था. चक गंजरिया क्षेत्र में आईटी हब बनाने के पीछे रोजगार के नए साधन मुहैया करने की भावना थी.

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार केवल उद्योगपतियों को राहत पहुंचाने के लिए श्रमिकों की सुरक्षा और सम्मान से संबंधित तमाम आधारभूत श्रम कानूनों को हटा दिया है. काम के घंटे बढ़ा दिए हैं और मजदूरों की दिहाड़ी वेतन भी घटा दिया गया है. श्रमिक अब मालिकों के बंधुआ बन कर रहेंगे.भाजपा गरीबों, कमजोर वर्ग के हितों की रक्षा की जगह उनमें असुरक्षा आशंका पैदा करती है.

उत्तराखंड सरकार पर भी उठाया सवाल साधा निशाना

अखिलेश यादव ने उत्तराखंड के देहरादून में मकान गिरने से चार लोगों की मौत पर गहरा शोक जताते हुए उत्तराखंड सरकार से पीड़ित परिजनों को 5-5 लाख रुपये का मुआवजा देने की मांग की है. सरकार पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि जब राजधानी में प्रशासनिक लापरवाही का यह हाल है, तो उत्तराखंड के दूरदराज क्षेत्रों में रहने वाले लोगों का जीवन कितना दूभर और कठोर होगा. इसका अंदाजा आसानी से लगाया जा सकता है. वहीं सपा अध्यक्ष ने दलित समाज के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व मंत्री धूराराम के निधन पर गहरा शोक जताया है.

लखनऊ: यूपी के पूर्व सीएम व समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने केंद्र और प्रदेश सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि भाजपा युवाओं को बरगलाने का काम कर रही है. उन्होंने कहा कि जुमलेबाजी में पारंगत भाजपा सरकार ने करोड़ों युवाओं की आशाओं, संभावनाओं और प्रतिभाओं को निराश किया है. युवाओं का भविष्य अंधकार में है. रोजगार के अवसर सृजित नहीं हो रहे हैं और उसकी कोई सम्भावनाएं भी नहीं हैं. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार नौजवानों के सपनों को तोड़ने वाली सरकार साबित हो रही है.

सपा अध्यक्ष ने कहा कि करोड़ों रोजगार बांटने का दावा करने वाली भाजपा ने किस क्षेत्र में कितना रोजगार दिया. इसका आंकड़ा क्यों नहीं दे रही है. झूठे दावे की की पोल न खुले इसलिए मुख्यमंत्री जुमलेबाजी में प्रधानमंत्री को शामिल करने में संकोच नहीं करते हैं. अखिलेश ने कहा कि एक चीनी कंपनी द्वारा मलेशिया में यूपी के कई जिलों के श्रमिकों को प्रताड़ित करने की खबर सामने आई है.

केंद्र और प्रदेश सरकार को वहां की सरकार और दूतावास के संपर्क कर श्रमिकों को सुरक्षित वापस लाने का प्रयास करना चाहिए. मलेशिया में यूपी के 35 लोग हैं. केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए उन्होंने कहा कि हवाई चप्पल वालों को भी हवाई जहाज से घर वापसी का अधिकार मिलना चाहिए. उन्होंने कहा कि सरकार की लापरवाही के कारण पिछले तीन- चार महीनों में विभिन्न राज्यों से पलायन कर रहे कई श्रमिक की मौत हो गई. सपा ने पीड़ित श्रमिक परिवारों को एक- एक लाख रुपये आर्थिक मदद की है. सरकार को कम से कम 10 लाख रुपये की मदद देनी चाहिए.

प्रदेश सरकार की कार्यशैली पर सवाल खड़ा करते हुए कहा अखिलेश यादव ने कहा कि पूंजीनिवेश केवल पत्रों पर एमओयू में आया है. जमीन पर एक भी उद्योग नहीं लगाया गया है. ग्रामीण और कुटीर उद्योगों के जरिए स्वावलम्बन की दिशा में समाजवादी पार्टी ने कदम उठाए थे, जिसके तहत अवध शिल्प ग्राम की स्थापना की थी. बुनकरों को तमाम रियायतें दी गई थी और जिले के हुनर को प्रोत्साहित किया था. चक गंजरिया क्षेत्र में आईटी हब बनाने के पीछे रोजगार के नए साधन मुहैया करने की भावना थी.

उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार केवल उद्योगपतियों को राहत पहुंचाने के लिए श्रमिकों की सुरक्षा और सम्मान से संबंधित तमाम आधारभूत श्रम कानूनों को हटा दिया है. काम के घंटे बढ़ा दिए हैं और मजदूरों की दिहाड़ी वेतन भी घटा दिया गया है. श्रमिक अब मालिकों के बंधुआ बन कर रहेंगे.भाजपा गरीबों, कमजोर वर्ग के हितों की रक्षा की जगह उनमें असुरक्षा आशंका पैदा करती है.

उत्तराखंड सरकार पर भी उठाया सवाल साधा निशाना

अखिलेश यादव ने उत्तराखंड के देहरादून में मकान गिरने से चार लोगों की मौत पर गहरा शोक जताते हुए उत्तराखंड सरकार से पीड़ित परिजनों को 5-5 लाख रुपये का मुआवजा देने की मांग की है. सरकार पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि जब राजधानी में प्रशासनिक लापरवाही का यह हाल है, तो उत्तराखंड के दूरदराज क्षेत्रों में रहने वाले लोगों का जीवन कितना दूभर और कठोर होगा. इसका अंदाजा आसानी से लगाया जा सकता है. वहीं सपा अध्यक्ष ने दलित समाज के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व मंत्री धूराराम के निधन पर गहरा शोक जताया है.

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