ETV Bharat / state

गोला गोकर्णनाथ उपचुनाव का प्रचार थमा, नहीं गए अखिलेश यादव, पार्टी के अंदर फिर उठ रहे सवाल

लखीमपुर खीरी जिले के गोला गोकर्णनाथ विधानसभा सीट (Gola Gokarnath by election campaign) पर उपचुनाव के प्रचार का शोर मंगलवार शाम पूरी तरह से थम गया. सबकी नजरें समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के चुनाव प्रचार पर थीं, लेकिन सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव एक बार फिर उपचुनाव के प्रचार से पूरी तरह दूर रहे.

Etv Bharat
Etv Bharat
author img

By

Published : Nov 1, 2022, 6:50 PM IST

लखनऊ. लखीमपुर खीरी जिले के गोला गोकर्णनाथ विधानसभा सीट (Gola Gokarnath by election campaign) पर उपचुनाव के प्रचार का शोर मंगलवार शाम पूरी तरह से थम गया. सबकी नजरें समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के चुनाव प्रचार पर थीं, लेकिन सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव एक बार फिर उपचुनाव के प्रचार से पूरी तरह दूर रहे. इसको लेकर पार्टी के अंदर तमाम तरह के सवाल भी खड़े हो रहे हैं.


पिता मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद यह माना जा रहा था कि शायद अखिलेश यादव अब अपनी रणनीति कुछ बदलें और चुनाव के प्रचार में जाकर पार्टी उम्मीदवार को जिताने की अपील करें, लेकिन अखिलेश यादव एक बार फिर अपने कार्यकर्ताओं को निराश करने का काम कर गए. इसको लेकर समाजवादी पार्टी के अंदर ही सवाल उठाए जा रहे हैं. पार्टी के नेताओं का कहना है कि एक तरफ जहां भारतीय जनता पार्टी के तमाम बड़े नेता व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उपचुनाव के प्रचार में पूरी तरह सक्रिय रहे, कई जनसभाएं कीं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक भी कार्यक्रम में शामिल हुए. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी, महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह लगातार कैंप करते रहे. वहीं समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपचुनाव के प्रचार में आखिर क्यों नहीं शामिल हुए. समाजवादी पार्टी के एक नेता ने नाम ना लिखने की शर्त पर कहा कि हमें यह समझ नहीं आ रहा है कि जब हम राजनीतिक पार्टी चला रहे हैं और जब उपचुनाव जैसी स्थिति सामने आती है तो आखिर हम प्रचार के लिए क्यों नहीं जाते? उपचुनाव में अखिलेश यादव नहीं गए इससे कार्यकर्ताओं में एक बार फिर गलत संदेश गया है. इससे पहले आजमगढ़ और रामपुर लोकसभा उपचुनाव के प्रचार से भी अखिलेश यादव ने दूरी बनाई थी. जिसको लेकर पार्टी के अंदर कई तरह के सवाल खड़े हुए थे, लेकिन पता नहीं क्या वजह है कि अखिलेश यादव उपचुनाव के प्रचार से हमेशा दूर ही रहते हैं.

पार्टी के एक नेता कहते हैं कि अखिलेश यादव अपने कुछ नवरत्नों से घिरे रहते हैं और गलत सलाह के चलते वह उपचुनाव के प्रचार से दूर रहे. यही नहीं अखिलेश यादव के अलावा समाजवादी पार्टी का कोई अन्य बड़ा नेता गोला गोकर्णनाथ सीट पर हो रहे उपचुनाव में प्रचार के लिए नहीं गया. ऐसे में समझा जा सकता है कि समाजवादी पार्टी उपचुनाव किस प्रकार से ले रही है. पार्टी के एक नेता ने यह भी कहा कि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव, बसपा की अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के नक्शे कदम पर चल रहे हैं.

यह भी पढ़ें : निकाय चुनाव, चार नवंबर को घोषित हो सकता है परिसीमन और आरक्षण


खास बात यह है कि रामपुर और आजमगढ़ के लोकसभा उपचुनाव में अखिलेश यादव प्रचार के लिए नहीं गए और इसका उन्हें खामियाजा भी भुगतना पड़ा. समाजवादी पार्टी की करारी हार हुई थी, जिसको लेकर समाजवादी पार्टी के अंदर से ही तमाम तरह के सवाल खड़े किए जा रहे थे. पार्टी के नेताओं की तरफ से अनौपचारिक बातचीत में यह बात कही गई कि जब राजनीति के क्षेत्र में काम करते हैं, उपचुनाव हो या फिर आम चुनाव प्रचार से दूरी किसी भी स्थिति में ठीक नहीं है.

यह भी पढ़ें : गड्ढा मुक्ति के कामों में लापरवाही पर भड़के जितिन प्रसाद, पीडब्ल्यूडी विभागाध्यक्ष से मांगा स्पष्टीकरण

लखनऊ. लखीमपुर खीरी जिले के गोला गोकर्णनाथ विधानसभा सीट (Gola Gokarnath by election campaign) पर उपचुनाव के प्रचार का शोर मंगलवार शाम पूरी तरह से थम गया. सबकी नजरें समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के चुनाव प्रचार पर थीं, लेकिन सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव एक बार फिर उपचुनाव के प्रचार से पूरी तरह दूर रहे. इसको लेकर पार्टी के अंदर तमाम तरह के सवाल भी खड़े हो रहे हैं.


पिता मुलायम सिंह यादव के निधन के बाद यह माना जा रहा था कि शायद अखिलेश यादव अब अपनी रणनीति कुछ बदलें और चुनाव के प्रचार में जाकर पार्टी उम्मीदवार को जिताने की अपील करें, लेकिन अखिलेश यादव एक बार फिर अपने कार्यकर्ताओं को निराश करने का काम कर गए. इसको लेकर समाजवादी पार्टी के अंदर ही सवाल उठाए जा रहे हैं. पार्टी के नेताओं का कहना है कि एक तरफ जहां भारतीय जनता पार्टी के तमाम बड़े नेता व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उपचुनाव के प्रचार में पूरी तरह सक्रिय रहे, कई जनसभाएं कीं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक भी कार्यक्रम में शामिल हुए. भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र सिंह चौधरी, महामंत्री संगठन धर्मपाल सिंह लगातार कैंप करते रहे. वहीं समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपचुनाव के प्रचार में आखिर क्यों नहीं शामिल हुए. समाजवादी पार्टी के एक नेता ने नाम ना लिखने की शर्त पर कहा कि हमें यह समझ नहीं आ रहा है कि जब हम राजनीतिक पार्टी चला रहे हैं और जब उपचुनाव जैसी स्थिति सामने आती है तो आखिर हम प्रचार के लिए क्यों नहीं जाते? उपचुनाव में अखिलेश यादव नहीं गए इससे कार्यकर्ताओं में एक बार फिर गलत संदेश गया है. इससे पहले आजमगढ़ और रामपुर लोकसभा उपचुनाव के प्रचार से भी अखिलेश यादव ने दूरी बनाई थी. जिसको लेकर पार्टी के अंदर कई तरह के सवाल खड़े हुए थे, लेकिन पता नहीं क्या वजह है कि अखिलेश यादव उपचुनाव के प्रचार से हमेशा दूर ही रहते हैं.

पार्टी के एक नेता कहते हैं कि अखिलेश यादव अपने कुछ नवरत्नों से घिरे रहते हैं और गलत सलाह के चलते वह उपचुनाव के प्रचार से दूर रहे. यही नहीं अखिलेश यादव के अलावा समाजवादी पार्टी का कोई अन्य बड़ा नेता गोला गोकर्णनाथ सीट पर हो रहे उपचुनाव में प्रचार के लिए नहीं गया. ऐसे में समझा जा सकता है कि समाजवादी पार्टी उपचुनाव किस प्रकार से ले रही है. पार्टी के एक नेता ने यह भी कहा कि समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव, बसपा की अध्यक्ष पूर्व मुख्यमंत्री मायावती के नक्शे कदम पर चल रहे हैं.

यह भी पढ़ें : निकाय चुनाव, चार नवंबर को घोषित हो सकता है परिसीमन और आरक्षण


खास बात यह है कि रामपुर और आजमगढ़ के लोकसभा उपचुनाव में अखिलेश यादव प्रचार के लिए नहीं गए और इसका उन्हें खामियाजा भी भुगतना पड़ा. समाजवादी पार्टी की करारी हार हुई थी, जिसको लेकर समाजवादी पार्टी के अंदर से ही तमाम तरह के सवाल खड़े किए जा रहे थे. पार्टी के नेताओं की तरफ से अनौपचारिक बातचीत में यह बात कही गई कि जब राजनीति के क्षेत्र में काम करते हैं, उपचुनाव हो या फिर आम चुनाव प्रचार से दूरी किसी भी स्थिति में ठीक नहीं है.

यह भी पढ़ें : गड्ढा मुक्ति के कामों में लापरवाही पर भड़के जितिन प्रसाद, पीडब्ल्यूडी विभागाध्यक्ष से मांगा स्पष्टीकरण

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.