लखनऊ: इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने प्रतापगढ जनपद के कुंडा के बलीपुर गांव में वर्ष 2013 में हुई ग्राम प्रधान नन्हे यादव की हत्या के एक आरोपी की जमानत याचिका मंजूर कर ली है. इस चर्चित मामले में ही नन्हे यादव की हत्या के बाद उसके भाई सुरेश और सीओ कुंडा जियाउल हक की हत्या हुई थी.
न्यायमूर्ति मनीष माथुर की एकल सदस्यीय पीठ ने आरोपी राजीव प्रताप सिंह उर्फ राजू सिंह की जमानत याचिका को मंजूर कर लिया है. अभियुक्त की यह तीसरी जमानत याचिका थी. इसके पूर्व दो जमानत याचिकाएं खारिज हो चुकी हैं. हालांकि दूसरी जमानत याचिका पर न्यायालय ने यह भी आदेश पारित किया था कि मामले का ट्रायल जल्द पूर्ण किया जाए.
वर्तमान याचिका में कहा गया कि न्यायालय के आदेश के बावजूद अब तक सिर्फ 16 गवाहों का परीक्षण किया जा सका है, जबकि 64 गवाहों का परीक्षण अब भी बाकी है. न्यायालय ने पाया कि सीबीआई की ओर से जमानत याचिका के विरुद्ध दाखिल प्रति शपथ पत्र में कहा गया है कि मामले की लिखित तहरीर फूलचंद्र यादव की बताई गई, जबकि वह पवन कुमार यादव ने लिखी थी व फूलचन्द्र यादव के हस्ताक्षर बना दिये थे.
इसके साथ ही अभियुक्त पर मृतक की सूचना मुख्य अभियुक्तों अजय कुमार पाल व विजय कुमार पाल को देने का आरोप है, जबकि फायरिंग का आरोप मुख्य अभियुक्तों पर है. इसके अलावा मामले के प्रत्यक्षदर्शी नितिश शुक्ला को भी सीबीआई अब तक पेश नहीं कर पाई है. उपरोक्त परिस्थितियों के मद्देनजर न्यायालय ने अभियुक्त को जमानत पर रिहा करने का आदेश दिया है.