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लखनऊ: कृमि मुक्ति दिवस पर 14 लाख बच्चों को खिलाई गई कृमि नाशक डोज - national health portal of india

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मनाया गया. इस मौके पर करीब 14 लाख बच्चों को कृमि नाशक दवा के रुप में एल्बेंडाजोल की डोज दी गई.

राजधानी में कृमि मुक्ति दिवस का आयोजन.
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Published : Aug 30, 2019, 9:40 AM IST

लखनऊ: राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर राजधानी समेत पूरे उत्तर प्रदेश में 1 से 19 वर्ष तक की आयु वाले बच्चों को कृमि नाशक दवा एल्बेंडाजोल खिलाई गई. स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग द्वारा 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मनाया गया.

राजधानी में कृमि मुक्ति दिवस का आयोजन.
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के बारे में लखनऊ के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल ने बताया कि पिछले 3 सालों से हम 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मना रहे हैं. गुरुवार के दिन 1 वर्ष से 19 वर्ष तक की आयु के बच्चों को एल्बेंडाजोल की एक गोली खिलाई जाती है. इस दिवस मनाने के साथ एनीमिया मुक्त भारत का मकसद भी शामिल होता है.

सीएमओ ने जानकारी देते हुए बताया कि इस बार राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के अवसर पर तमाम विभागों ने सहयोग दिया. इसकी वजह से इस पहल के सकारात्मक नतीजे भी सामने आए. वहीं यह भी बताया कि इस दिवस का शुभारंभ क्रिश्चियन कॉलेज में विधायक डेंजिल जे गोंडिन के द्वारा किया गया था, जहां पर लगभग 150 बच्चों को एल्बेंडाजोल की गोली खिलाकर उन्हें कृमि मुक्ति दिवस की ओर आगे बढ़ाया गया. लखनऊ भर में तकरीबन 14 लाख बच्चों ने यह दवा खाई है और यह बेहद सुरक्षित दवा है, जिसका कोई साइड इफेक्ट नहीं है.

बच्चों के पेट में कीड़े होने का सामान्यता मुख्य कारण गंदा पानी का सेवन करना है. इसी वजह से स्वच्छ पानी की तरफ भी हम अपना प्रयास जारी रख रहे हैं ताकि बच्चों को साफ पानी पीने को मिले क्योंकि पेट में कीड़े होने से शारीरिक और मानसिक विकास भी बाधित होता है.
- डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल, सीएमओ, लखनऊ

लखनऊ: राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर राजधानी समेत पूरे उत्तर प्रदेश में 1 से 19 वर्ष तक की आयु वाले बच्चों को कृमि नाशक दवा एल्बेंडाजोल खिलाई गई. स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग द्वारा 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मनाया गया.

राजधानी में कृमि मुक्ति दिवस का आयोजन.
राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के बारे में लखनऊ के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल ने बताया कि पिछले 3 सालों से हम 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मना रहे हैं. गुरुवार के दिन 1 वर्ष से 19 वर्ष तक की आयु के बच्चों को एल्बेंडाजोल की एक गोली खिलाई जाती है. इस दिवस मनाने के साथ एनीमिया मुक्त भारत का मकसद भी शामिल होता है.

सीएमओ ने जानकारी देते हुए बताया कि इस बार राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के अवसर पर तमाम विभागों ने सहयोग दिया. इसकी वजह से इस पहल के सकारात्मक नतीजे भी सामने आए. वहीं यह भी बताया कि इस दिवस का शुभारंभ क्रिश्चियन कॉलेज में विधायक डेंजिल जे गोंडिन के द्वारा किया गया था, जहां पर लगभग 150 बच्चों को एल्बेंडाजोल की गोली खिलाकर उन्हें कृमि मुक्ति दिवस की ओर आगे बढ़ाया गया. लखनऊ भर में तकरीबन 14 लाख बच्चों ने यह दवा खाई है और यह बेहद सुरक्षित दवा है, जिसका कोई साइड इफेक्ट नहीं है.

बच्चों के पेट में कीड़े होने का सामान्यता मुख्य कारण गंदा पानी का सेवन करना है. इसी वजह से स्वच्छ पानी की तरफ भी हम अपना प्रयास जारी रख रहे हैं ताकि बच्चों को साफ पानी पीने को मिले क्योंकि पेट में कीड़े होने से शारीरिक और मानसिक विकास भी बाधित होता है.
- डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल, सीएमओ, लखनऊ

Intro:लखनऊ। राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर लखनऊ समेत पूरे उत्तर प्रदेश में 1 से 19 वर्ष तक की आयु वाले बच्चों को कृमि नाशक दवा एल्बेंडाजोल खिलाई गई। स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग द्वारा 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस मनाया जा रहा है।


Body:वीओ1 राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के बारे में लखनऊ के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल ने बताया कि पिछले 3 सालों से हम 29 अगस्त को राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस यहां मना रहे हैं आज के दिन 1 वर्ष से 19 वर्ष तक की आयु के बच्चों को एल्बेंडाजोल की एक गोली खिलाई जाती है उन्होंने बताया कि कृमि मुक्ति दिवस मनाने के साथ एनीमिया मुक्त भारत का मकसद भी शामिल होता है। सीएमओ ने कहा कि इस बार राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस के अवसर पर तमाम विभागों ने सहयोग दिया इसकी वजह से इस पहल के सकारात्मक नतीजे भी सामने आएंगे। अग्रवाल ने बताया कि इस दिवस का शुभारंभ क्रिश्चियन कॉलेज में विधायक डेंजिल जे गोंडिन के द्वारा इसका शुभारंभ किया गया जहां पर लगभग 150 बच्चों को एल्बेंडाजोल की गोली खिलाकर उन्हें कृमि मुक्ति दिवस की ओर आगे बढ़ाया गया। लखनऊ भर में तकरीबन 14 लाख बच्चों ने यह दवा खाई है और यह बेहद सुरक्षित दवा है जिसका कोई साइड इफेक्ट नहीं है।


Conclusion:टॉप अग्रवाल ने बताया कि बच्चों के पेट में कीड़े होने का सामान्यता मुख्य कारण गंदा पानी का सेवन करना है इसी वजह से स्वच्छ पानी की तरफ भी हम अपना प्रयास जारी रख रहे हैं ताकि बच्चों को साफ पानी पीने को मिले क्योंकि पेट में कीड़े होने से शारीरिक और मानसिक विकास भी बाधित होता है। बाइट- डॉक्टर नरेंद्र अग्रवाल, सीएमओ, लखनऊ रामांशी मिश्रा
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