लखीमपुर खीरीः जिले में 3 अक्टूबर को तिकुनिया में किसानों के प्रदर्शन के दौरान थार चढ़ाने के मामले में आरोपी बीजेपी सभासद सुमित जायसवाल समेत चार आरोपियों की पुलिस रिमांड मंजूर कर ली है. इसके अलावा सुमित जायसवाल की ओर से दर्ज कराए गए मुकदमे के आरोपी गुरविंदर सिंह की भी रिमांड अदालत ने मंजूर कर ली है. वहीं, हिंसा के मुख्य आरोपी केंद्रीय गृह राज्य मंत्री के बेटे आशीष मिश्र उर्फ मोनू की जमानत पर आज सुनवाई को होगी.
दरअसल, आईटी और क्राइम ब्रांच ने किसानों की हत्या के आरोप में दर्ज हत्या के मुकदमे में गिरफ्तार सुमित जयसवाल, नन्दन विष्ट, सत्यम त्रिपाठी और शिशुपाल की दो दिन की रिमांड मांगी थी. सीजेएम चिंतामणि की अदालत में बुधवार को सुनवाई के बाद सुमित जायसवाल समेत चारों आरोपियों की दो दिन की रिमाण्ड स्वीकृत कर दी है. इन चारों आरोपियों को 28 अक्टूबर सुबह 10 बजे से 30 अक्टूबर सुबह 10 बजे तक की रिमाण्ड अदालत ने मंजूर की है.
सुमित जयसवाल की तहरीर पर भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या के आरोप में दर्ज मुकदमे में गिरफ्तार गुरविंदर सिंह की पुलिस रिमांड भी तीन दिन के लिए सीजेएम अदालत ने स्वीकृत कर दी है. 28 अक्टूबर सुबह 10 बजे से 31 अक्टूबर सुबह 10 बजे बजे तक गुरविंदर पुलिस अभिरक्षा में रहेगा. इस दौरान एसआईटी टीम और क्राइम ब्रान्च को गुरविंदर से आला कत्ल बरामद करने का प्रयास करेगी.
ऐसी ही जरूरी और विश्वसनीय खबरों के लिए डाउनलोड करें ईटीवी भारत ऐप
तिकुनिया हिंसा मामले में मुख्य आरोपी केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्र के बेटे आशीष मिश्र मोनू की जमानत पर गुरुवार को जिला जज की अदालत में सुनवाई होगी. इस मामले में आशीष के दो और गिरफ्तार साथी आरोपी आशीष पाण्डेय और लवकुश की जमानत अर्जी बुधवार को जिला जज अदालत दाखिल की गई. अदालत ने 3 नवंबर की तिथि जमानत पर सुनवाई के लिए नियत की है.
इसे भी पढ़ें-लखीमपुर खीरी हिंसाः बीजेपी कार्यकर्ताओं की हत्या के आरोप में दो आरोपी गिरफ्तार
वहीं, सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर तिकुनिया कांड के 13 गवाहों के बयान बुधवार को अदालत में दर्ज कराए गए. अदालत में अब तक 46 प्रत्यक्षदर्शी किसानों के बयान धारा 164 के तहत दर्ज कराए जा चुके हैं. सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर गवाहों की सुरक्षा पर एसआईटी और जिला पुलिस ने कार्रवाई शुरू कर दी है. अतिसंवेदनशील और अहम गवाहों को चिन्हित कर उनको सुरक्षा बंदोबस्त किया जा रहा है. डीआईजी उपेंद्र अग्रवाल के साथ क्राइम ब्रांच और जिला पुलिस ने गवाहों की सुरक्षा पर मंथन शुरू कर दिया है.