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5 साल कैद में रहने के बाद भी नहीं सुधरा शराबी बंदर कालिया, कहीं ताउम्र पिंजड़े में न रहे जाए बंद

आज हम आपको कानपुर चिड़िया घर के अस्पताल में कैद एक ऐसे बंदर के बारे में बताएंगे, जो अपने गुनाहों के चलते आजीवन कारावास की सजा काट रहा है. दरअसल, ये कोई साधारण बंदर नहीं है इसका नाम है कालिया. इसने मिर्जापुर में 200 से ज्यादा लोगों पर हमला कर उन्हें गंभीर रूप से घायल कर दिया था.

बंदर.
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Published : Nov 24, 2022, 3:46 PM IST

Updated : Nov 24, 2022, 4:04 PM IST

कानपुर: अदालतों में अपराधियों को अजीवन कारावास की सजा मिलते तो आपने सुना होगा, लेकिन क्या कभी किसी बंदर को आजीवन कारावास की सजा मिलते सुना है. आपने, जी हां कानपुर के चिड़ियाघर में एक ऐसा कालिया बंदर है. जोकि आजीवन कारावास की सजा काट रहा है. बीते वर्ष 2017 में जौनपुर से गिरफ्तार किए गए इस बंदर का गुनाह महिलाओं और बच्चों को घायल करना है. मिर्जापुर में इसने लगभग 200 लोगों पर हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया था, जिसके बाद इसे पकड़ कर कानपुर चिड़ियाघर लाया गया था. कानपुर चिड़िया घर में तैनात डॉ. नासिर का कहना है जब से इसे यहां लाया गया. तब से अभी तक इसकी हरकतों में कोई सुधार नहीं है. ये अभी भी हमलावर हो जाता है जोकि लोगों के लिए खतरनाक है. इस वजह से इसे अब ताउम्र पिंजड़े में बंद रहना होगा.

जानकारी देते डॉक्टर मो. नासिर.

फिल्मी कहानी से कम नहीं है इस बंदर की कहानी
गौरतलब है कि कालिया बंदर आम बंदरों की तरह ही दिखने में लगता है, लेकिन इसका नाम कालिया इसलिए पड़ा की ये एक तांत्रिक के साथ रहता था और तांत्रिक के काली विद्याओं को देखता रहता था. तांत्रिक ने ही इसे कालिया नाम दिया था. तांत्रिक का असर इस पर इतना था कि आज भी इसके पास कोई जाता है तो उसे देख कर ये कुछ बड़बड़ाने सा लगता है मानो ऐसा प्रतीत होता है जैसे वह कोई मंत्र पढ़ रहा है. तांत्रिक के मरने के बाद ये अनाथ हो गया था. इसके बाद कालिया कई बंदरों के झुंडों में शामिल होने के लिए कई बार कोशिश की, लेकिन बंदरों में और गुटबाजी और वर्चस्व के चलते वह शामिल नहीं हो सका, जिसके बाद वह बंदरों का खलनायक बन गया और बंदरों के अलावा मिर्जापुर में कई लोंगो पर हमला किया, जिनमें ज्यादतर महिलाएं और बच्चे शामिल थे. मिर्जापुर के लोगों की शिकायत पर उसे वन विभाग की टीम ने पकड़ा और कई दिनों तक उसे कैद में रखने के बाद भी वह नहीं सुधरा तो उसे कानपुर लाकर उम्र कैद की सजा दे दी गई और उसे एक पिंजड़े में चिड़िया घर के अस्पताल में कैद कर दिया गया है.

अय्याशी और अश्लीलता का भी है आरोप
कानपुर प्राणी उद्यान के डॉक्टर मो. नासिर बताते है कि कालिया को तांत्रिक ने शराब और मांस की भी लत लगा दी थी जिस वजह से वह और बिगड़ गया था और जौनपुर कई बार शराब के ठेकों से शराब खरीद रहे लोगों पर हमला कर शराब छीन कर पी ली थी. यही नही तांत्रिक की ट्रेनिग का असर इतना है कि आज भी कालिया अश्लील इशारे करना नही भूला है. डॉक्टर ने बताया कि वैसे कालिया को जंगल मे छोड़ने के लिए तैयारी कर ली गयी थी, लेकिन 5 साल सजा काटने के बाद भी कालिया की हरकतों में कोई सुधार न होने की वजह से उसे आजीवन कैद में रहना होगा. डॉक्टर का कहना है कालिया मानव जाति के लिए खतरनाक है इस वजह से इसे अब नहीं छोड़ा जा सकता.

इसे भी पढ़ें- दारूबाज बंदर! देखिए चखने के साथ कैसे लगाता है शराब के पैग [Video]

कानपुर: अदालतों में अपराधियों को अजीवन कारावास की सजा मिलते तो आपने सुना होगा, लेकिन क्या कभी किसी बंदर को आजीवन कारावास की सजा मिलते सुना है. आपने, जी हां कानपुर के चिड़ियाघर में एक ऐसा कालिया बंदर है. जोकि आजीवन कारावास की सजा काट रहा है. बीते वर्ष 2017 में जौनपुर से गिरफ्तार किए गए इस बंदर का गुनाह महिलाओं और बच्चों को घायल करना है. मिर्जापुर में इसने लगभग 200 लोगों पर हमला कर गंभीर रूप से घायल कर दिया था, जिसके बाद इसे पकड़ कर कानपुर चिड़ियाघर लाया गया था. कानपुर चिड़िया घर में तैनात डॉ. नासिर का कहना है जब से इसे यहां लाया गया. तब से अभी तक इसकी हरकतों में कोई सुधार नहीं है. ये अभी भी हमलावर हो जाता है जोकि लोगों के लिए खतरनाक है. इस वजह से इसे अब ताउम्र पिंजड़े में बंद रहना होगा.

जानकारी देते डॉक्टर मो. नासिर.

फिल्मी कहानी से कम नहीं है इस बंदर की कहानी
गौरतलब है कि कालिया बंदर आम बंदरों की तरह ही दिखने में लगता है, लेकिन इसका नाम कालिया इसलिए पड़ा की ये एक तांत्रिक के साथ रहता था और तांत्रिक के काली विद्याओं को देखता रहता था. तांत्रिक ने ही इसे कालिया नाम दिया था. तांत्रिक का असर इस पर इतना था कि आज भी इसके पास कोई जाता है तो उसे देख कर ये कुछ बड़बड़ाने सा लगता है मानो ऐसा प्रतीत होता है जैसे वह कोई मंत्र पढ़ रहा है. तांत्रिक के मरने के बाद ये अनाथ हो गया था. इसके बाद कालिया कई बंदरों के झुंडों में शामिल होने के लिए कई बार कोशिश की, लेकिन बंदरों में और गुटबाजी और वर्चस्व के चलते वह शामिल नहीं हो सका, जिसके बाद वह बंदरों का खलनायक बन गया और बंदरों के अलावा मिर्जापुर में कई लोंगो पर हमला किया, जिनमें ज्यादतर महिलाएं और बच्चे शामिल थे. मिर्जापुर के लोगों की शिकायत पर उसे वन विभाग की टीम ने पकड़ा और कई दिनों तक उसे कैद में रखने के बाद भी वह नहीं सुधरा तो उसे कानपुर लाकर उम्र कैद की सजा दे दी गई और उसे एक पिंजड़े में चिड़िया घर के अस्पताल में कैद कर दिया गया है.

अय्याशी और अश्लीलता का भी है आरोप
कानपुर प्राणी उद्यान के डॉक्टर मो. नासिर बताते है कि कालिया को तांत्रिक ने शराब और मांस की भी लत लगा दी थी जिस वजह से वह और बिगड़ गया था और जौनपुर कई बार शराब के ठेकों से शराब खरीद रहे लोगों पर हमला कर शराब छीन कर पी ली थी. यही नही तांत्रिक की ट्रेनिग का असर इतना है कि आज भी कालिया अश्लील इशारे करना नही भूला है. डॉक्टर ने बताया कि वैसे कालिया को जंगल मे छोड़ने के लिए तैयारी कर ली गयी थी, लेकिन 5 साल सजा काटने के बाद भी कालिया की हरकतों में कोई सुधार न होने की वजह से उसे आजीवन कैद में रहना होगा. डॉक्टर का कहना है कालिया मानव जाति के लिए खतरनाक है इस वजह से इसे अब नहीं छोड़ा जा सकता.

इसे भी पढ़ें- दारूबाज बंदर! देखिए चखने के साथ कैसे लगाता है शराब के पैग [Video]

Last Updated : Nov 24, 2022, 4:04 PM IST
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