कानपुर में दो समुदाय के बीच हुए विवाद पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सरकार पर निशाना साधा है. अखिलेश यादव ने ट्विट करके भाजपा प्रवक्ता नुपुर शर्मा को गिरफ्तार करने की मांग की है.
कानपुर में हुई सांप्रदायिक हिंसा में चले पत्थर और पेट्रोल बम, अखिलेश यादव ने सरकार पर उठाए सवाल - Communal ruckus in Kanpur
18:57 June 03
कानपुर में भड़के दंगे पर अखिलेश यादव ने सरकार पर साधा निशाना
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महामहिम राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री के नगर में रहते हुए भी पुलिस और ख़ुफ़िया-तंत्र की विफलता से भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा दिए गए भड़काऊ बयान से, कानपुर में जो अशांति हुई है, उसके लिए भाजपा नेता को गिरफ़्तार किया जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।
">महामहिम राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री के नगर में रहते हुए भी पुलिस और ख़ुफ़िया-तंत्र की विफलता से भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा दिए गए भड़काऊ बयान से, कानपुर में जो अशांति हुई है, उसके लिए भाजपा नेता को गिरफ़्तार किया जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।महामहिम राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री के नगर में रहते हुए भी पुलिस और ख़ुफ़िया-तंत्र की विफलता से भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा दिए गए भड़काऊ बयान से, कानपुर में जो अशांति हुई है, उसके लिए भाजपा नेता को गिरफ़्तार किया जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।
15:53 June 03
कानपुर : महानगर में आज राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, पीएम मोदी सहित कई बड़े दिग्गज पहुंचे हैं. इसी बीच शहर के परेड इलाके में बड़ा बवाल हो गया. बवाल में दो समुदाय के लोगों में जमकर पत्थरबाजी हुई है. जिसके कारण पूरे शहर में हड़कंप मचा है.कानपुर के पुलिस कमिश्नर के मुताबिक 18 लोगों को हिरासत में लिया गया है.
मिली जानकारी के मुताबिक, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के सर्किट हाउस पहुंचने से पहले शहर में बवाल हुआ है. पुलिस अफसरों का कहना है कि भाजपा नेता के विवादित बयान की वजह से दो समुदायों में जमकर पत्थरबाजी हुई है. इस दौरान बम और गोलियां भी चलीं हैं. अचानक हुई इस घटना से पूरे शहर में तनातनी का महौल बिगड़ गया है. भारी बवाल के बाद दो समुदाय के बीच हुई लड़ाई-झगड़े के संदेश सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं.
घटना के बाद से नवीन मार्केट, परेड, यतीमखाना, मेस्टन रोड समेत आस-पास के क्षेत्रों की सभी दुकानों को बंद करा दिया गया है. एक ओर जहां बड़ी संख्या में हिंदू सड़क पर उतर आए, वहीं मुस्लिम पक्ष के सैंकड़ों लोग भी सड़कों पर नारेबाजी करते दिख रहे हैं.
गौरतलब है कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद शुक्रवार को अपने पैतृक गांव परौख जाने का कार्यक्रम था. इस मौके पर आज कानपुर महानगर में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ व राज्यपाल आनंदीबेन पटेल पहुंची थीं. इसी बीच शहर की परेड पर दो समुदाय के लोगों के बीच विवाद हो गया. विवाद बढ़ने पर जमकर पत्थरबाजी हुई.
बवाल के दौरान पेट्रोल बम और फायरिंग भी हुई. बवाल में अभी तक कुल 7 लोगों के घालय होने की सूचना है. बवाल में मुकेश बाथम, संजय शुक्ला, उत्तम गौड़, मंजीत यादव, राहुल त्रिवेदी, अमर बाथम व एक अन्य व्यक्ति घायल हुआ है. घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है. इस तनातनी के महौल के बीच घटना स्थल के आस-पास बड़ी संख्या में फोर्स तैनात की गई है. इस मामले में पुलिस ने 18 उपद्रवियों को हिरासत में लिया है.
गौरतलब है कि भाजपा नेता की टिप्पणी के बाद गुरुवार को ही मुस्लिम संगठन की ओर से कानपुर की अधिकांश बाजारों में पोस्टर चस्पा कर दिए गए थे, जिसमें लिखा था कि 'हमारे नबी की शान में गुस्ताखी करने वालों के खिलाफ बाजार बंद होंगे'. इन पोस्टर के लगे होने के बावजूद पुलिस के आलाधिकारी व अभिसूचना इकाई आज की घटना को नहीं रोक सकी. जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कानपुर दौरा था. इसी दौरान मुस्लिम समाज की ओर से जुमे की नमाज के बाद नई सड़क पर जम कर पत्थरबाजी की गई.
हयात जफर हाशमी की भूमिका अहम: पुलिस आयुक्त विजय सिंह मीना ने बताया कि घटना के पीछे एमएमए जौहर फैंस एसोसिएशन के प्रमुख हयात जफर हाशमी की भूमिका को अहम माना है. हालांकि, अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो सकी है. उन्होंने कहा, इस मामले में 18 उपद्रवियों को हिरासत में लिया गया है. अब वीडियो फुटेज के आधार पर अन्य को गिरफ्तार किया जाएगा.
दुकानें बंद कराने का हुआ विरोध, तो भड़की हिंसा: पुलिस व प्रशासन के अफसरों ने बताया कि कुछ दिनों पहले बीजेपी प्रवक्ता नुपुर शर्मा ने एक विवादित बयान दिया था. जिसको लेकर शुक्रवार को नई सड़क पर मुस्लिम पक्ष के दुकानदारों ने अपनी दुकानें बंद कर विरोध जताने का फैसला किया था. हालांकि, कुछ हिंदू दुकानदारों ने अपनी दुकानें खोल रखी थीं. इन दुकानों को बंद कराने के लिए हिंसा भड़क गई. वहीं, पास में ही यतीमखाना स्थित मस्जिद में जुमे की नमाज होने के चलते हिंसा में कई युवा शामिल हो गए.
इसे पढ़ें- राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद पहुंचे अपने गांव परौंख, पीएम मोदी और सीएम योगी भी हैं मौजूद
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कानपुर में भड़के दंगे पर अखिलेश यादव ने सरकार पर साधा निशाना
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महामहिम राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री के नगर में रहते हुए भी पुलिस और ख़ुफ़िया-तंत्र की विफलता से भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा दिए गए भड़काऊ बयान से, कानपुर में जो अशांति हुई है, उसके लिए भाजपा नेता को गिरफ़्तार किया जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data="
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।
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— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।महामहिम राष्ट्रपति जी, प्रधानमंत्री व मुख्यमंत्री के नगर में रहते हुए भी पुलिस और ख़ुफ़िया-तंत्र की विफलता से भाजपा प्रवक्ता नूपुर शर्मा द्वारा दिए गए भड़काऊ बयान से, कानपुर में जो अशांति हुई है, उसके लिए भाजपा नेता को गिरफ़्तार किया जाए।
— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) June 3, 2022
हमारी सभी से शांति बनाए रखने की अपील है।
कानपुर में दो समुदाय के बीच हुए विवाद पर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सरकार पर निशाना साधा है. अखिलेश यादव ने ट्विट करके भाजपा प्रवक्ता नुपुर शर्मा को गिरफ्तार करने की मांग की है.
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कानपुर : महानगर में आज राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, पीएम मोदी सहित कई बड़े दिग्गज पहुंचे हैं. इसी बीच शहर के परेड इलाके में बड़ा बवाल हो गया. बवाल में दो समुदाय के लोगों में जमकर पत्थरबाजी हुई है. जिसके कारण पूरे शहर में हड़कंप मचा है.कानपुर के पुलिस कमिश्नर के मुताबिक 18 लोगों को हिरासत में लिया गया है.
मिली जानकारी के मुताबिक, राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के सर्किट हाउस पहुंचने से पहले शहर में बवाल हुआ है. पुलिस अफसरों का कहना है कि भाजपा नेता के विवादित बयान की वजह से दो समुदायों में जमकर पत्थरबाजी हुई है. इस दौरान बम और गोलियां भी चलीं हैं. अचानक हुई इस घटना से पूरे शहर में तनातनी का महौल बिगड़ गया है. भारी बवाल के बाद दो समुदाय के बीच हुई लड़ाई-झगड़े के संदेश सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं.
घटना के बाद से नवीन मार्केट, परेड, यतीमखाना, मेस्टन रोड समेत आस-पास के क्षेत्रों की सभी दुकानों को बंद करा दिया गया है. एक ओर जहां बड़ी संख्या में हिंदू सड़क पर उतर आए, वहीं मुस्लिम पक्ष के सैंकड़ों लोग भी सड़कों पर नारेबाजी करते दिख रहे हैं.
गौरतलब है कि राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद शुक्रवार को अपने पैतृक गांव परौख जाने का कार्यक्रम था. इस मौके पर आज कानपुर महानगर में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ व राज्यपाल आनंदीबेन पटेल पहुंची थीं. इसी बीच शहर की परेड पर दो समुदाय के लोगों के बीच विवाद हो गया. विवाद बढ़ने पर जमकर पत्थरबाजी हुई.
बवाल के दौरान पेट्रोल बम और फायरिंग भी हुई. बवाल में अभी तक कुल 7 लोगों के घालय होने की सूचना है. बवाल में मुकेश बाथम, संजय शुक्ला, उत्तम गौड़, मंजीत यादव, राहुल त्रिवेदी, अमर बाथम व एक अन्य व्यक्ति घायल हुआ है. घायलों को इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है. इस तनातनी के महौल के बीच घटना स्थल के आस-पास बड़ी संख्या में फोर्स तैनात की गई है. इस मामले में पुलिस ने 18 उपद्रवियों को हिरासत में लिया है.
गौरतलब है कि भाजपा नेता की टिप्पणी के बाद गुरुवार को ही मुस्लिम संगठन की ओर से कानपुर की अधिकांश बाजारों में पोस्टर चस्पा कर दिए गए थे, जिसमें लिखा था कि 'हमारे नबी की शान में गुस्ताखी करने वालों के खिलाफ बाजार बंद होंगे'. इन पोस्टर के लगे होने के बावजूद पुलिस के आलाधिकारी व अभिसूचना इकाई आज की घटना को नहीं रोक सकी. जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद का कानपुर दौरा था. इसी दौरान मुस्लिम समाज की ओर से जुमे की नमाज के बाद नई सड़क पर जम कर पत्थरबाजी की गई.
हयात जफर हाशमी की भूमिका अहम: पुलिस आयुक्त विजय सिंह मीना ने बताया कि घटना के पीछे एमएमए जौहर फैंस एसोसिएशन के प्रमुख हयात जफर हाशमी की भूमिका को अहम माना है. हालांकि, अभी तक उसकी गिरफ्तारी नहीं हो सकी है. उन्होंने कहा, इस मामले में 18 उपद्रवियों को हिरासत में लिया गया है. अब वीडियो फुटेज के आधार पर अन्य को गिरफ्तार किया जाएगा.
दुकानें बंद कराने का हुआ विरोध, तो भड़की हिंसा: पुलिस व प्रशासन के अफसरों ने बताया कि कुछ दिनों पहले बीजेपी प्रवक्ता नुपुर शर्मा ने एक विवादित बयान दिया था. जिसको लेकर शुक्रवार को नई सड़क पर मुस्लिम पक्ष के दुकानदारों ने अपनी दुकानें बंद कर विरोध जताने का फैसला किया था. हालांकि, कुछ हिंदू दुकानदारों ने अपनी दुकानें खोल रखी थीं. इन दुकानों को बंद कराने के लिए हिंसा भड़क गई. वहीं, पास में ही यतीमखाना स्थित मस्जिद में जुमे की नमाज होने के चलते हिंसा में कई युवा शामिल हो गए.
इसे पढ़ें- राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद पहुंचे अपने गांव परौंख, पीएम मोदी और सीएम योगी भी हैं मौजूद