कन्नौजः जिले में 15 वर्षीय किशोरी को बहला फुसलाकर अपने साथ भगा ले जाने और जबरन शारीरिक संबंध बनाने के मामले में आरोप सिद्ध होने पर कोर्ट ने दोषी को सजा सुनाई है. कोर्ट ने युवक को 20 साल कारावास व 18 हजार रुपये का जुर्माना लगाया. जुर्माना अदा न करने पर छह माह का अतिरिक्त कारावास की सजा काटनी पड़ेगी. यह फैसला विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट की जज अलका यादव ने सुनाया. सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से आठ गवाह पेश किए गए. मामले की विवेचना एसआई राम सिंह ने की.
क्या है पूरा मामला?
जिला शासकीय अधिवक्ता बृजेश शुक्ला ने बताया कि छिबरामऊ कोतवाली क्षेत्र के एक गांव के रहने वाले पीड़ित पिता ने रिपोर्ट दर्ज कराई थी. आरोप लगाया था कि उसकी 15 वर्षीय पुत्री अपनी दादी के साथ जा रही थी, तभी गांव का ही रहने वाला बृजेश कुमार टेंपो में बैठकर आया और पुत्री को बहला फुसलाकर अपने साथ भगा ले गया. पुलिस ने रिपोर्ट दर्ज कर मामले की जांच पड़ताल की. पुलिस ने किशोरी को बरामद किया. पुलिस की पूछताछ में किशोरी ने युवक के खिलाफ बयान दिए. कहा कि बृजेश उसको बहला फुसलाकर अपने साथ ले गया. कन्नौज में एक कमरा किराए पर लेकर तीन से नौ नवंबर तक वहां रखा. इस दौरान उसने जबरन उसके साथ शारीरिक संबंध बनाए.
पुलिस ने पीड़िता का मेडिकल परीक्षण कराकर आरोप पत्र कोर्ट में दाखिल किए. मामले की विवेचना एसआई राम सिंह ने की. अभियोजन पक्ष की ओर से आठ गवाह पेश किए गए. साक्ष्यों व गवाहों के आधार पर सोमवार को विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट की जज अलका यादव ने दोषी बृजेश कुमार को 20 साल कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही 18 हजार रुपये का अर्थदंड लगाया. जुर्माना अदा न करने पर छह माह का अतिरिक्त कारावास की सजा सुनाई है. अधिवक्ता ने बताया कि कोर्ट ने धारा 363 में पांच वर्ष कारावास व तीन हजार रुपये, 366 में सात वर्ष कारावास व पांच हजार रुपये, 376(3) में बीस वर्ष कारावास व 10 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है. बताया कि सभी सजाएं एक साथ चलेगी.
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