एसएसपी शिवहरी मीना ने बताया कि पेपर लीक मामले में सफलता पाने वाली टीम को एडीजी कानपुर जोन द्वारा 50 हजार रुपये का नगद पुरस्कार देने की घोषणा की गई है. पुलिस लाइन सभागार में जिलाधिकारी रविन्द्र कुमार व एसएसपी शिवहरी मीना ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि पेपर लीक मामले में पकड़े गए छात्र अजय भास्कर ने पूछताछ में बताया कि उसे अजय निरंजन ने पेपर भेजा था, उसके बाद पेपर वायरल हो गया.
छात्र अजय भास्कर को यह पेपर राजदीप यादव ने भेजा था. राजदीप यादव श्रीराम महाविद्यालय बंगरा में बाबू के पद पर तैनात है. इस मामले में जांच टीम ने पाया कि जुगयाना कोतवाली निवासी राजदीप अकेला नहीं था, बल्कि प्रबंध समिति के सदस्य आजाद यादव हंसारी, अनूप यादव- शिक्षक मोंठ, भगवान दास- चपरासी बंगरा, केंद्र व्यवस्थापक/प्राचार्य संजीव श्रीवास्तव, अरविंद यादव- अध्यक्ष प्रबंध समिति भी शामिल थे.
आरोपी भेजे गए जेल
पेपर लीक मामले में गिरफ्तार किए गए आरोपियों को सीजीएम कोर्ट में पेश किया गया. कोर्ट ने पेशी के दौरान अधिवक्ताओं की बहस व तर्कों को सुना और अपराध की गंभीरता को देखते हुए जमानत स्वीकृत की. मजिस्ट्रेट ने इस मामले में आरोपी सभी छात्रों के भविष्य को देखते हुए चेतावनी दी. मजिस्ट्रेट ने कहा कि कोई भी भविष्य में अब ऐसा ना करे. अपराध की गंभीरता को देखते हुए कोर्ट ने छात्रों को छोड़कर अन्य को जेल भेज दिया.
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