झांसीः प्रेमनगर थाना क्षेत्र में 11 जून को हुई हत्या का पुलिस ने मंगलवार यानी 27 जून को खुलासा किया है. पुलिस ने महिला की हत्या करने वाले उसके भाई को गिरफ्तार कर लिया. आरोपी ने बहन के कई लोगों से अवैध संबंध होने पर घटना को अंजाम दिए जाने का इकबालिया जुर्म कबूल किया है.
क्या है पूरा मामला
प्रेमनगर थाना पुलिस को 11 जून की रात में पता चला था कि काठ के पुल के पास बनी रेलवे कॉलोनी में रहने वाली नीतू रायकवार (35) और उसकी 8 वर्षीय बेटी आराध्या पर अज्ञात द्वारा घर पर सोते समय हमला कर दिया गया. घायल मां और बेटी को मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया था, जहां इलाज के दौरान 15 जून की सुबह मां नीतू रायकवार ने दम तोड़ दिया था और 8 वर्षीय बेटी आराध्या कई दिनों तक बेहोश थी. इसके बाद में धीरे-धीरे उसकी हालत में सुधार आ गया था.
हत्यारे भाई ने रची झूठी साजिश
घटना होने के बाद हत्यारे भाई ने ही पुलिस को गुमराह करने के लिए झूठी स्क्रिप्ट तैयार की थी, लेकिन पुलिस ने उसकी स्क्रिप्ट के आधार पर जब कड़ाई से पूछताछ की तो उसने सबकुछ सच उगल दिया. भाई मनीष रायकवार ने पुलिस को तहरीर देते हुए बताया था कि उसकी बहन नीतू की शादी झांसी के बबीना में बड़े तालाब के पास सुनील रायकवार से हुई थी.
उसकी तीन बेटियां नाव्या (11), काव्या (6) और आराध्या (8) है. इसमें नाव्या और काव्या अपने दादा-दादी और पिताजी के साथ बबीना में रहती है. सिर्फ नीतू की बेटी आराध्या ही अपनी मां के साथ झांसी में रहती थी. नीतू घरों में झाड़ू-पोछे का काम करती है. नीतू के पति को टीवी की बीमारी हो जाने से वह सुरक्षा की दृष्टि से झांसी में सिफ्ट ही गई थी. नीतू अपने भाई मनीष रायकवार के घर के पास में रेलवे क्वार्टर में ही किराए पर रहती थी.
मनीष ने बताया कि रविवार सुबह 4 बजे जब वह टॉयलेट के लिए घर के बाहर निकला तो देखा की बहन के कमरे की लाइट जल रही थी. कूलर दरवाजे पर लगा होने के कारण दरवाजा खुला हुआ था. जब उसने बहन को आवाज लगाई तो कोई जवाब नहीं मिला और फिर जैसे ही वह कमरे में दाखिल हुआ तो दंग रह गया. पलंग के पैरों की तरफ औंधे मूंह लहुलुहान स्थिति में उसकी बहन जमीन पर पड़ी थी और उसकी भांजी भी खून से लथपथ बेहोश अवस्था में पलंग पर पड़ी हुई थी. उसके पास में एक भारी बल्ली खून से सनी पड़ी हुई थी. उसने बहन के घर में किसी अज्ञात व्यक्ति घुसने और हत्या की बात भी कही थी.
मोबाइल लोकेशन ने खोला राज
एसपी सिटी ज्ञानेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि इस घटना में घायल नीतू रायकवार की मौत हो जाने के बाद पुलिस ने अपनी जांच को और तेज गति दी. कई बाई सीओ सदर स्नेहा तिवारी ने इस मामले में मृतका नीतू के पड़ोस में रहने वाले और परिवार के अन्य सदस्यों से अलग-अलग बात की, जिस पर उनको परिवार वालों से जानकारी मिली कि घटना की रात नीतू का भाई मनीष रात 12 बजे से 5 बजे के बीच अपने घर पर मौजूद नहीं था.
पुलिस ने इन्ही पांच घंटों को अहम सबूत मानते हुए भाई मनीष को रडार पर लेते हुए उसकी मोबाइल की लोकेशन निकलवाई तो पुलिस हैरान रह गई, क्योंकि उस रात की लोकेशन कुछ देर की लोकेशन मृतिका के कमरे की पाई गई थी. फिर पुलिस ने बिना देर करे भाई मनीष से पूछताछ शुरू की. पहले तो मनीष पुरानी स्क्रिप्ट ही पढ़ता रहा. जब पुलिस ने अलग अंदाज में पूछा तो फिर उसने सच उगल दिया.
बहन के गलत चालचलन के चलते की हत्या
आरोपी मनीष ने बताया कि उसकी बहन के कई अलग-अलग लोगों से अवैध संबंध की खबरें उसको कानों तक पहुंचने लगी थी. कई बार दोस्तों के साथ बैठता था तो दोस्त बातों-बातों में छींटाकशी कर देते थे. वह अपनी बहन से कहता था कि वह अपने ससुराल चली जाए या कहीं और रूम ले ले. इसी को लेकर दोनों के बीच झगड़ा होता था, लेकिन वह अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रही थी. इसके बाद उसने उसकी हत्या कर दी.
ऐसे दिया घटना को अंजाम
मनीष रायकवार ने बताया कि 10 जून की रात प्लान के मुताबिक, उसने पहले घर पर शराब पी और खाना खाया. सोने का बहाना करते हुए लेट गया. लगभग 12 बजे चुपचाप से घर गायब हो गया और बाहर जाकर शराब पीने के बाद सुबह करीब 4 बजे वह अपनी बहन के कमरे में दाखिल हुआ, जहां उसकी बहन और भांजी सो रही थी. दरवाजे के पास में रखी भारी बल्ली उठाकर ताबड़तोड़ सिर पर मारना शुरू कर दिया. भांजी पर हमला करना नहीं चाहता था, पर भांजी मां से चिपककर सो रही थी. इसलिए वह भी घायल हो गई. घटना को अंजाम देने के बाद अपने घर गया और फिर चिल्लाकर सबको झूठी कहानी बता दी. पुलिस ने पकड़े गए आरोपी के खिलाफ संबंधित धाराओं के तहत कार्रवाई की और उसको न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उसको जेल भेज दिए गया.
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