जालौनः जिले में पिछले दो दिन से हो रही मूसलाधार बारिश के कारण तापमान में भारी गिरावट आ गई है, जिससे एक बार फिर लोगों को ठंड की मार झेलनी पड़ रही है. बारिश के कारण किसानों की रबी की फसल पर काफी बड़ा असर पड़ा है. इस बारिश से जहां गेहूं की फसल को फायदा पहुंचेगा. वहीं दलहनी फसल चना, मटर, मूंग की फसलों को काफी नुकसान होने की आशंका जताई जा रही है.
बारिश बनी किसानों के लिए मुसीबत
जालौन में पिछले 2 दिन से हो रही बारिश का सबसे ज्यादा असर किसानों पर देखने को मिल रहा है. दिसंबर महीने में भारी ओलावृष्टि और बारिश के कारण किसानों की फसल बर्बाद हो गई थी. इस बारिश की वजह से 33 गांव के किसानों की फसल पूरी तरह से बर्बाद हो गई.
जनवरी के प्रथम सप्ताह से ही शुरू हुई बारिश के कारण चना, मटर और मसूर की फसल बर्बादी की कगार पर आ गई है. किसानों की मानें तो यह बारिश उनके लिए नुकसान करने वाली है.
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सरसों में माहू का प्रकोप
कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक डॉ. अमित कनौजिया ने बताया कि यह बारिश किसानों के लिए फायदेमंद और नुकसान दोनों साबित हो सकती है. मौसम न खुल पाने के कारण सरसों में माहू का प्रकोप लग सकता है. इससे किसानों को सचेत होने की जरूरत है. वहीं यह बारिश आलू की खेती के लिए भी नुकसानदायक साबित हो सकती है.