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हाथरस: कंटेनमेंट जोन में रहने वाले नवजातों की देखभाल करेंगी आशा - डीसीपीएम धर्मेंद्र कुमार

यूपी के हाथरस में कंटेनमेंट जोन में रहने वाले नवजातों की देखभाल करेंगी आशा कार्यकत्री करेंगी. कंटेनमेंट जोन में रहने वाले नवजात शिशुओं का गृह आधारित नवजात देखभाल फॉलोअप आशा कार्यकर्ताओं द्वारा फोन के माध्यम से किया जाएगा.

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सीएमओ.
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Published : Jul 26, 2020, 12:33 PM IST

हाथरस: जनपद में कंटेनमेंट जोन में रहने वाले नवजात शिशुओं का गृह आधारित नवजात देखभाल फॉलोअप आशा कार्यकर्ताओं द्वारा फोन के माध्यम से किया जाएगा. यह जानकारी यूपी के हाथरस जिले के डीसीपीएम धर्मेंद्र कुमार ने दी. उन्होंने कहा कि यह निर्देश परिवार कल्याण महानिदेशक डॉ. मिथिलेश चतुर्वेदी ने सभी मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को पत्र भेज कर दिया है.

पत्र में कहा गया है कि फोन के माध्यम से फॉलोअप में आशा स्वयं कम वजन वाले बच्चों या समय से पूर्व जन्मे बच्चों और सिक न्यू बोर्न केयर यूनिट से डिस्चार्ज बच्चों या घरेलू प्रसव को प्राथमिकता दें. सभी नवजात शिशुओं के परिवारों को परामर्श दें. वह शिशुओं के स्वास्थ्य सुस्ती, गर्म और स्तनपान आदि के बारे में पूछेंगी. यदि प्रसव अस्पताल में हुआ है तो जन्म के समय बच्चे के वजन के बारे में भी पूछेंगी.

इस दौरान आशा मां और परिवार को प्रसव के बाद महिला और शिशु में होने वाले खतरे के लक्षणों के बारे में बताएंगी. आशा मां और परिवार को केवल स्तनपान, कपड़े में लपेटकर कंगारू मदर केयर के बारे में सलाह देंगी. नवजात में किसी तरह के खतरे के लक्षण दिखे तो वे आशा और ब्लॉक कम्युनिटी प्रोसेस मैनेजर (बीसीपीएम) को सूचित करें. 102 एंबुलेंस द्वारा आवश्यक सेवाएं दें.

नॉन कंटेनमेंट जोन में एचबीएनसी का गृह भ्रमण आशाओं द्वारा सामाजिक दूरी रखते हुए बिना स्पर्श किए हुए किया जाएगा. इस दौरान वे मां और शिशु को नहीं छुएंगी. डीसीपीएम धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि फॉलोअप आशा कार्यकर्ताओं द्वारा फोन के माध्यम से किया जाएगा.

हाथरस: जनपद में कंटेनमेंट जोन में रहने वाले नवजात शिशुओं का गृह आधारित नवजात देखभाल फॉलोअप आशा कार्यकर्ताओं द्वारा फोन के माध्यम से किया जाएगा. यह जानकारी यूपी के हाथरस जिले के डीसीपीएम धर्मेंद्र कुमार ने दी. उन्होंने कहा कि यह निर्देश परिवार कल्याण महानिदेशक डॉ. मिथिलेश चतुर्वेदी ने सभी मुख्य चिकित्सा अधिकारियों को पत्र भेज कर दिया है.

पत्र में कहा गया है कि फोन के माध्यम से फॉलोअप में आशा स्वयं कम वजन वाले बच्चों या समय से पूर्व जन्मे बच्चों और सिक न्यू बोर्न केयर यूनिट से डिस्चार्ज बच्चों या घरेलू प्रसव को प्राथमिकता दें. सभी नवजात शिशुओं के परिवारों को परामर्श दें. वह शिशुओं के स्वास्थ्य सुस्ती, गर्म और स्तनपान आदि के बारे में पूछेंगी. यदि प्रसव अस्पताल में हुआ है तो जन्म के समय बच्चे के वजन के बारे में भी पूछेंगी.

इस दौरान आशा मां और परिवार को प्रसव के बाद महिला और शिशु में होने वाले खतरे के लक्षणों के बारे में बताएंगी. आशा मां और परिवार को केवल स्तनपान, कपड़े में लपेटकर कंगारू मदर केयर के बारे में सलाह देंगी. नवजात में किसी तरह के खतरे के लक्षण दिखे तो वे आशा और ब्लॉक कम्युनिटी प्रोसेस मैनेजर (बीसीपीएम) को सूचित करें. 102 एंबुलेंस द्वारा आवश्यक सेवाएं दें.

नॉन कंटेनमेंट जोन में एचबीएनसी का गृह भ्रमण आशाओं द्वारा सामाजिक दूरी रखते हुए बिना स्पर्श किए हुए किया जाएगा. इस दौरान वे मां और शिशु को नहीं छुएंगी. डीसीपीएम धर्मेंद्र कुमार ने बताया कि फॉलोअप आशा कार्यकर्ताओं द्वारा फोन के माध्यम से किया जाएगा.

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