हरदोई: वैश्विक महामारी कोरोना के चलते देश में 17 मई तक लॉकडाउन लागू किया गया है. इससे देश के अलग-अलग हिस्सों में फंसे लोगों को बड़ी परेशानियां उठानी पड़ रही हैं. ये मजदूर घर तो जाना चाहते हैं, लेकिन साधन न मिलने से नहीं जा पा रहे हैं. मुसीबत से परेशान कई लोग पैदल या साइकिल से घर पहुंचने की कवायद शुरू कर दी है.
9 दिनों में 1600 किलोमीटर
पंजाब से हरदोई पहुंचे मजदूर ने बताया कि उसने 16 किलोमीटर की दूरी साइकिल से तय की है. अभी उसे घर पहुंचने के लिए 200 से 300 किलोमीटर की दूरी और तय करनी है. मजदूर अजय कुमार ने बताया कि वो पंजाब के अमृतसर में एक फैक्ट्री में डाई बनाने का काम करता था. कोरोना के बढ़ते प्रकोप के बाद जारी लॉकडाउन में वो वहीं फंस गया. धीरे-धीरे उसकी आर्थिक स्थिति खराब होने लगी. उसके पास कमाई का ना ही कोई जरिया था और ना ही कोई साधन. घर जाना ही एकमात्र विकल्प बचा था. इस दौरान अजय ने साइकिल से घर जाने की ठानी और 9 दिनों के संघर्ष के बाद 1600 किलोमीटर पार करते हरदोई पहुंचा.
यूपी पुलिस ने की मदद
पंजाब से चले मजदूर अजय की हालत 9 दिनों में खस्ताहाल हो गई. हरदोई जिले के नुमाइश चौराहे पर पुलिस बूथ के पास आकर अजय रूक गया और धराशाई हो गया. चौकी पर तैनात पुलिसकर्मियों ने अजय के खाने-पीने और रहने की व्यवस्था की. मजदूरों ने बताया कि उन्हें अभी 300 किलोमीटर दूर तय कर अंबेडकर नगर पहुंचना है. मुसीबत से परेशान मजदूर का सैकड़ों मील का सफर साइकिल से तय करना अपने आप में चौकाने वाला कदम है.
मजबूर होकर साइकिल से चल पड़ा गांव
मजदूर अजय ने बताया कि वह पंजाब के अमृतसर की एक फैक्ट्री में डाई बनाने का काम करता था. कोरोना के बढ़ते प्रकोप से जारी लॉकडाउन के कारण वह वहीं फंस गया. पंजाब सरकार से मदद की आस लगाए अजय को जब कोई रास्ता नहीं दिखा तो उसने साइकिल से ही घर पहुंचने की ठान ली. अजय ने बताया कि हरदोई पहुंचने तक कई लोगों ने उसकी मदद की, जिसका उपकार वह कभी नहीं भुलेगा.
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