फिरोजाबाद: पीएम किसान सम्मान निधि (PM Kisan Samman Nidhi) के कागजातों के सत्यापन के दौरान चौंकाने वाला मामला सामने आया. यहां 16 हजार किसान ऐसे चिन्हित हुए हैं, जो पात्रता की श्रेणी में आते ही नहीं है. यह किसान या तो मर चुके है या फिर उनके पास जमीन ही नहीं है. दूसरे प्रदेशों में मजदूरी करते है. बावजूद इसके उन्होंने इस योजना की 12 किस्तों का लाभ ले लिया है. सत्यापन में फर्जीवाड़ा उजागर होने के बाद विभाग इनकी 13वीं किस्त रोकने की कार्यवाही कर रहा है. अपात्रों से वसूली भी होगी.
दरअसल, किसानों को प्रोत्साहित करने के मकसक से भारत सरकार किसान सम्मान निधि योजना चला रही है. इस योजना के तहत सरकार पात्र किसानों को छह हजार रुपये प्रति साल के हिसाब से धनराशि किसानों के खाते में ट्रांसफर करती है. हर चार महीने बाद दो हजार की किस्त किसानों के खाते में ट्रांसफर की जाती है. फिरोजाबद में दो लाख 43 हजार 673 किसान पीएम सम्मान निधि पा रहे है. इन दिनों किसानों के सत्यापन का काम चल रहा है. राजस्व विभाग के कर्मचारियों को किसानों के खसरा खतौनी को सत्यापित कर रहे है. लेकिन इस दौरान चौंकाने वाले खुलासे हुए है.
फिरोजाबद में 16 हजार किसान ऐसे आइडेंटिफाई हुए है, जो बेसिक किसान ही नहीं है. यानी कि वह अपात्र है. कृषि विभाग के आंकड़ों के मुताबिक दो लाख 43 हजार 673 किसानों में से दो लाख सात हजार 828 किसानों का सत्यापन किया जा चुका है. जबकि 12 हजार 457 किसानों का सत्यापन अभी बाकी है. इतने किसानों के सत्यापन के दौरान 16 हजार किसान ऐसे मिले है, जो योजना के पात्र नहीं है. नौ हजार से ज्यादा किसानों की तो मौत हो चुकी है. बाबजूद इसके सम्मान निधि उनके खाते में जा रही है.
वहीं, बड़ी तदायत में किसान ऐसे है, जिनके पास खेत ही नहीं है. बाबजूद इसके वह पीएम सम्मान निधि का लाभ ले रहे है. कुछ किसान तो प्रदेश से बाहर रहते है. इस संबंध में उप निदेशक एचएन सिंह का कहना है कि जो किसान योजना के पात्र नहीं है. उनके खाते में किस्त जा रही है. उनकी 13वीं किस्त रोकी जा रही है. साथ ही उनसे वसूलने की कार्रवाई की जाएगी.
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