ETV Bharat / state

सुमंगला योजना के तहत घर के आंगन में बिटिया संग खिलेगें पेड़ - plant protection news

उत्तर प्रदेश के फर्रुखाबाद जिले में डीएम ने एक सराहनीय पहल की शुरुआत की है. इस पहल के तहत लोगों के आंगन या घर के बाहर सहजन, आम या जामुन के पेड़ लगाए जाएंगे. इन पौधों को बेटियों के नाम भी दिए जाएंगे.

बेटियों के नाम पर लगाए जाएंगे पौधे.
author img

By

Published : Aug 7, 2019, 7:54 AM IST

फर्रुखाबाद: अब बेटी के नाम पर घर के आंगन या बाहर लगे पेड़ से परिवार का एक अटूट रिश्ता जुड़ेगा. बेटियों और पौधों के संरक्षण की पुरानी परंपरा को संजीवनी देने के लिए जिलाधिकारी मोनिकारानी ने नई पहल की है. जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है. परिवार बेटियों के नाम के इन पौधों को देखभाल करेंगे.

बेटियों के नाम पर लगाए जाएंगे पौधे.

डीएम ने शुरू की सराहनीय पहल

  • शासन ने 'बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ' के नारे के साथ सुमंगला योजना की शुरुआत की.
  • परिवार की एक मात्र कन्या संतान के लिए के लिए सुमंगला योजना शुरू की गई.
  • सुमंगला योजना में जिला प्रशासन ने पर्यावरण संरक्षण का नया आयाम जोड़ा है.
  • डीएम के अनुसार एक बेटी या सिर्फ दो बेटी वाले परिवारों को चिन्हित कराया जा रहा है.
  • लोगों के आंगन या घर के बाहर सहजन, आम या जामुन के पेड़ लगाए जाएंगे.
  • घर में लगाए गए पौधे का नाम बेटी के नाम पर रखा जाएगा.
  • जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है.
  • चिन्हित घरों पर पौधरोपण के लिए गड्ढे खोदने का काम तेजी से चल रहा है.

फर्रुखाबाद: अब बेटी के नाम पर घर के आंगन या बाहर लगे पेड़ से परिवार का एक अटूट रिश्ता जुड़ेगा. बेटियों और पौधों के संरक्षण की पुरानी परंपरा को संजीवनी देने के लिए जिलाधिकारी मोनिकारानी ने नई पहल की है. जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है. परिवार बेटियों के नाम के इन पौधों को देखभाल करेंगे.

बेटियों के नाम पर लगाए जाएंगे पौधे.

डीएम ने शुरू की सराहनीय पहल

  • शासन ने 'बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ' के नारे के साथ सुमंगला योजना की शुरुआत की.
  • परिवार की एक मात्र कन्या संतान के लिए के लिए सुमंगला योजना शुरू की गई.
  • सुमंगला योजना में जिला प्रशासन ने पर्यावरण संरक्षण का नया आयाम जोड़ा है.
  • डीएम के अनुसार एक बेटी या सिर्फ दो बेटी वाले परिवारों को चिन्हित कराया जा रहा है.
  • लोगों के आंगन या घर के बाहर सहजन, आम या जामुन के पेड़ लगाए जाएंगे.
  • घर में लगाए गए पौधे का नाम बेटी के नाम पर रखा जाएगा.
  • जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है.
  • चिन्हित घरों पर पौधरोपण के लिए गड्ढे खोदने का काम तेजी से चल रहा है.
Intro:एंकर- फर्रुखाबाद में अब बेटी के नाम पर घर के आंगन या बाहर लगे पेड़ से परिवार का एक अटूट रिश्ता जुड़ेगा. बेटियों और पौधों के संरक्षण की पुरानी परंपरा को संजीवनी देने के लिए जिलाधिकारी मोनिकारानी ने नई पहल की है. जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है. परिवार बेटियों के नाम के इन पौधों को देखभाल करेंगे.





Body:विओ- शासन की ओर से बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के नारे के साथ परिवार की एकमात्र कन्या संतान (एकल बेटियों) के लिए शुरू की गई सुमंगला योजना में जिला प्रशासन ने पर्यावरण संरक्षण का यह नया आयाम जोड़ा है. डीएम मोनिका रानी के अनुसार एक बेटी या सिर्फ दो बेटी वाले परिवार को चिन्हित कराया जा रहा है. इन लोगों के आंगन या घर के बाहर सहजन, आम या जामुन के पेड़ लगाए जाएंगे और उस पौधे का नाम बेटी के नाम पर रखा जाएगा. अभी जनपद में 22,174 बेटियों वाले 12,000 परिवारों को चिन्हित किया गया है. इसके अलावा चिन्हित घरों पर पौधरोपण के लिए गड्ढे खोदने व अन्य रूपरेखा बनाने का काम तेजी से चल रहा है. इसमें खास बात यह है कि बेटी की विदाई के बाद भी उसकी याद ठंडी छांव और मीठे फलों के तौर पर बनी रहेगी. बताते चलें कि पुराणों के अनुसार, शिव के विवाह पर आम के वृक्ष को स्वर्ग की वाटिका से पृथ्वी पर नारद जी लेकर आए थे. आम के वृक्ष के नीचे भगवान शिव और माता पार्वती का विवाह हुआ था. इसलिए सभी मांगलिक कार्यों में आम की पत्तियों का उपयोग बंदनवार बांधने और कलश स्थापना में किया जाता है. आम की सूखी लकड़ी हवन और यज्ञ में उपयोग होती है. वहीं सहजन एक बहुउपयोगी पेड़ है.इसके विभिन्न भाग अन्य पोषक तत्वों से भरपूर तो होते ही हैं साथ में इसकी पत्तियां और फली की सब्जी भी बनती है.


Conclusion:इसका उपयोग जल स्वच्छ करने तथा हाथों की सफाई में भी किया जाता है.

बाइट- मोनिकारानी, जिलाधिकारी
ETV Bharat Logo

Copyright © 2025 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.