एटा: जिले में सियासी पारा लगातार चढ़ता जा रहा है. सपा के कद्दावर नेता एवं पूर्व विधायक रामेश्वर सिंह यादव, उनके छोटे भाई जुगेंद्र सिंह यादव पर एक सप्ताह के अंदर 20 जून की रात में जमीन पर कब्जे को लेकर चौथा मुकदमा लिखा गया है. पहला और दूसरा मुकदमा कोतवाली नगर, तीसरा मुकदमा कोतवाली देहात और चौथा मुकदमा जैथरा थाने दर्ज हुआ है. मामला जिले के जैथरा थाना क्षेत्र के गांगूपुरा का है.
गांगूपुरा के रहने वाले संटू ने जैथरा कोतवाली में तहरीर देकर बताया कि मेरी कृषि भूमि गांगूपुरा में है. इसमें मेरे साथ ओमपाल, संटू, अंकुर भी सह खातेदार हैं. मेरी कृषि भूमि सपा सरकार में भू-माफिया जुगेंद्र सिंह यादव व उनके भाई रामेश्वर सिंह यादव, राहुल उर्फ नीलू, दिनेश कुमार उर्फ गांधी और धर्मेंद्र ने एक बैनामा साढ़े 5 विस्वा का 21 जुलाई 2014 को कराकर शेष बचे हुए मेरे हिस्से पर कब्जा कर लिया. मेरे विरोध करने पर सभी लोगों ने लाठी-डंडे और असलहा लेकर मारपीट की. जान से मारने की धमकी देकर भगा दिया. हमने थाने में कई बार शिकायत की, लेकिन पूर्व सरकार के दवाब में आकर अधिकारियों ने कोई कार्रवाई नहीं की. अब हमें हमारा कब्जा वापस दिलाया जाए.
इस मामले में पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष जुगेंद्र सिंह यादव का कहना है कि यह सब मुकदमे फर्जी लिखाए जा रहे हैं. सत्ता पक्ष जिला पंचायत चुनाव को लेकर हमारे ऊपर दबाव बनाने के लिए यह मुकदमे लोगों से लिखवा रहा है. यह मुकदमा जो लिखा गया है, पूरी तरह से फर्जी है. जिस व्यक्ति ने मुकदमा लिखवाया है, उसकी जमीन पर मेरा कोई कब्जा नहीं है, यह सब बीजेपी की चाल है.
जैथरा के थानाध्यक्ष सुधीर कुमार सिंह ने बताया कि यह पूरा मामला धुमरी के पास बनी दुकानों का है, जहां प्रार्थी ने अपने हिस्से का प्रमाणपत्र लगाते हुए थाने में तहरीर दी थी. इसके आधार पर प्रार्थी को धमकाने की धाराओं में आरोपियों पर मुकदमा दर्ज किया गया है. यह मामला पुराना प्रतीत होता है, जांच की जा रही है.
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