बिजनौर: भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत शुक्रवार को एक निजी फार्म हाउस में बिजनौर पहुंचे. इस दौरान राकेश टिकैत ने किसानों के साथ मुलाकात करते हुए उनका हालचाल जाना. मीडिया से मुखातिब होते हुए राकेश टिकैत ने सरकार को आड़े हाथों लिया. उन्होंने कहा कि पूरे देश में हालात खराब हो रहे हैं. फसलों के दाम सरकार जानबूझकर घटाने पर तुली हुई है. पूंजीपतियों पर सरकार मेहरबान है.
बिजनौर के नगीना रोड पर पहुंचे भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कार्यकर्ताओं से मुलाकात करने के बाद मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि हर कोई परेशान है. चाहे वह वनों में रहने वाला वन गुज्जर ही क्यों ना हो. सरकार दो चीजों पर काम कर रही है. पहली कैसे किसानों की जमीन छीनी जाए और दूसरी किसानों को फसलों के दाम न मिले. इसके लिए एक बड़ी साजिश रची जा रही है. सरकार बड़े उद्योगपतियों से मिली हुई है. टिकैत ने कहा कि 'हमने सरकार से कई बार कहा कि हमें एमएसपी गारंटी कानून चाहिए, जब ही उसका लाभ मिलेगा. जमीन के रेट बढ़ रहे हैं, लेकिन फसलों के दाम नहीं बढ़ रहे हैं. बिजली प्राइवेट होते ही बहुत महंगी होगी, चाहे वह घरेलू हो या फिर किसान की बिजली ही क्यों ना हो.'
राकेश टिकैत ने कहा कि यूपी सरकार भले ही गन्ने के पेमेंट को लेकर किसानों से तरह-तरह के वादे कर रही है. लेकिन, आज भी गन्ने का पेमेंट समय से नहीं हो रहा है. गन्ने का पेमेंट समय से नहीं होने के कारण किसान बहुत परेशान है. इस कारण से किसान अपने बच्चों का ठीक से पालन पोषण भी नहीं कर पा रहा है. जब भी किसान गन्ने के पेमेंट को लेकर विरोध प्रदर्शन करता है तो उल्टा उसके खिलाफ की प्रशासन द्वारा मुकदमा लिखा जाता है. जबकि मिल मालिकों के द्वारा किसानों के गन्ने का पेमेंट समय से ना दिए जाने के खिलाफ इस सरकार में कोई कार्रवाई भी नहीं हो रही है.
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