बस्ती: जिले के रजिस्ट्री विभाग में अगर आप जमीन बेचने या लिखवाने के लिए आ रहे हैं तो सावधान हो जाइए, क्योंकि इस कार्यालय में कोई भी आकर आपकी जमीन बेच देगा और रजिस्ट्री विभाग के जिम्मेदार फ्रॉड गैंग का पूरा समर्थन करते नजर आएंगे. ऐसा ही एक हैरतअंगेज मामला सामने आया है. जिसमें जमीन का सौदा उस व्यक्ति ने कर दिया जिसका वो मालिक ही नहीं है. मतलब फ्रॉड गैंग ने किसी और की जमीन को अपना बताया और उसके फर्जी दस्तावेज तैयार किए. फिर रजिस्ट्री विभाग के अफसरों से मिलकर जमीन का बैनामा कर दिया गया. फिलहाल इस मामले में पीड़ित की शिकायत पर नगर थाने में रजिस्ट्री विभाग के उप रजिस्ट्रार सहित 4 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है.
जानें पूरा मामला
इस मामले की शुरुवात 1 मार्च को हुई जब राधा नाम की एक महिला प्रॉपर्टी डीलर से मिलकर सोनमती की जमीन बेचने के लिए रजिस्ट्री दफ्तर पहुंची. राधा ने फर्जी तरीके से आधार कार्ड, चेक बुक और पैन कार्ड तैयार करवाया. जिसमे नाम तो सोनमति का था मगर फोटो राधा की लगी थी और इसी आधार पर कोतवाली थाना क्षेत्र के खोराखार गांव में एनएच 28 के किनारे की बेश्कीमती जमीन को अपना बताकर बैनामा कर दिया. जिस पार्टी ने जमीन लिखवाई अब उसने दावा किया कि जब रजिस्ट्री हुई तो उसके दूसरे दिन उन्हें खुद के साथ हुए फ्रॉड की जानकारी मिली. जिसके बाद जमीन बैनामा करवाने वाले सूर्यमणि सिंह ने डायल 100 को बुलाकर फ्रॉड गैंग की राधा और उसके पति को गिरफ्तार करवाया. मगर पुलिस ने इस मामले में बिना कानूनी कार्रवाई किए ही मामले को रफा दफा कर दिया. जिसके बाद अब जमीन की असली मालिक सोनमती ने पुलिस से शिकायत दर्ज कराई कि उसकी जमीन का किसी और महिला ने बैनामा कर दिया. इसके बाद पुलिस ने बस्ती रजिस्ट्री विभाग के सब रजिस्ट्रार अन्नपूर्णा सिंह सहित 4 प्रॉपर्टी डीलरों सूर्यमणि, चंद्रमणि, राधा और मानवेंद्र पर फ्रॉड का केस दर्ज किया है.
इस मामले को लेकर रजिस्ट्री विभाग के रजिस्ट्रार नवीन कुमार सिंह और इस केस में आरोपी बनाई गईं सब रजिस्ट्रार अन्नपूर्णा सिंह ने सफाई देते हुए कहा कि उनका काम रजिस्ट्री करना है. कोई भी किसी की भी जमीन बेच रहा हो इससे कोई मतलब नहीं है. उन्होंने कहा कि खतौनी जिसके नाम से होगी और उसका प्रमाण उनके पास रहेगा तो रजिस्ट्री करने का उन्हें अधिकार है.
एसपी आशीष श्रीवास्तव ने इस मामले को लेकर बताया कि शिकायत के आधार पर मुकदमा दर्ज किया गया है, आगे विवेचना में जो भी तथ्य सामने आयेंगे उस आधार पर आगे की कार्रवाई होगी. जमीन लिखवाने वाली दोनों पार्टी की भूमिका की भी जांच होगी.