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राज्य महिला आयोग की सदस्य ने महिलाओं का दर्द सुना - बाराबंकी राज्य महिला आयोग

बाराबंकी में राज्य महिला आयोग की सदस्य कुमुद श्रीवास्तव गुरुवार को जनसुनवाई करने पहुंच गई. इस दौरान कई महिलाओं ने उन्हें अपनी पीड़ा बताई. जनसुनवाई के दौरान उन्होंने पुलिस विभाग को पीड़ितों को इंसाफ दिलाने के निर्देश दिए.

मामलों की जनसुनवाई
मामलों की जनसुनवाई
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Published : Feb 4, 2021, 5:32 PM IST

बाराबंकी: राज्य महिला आयोग की सदस्य कुमुद श्रीवास्तव को लंबे समय बाद अपने बीच पाकर महिलाओं का दर्द सामने आ गया. इन महिलाओं ने अपने उत्पीड़न की जानकारी दी. गुरुवार को राज्य महिला आयोग की सदस्य पीड़ित मामलों की जनसुनवाई करने आई थीं. इस दौरान कई पीड़ित महिलाओं ने उनसे इंसाफ की मांग की. ज्यादातर महिलाएं ससुराल में घरेलू हिंसा की शिकार थीं.

पीड़ित महिलाओं ने बताया दर्द

कोरोना काल के चलते करीब एक साल बाद बुधवार को बाराबंकी में पीड़ित महिलाओं की समस्याओं के निस्तारण के लिए जनसुनवाई का आयोजन किया गया. राज्य महिला आयोग की सदस्य कुमुद श्रीवास्तव ने महिलाओं की फरियाद सुनी. इस दौरान 12 महिलाओं ने अपनी शिकायतें बताईं. इनमें से 11 मामले पुलिस को निस्तारण के लिए दे दिए गए. एक मामले की सुनवाई आयोग करेगा.

ज्यादातर मामले ससुराल में घरेलू उत्पीड़न के

कोतवाली नगर की रहने वाली एक पीड़िता ने बताया कि 6 वर्ष पूर्व उसकी शादी सीतापुर के बबलू से हुई थी. साल भर पहले उसके पति की मौत हो गई. तब से उसके सास, ससुर और देवर उसे परेशान करते हैं. उसे घर से निकाल दिया है. इसके बाद से वह अपने मायके में रह रही है. उसने इंसाफ दिलाने की गुहार लगाई है. अन्य महिलाओं ने भी ससुराल में हो रहे उत्पीड़न की व्यथा सुनाई.

सम्बंधित अधिकारियों को दिए निर्देश

सुनवाई के दौरान कुमुद श्रीवास्तव ने पुलिस विभाग, प्रोबेशन विभाग, महिला कल्याण, समाज कल्याण, बाल विकास और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि जनपद में उत्पीड़न की शिकार महिलाओं को त्वरित न्याय दिलाने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएं. महिलाओं पर हो रहे उत्पीड़न को रोकने के लिए प्रत्येक संबंधित अधिकारी सभी प्रकरणों को गंभीरता पूर्वक सुने और समय नष्ट किए बिना कार्रवाई करें. उन्होंने चेतावनी भी कि अधिकारियों के लापरवाही बरतने पर उन्हें बख्शा नहीं जाएगा.

बाराबंकी: राज्य महिला आयोग की सदस्य कुमुद श्रीवास्तव को लंबे समय बाद अपने बीच पाकर महिलाओं का दर्द सामने आ गया. इन महिलाओं ने अपने उत्पीड़न की जानकारी दी. गुरुवार को राज्य महिला आयोग की सदस्य पीड़ित मामलों की जनसुनवाई करने आई थीं. इस दौरान कई पीड़ित महिलाओं ने उनसे इंसाफ की मांग की. ज्यादातर महिलाएं ससुराल में घरेलू हिंसा की शिकार थीं.

पीड़ित महिलाओं ने बताया दर्द

कोरोना काल के चलते करीब एक साल बाद बुधवार को बाराबंकी में पीड़ित महिलाओं की समस्याओं के निस्तारण के लिए जनसुनवाई का आयोजन किया गया. राज्य महिला आयोग की सदस्य कुमुद श्रीवास्तव ने महिलाओं की फरियाद सुनी. इस दौरान 12 महिलाओं ने अपनी शिकायतें बताईं. इनमें से 11 मामले पुलिस को निस्तारण के लिए दे दिए गए. एक मामले की सुनवाई आयोग करेगा.

ज्यादातर मामले ससुराल में घरेलू उत्पीड़न के

कोतवाली नगर की रहने वाली एक पीड़िता ने बताया कि 6 वर्ष पूर्व उसकी शादी सीतापुर के बबलू से हुई थी. साल भर पहले उसके पति की मौत हो गई. तब से उसके सास, ससुर और देवर उसे परेशान करते हैं. उसे घर से निकाल दिया है. इसके बाद से वह अपने मायके में रह रही है. उसने इंसाफ दिलाने की गुहार लगाई है. अन्य महिलाओं ने भी ससुराल में हो रहे उत्पीड़न की व्यथा सुनाई.

सम्बंधित अधिकारियों को दिए निर्देश

सुनवाई के दौरान कुमुद श्रीवास्तव ने पुलिस विभाग, प्रोबेशन विभाग, महिला कल्याण, समाज कल्याण, बाल विकास और स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए. उन्होंने कहा कि जनपद में उत्पीड़न की शिकार महिलाओं को त्वरित न्याय दिलाने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएं. महिलाओं पर हो रहे उत्पीड़न को रोकने के लिए प्रत्येक संबंधित अधिकारी सभी प्रकरणों को गंभीरता पूर्वक सुने और समय नष्ट किए बिना कार्रवाई करें. उन्होंने चेतावनी भी कि अधिकारियों के लापरवाही बरतने पर उन्हें बख्शा नहीं जाएगा.

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