बाराबंकीः पहले युवक की हत्या की और फिर दुर्घटना का रूप देने के लिए आरोपियों ने अंधविश्वास का सहारा लिया और शव को ऐसी जगह डाल दिया, जिस स्थान को लेकर इलाके में चर्चा थी कि वहां जाने पर सांप डस लेगा. यही नहीं, शातिर हत्यारोपियों ने युवक के पैर में सांप के काटने का निशान तक बना दिया, लेकिन सर्विलांस और डिजिटल डेटा के आधार पर पुलिस ने इस हत्या का राजफाश कर दिया. ऑनर किलिंग का ये सनसनीखेज मामला हैदरगढ़ कोतवाली क्षेत्र का है. पुलिस ने इस मामले में ग्राम प्रधान उसके भाई, ड्राइवर और घर के नौकर को गिरफ्तार किया है.
बताया जा रहा है कि हैदरगढ़ कोतवाली के ग्राम पूरे सूबेदार मजरे रौनी का रहने वाला रामू त्रिवेदी अपने ननिहाल में रहता था. बीते 14 सितम्बर को गांव के किनारे एक खेत में उसका शव पाया गया. जानकारी पर पहुंचे उसके भाई श्यामू और उसकी मां शव को लेकर मामा अवधेश मिश्रा के घर ले आए. इसी बीच ग्राम प्रधान विजेंदर शुक्ला आ गए और शव का जल्दी से जल्दी बहलीमपुर में ही अंतिम संस्कार करने पर जोर देने लगे, लेकिन परिजन शव को अपने मूल गांव रौनी ले आये.
दाह संस्कार के लिए जब शव को नहलाना शुरू किया तो लोग चौंक गए, क्योंकि गले पर काला मोटा निशान बना हुआ था. भाई श्यामू त्रिवेदी ने हत्या किए जाने का शक जाहिर करते हुए पुलिस को सूचना दी. पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव का पंचनामा भरकर उसका पोस्टमार्टम कराया. पोस्टमार्टम में रस्सी से गला कसकर मौत होने की बात निकली, जिसके आधार पर पुलिस ने हत्या का मुकदमा दर्ज कर लिया.
इसके बाद पुलिस ने सर्विलांस के आधार पर बहलीमपुर के ग्राम प्रधान विजेंदर शुक्ला, उसके भाई राघवेन्द्र शुक्ला, प्रधान का ड्राइवर विनीत शुक्ला और प्रधान के घरेलू काम करने वाले राजकुमार शुक्ला को गिरफ्तार कर लिया. इनके पास से हत्या में प्रयुक्त रस्सी, मृतक का मोबाइल और उसके आधार और मतदाता कार्ड बरामद किए गए.
ये थी हत्या की वजह
गिरफ्तार लोगों ने पुलिस को बताया कि युवक का ग्राम प्रधान के घर किसी महिला से अवैध संबंध था, जिससे उनकी बदनामी हो रही थी. इसी के चलते उन लोगों ने प्लान के तहत हत्या कर दी और सांप वाले स्थान पर शव को फेंक दिया.
अंधविश्वास का लिया सहारा
दरअसल, वर्ष 2019 में गांव से लगभग 800 मीटर दूर स्थित एक खेत में धान की कटाई के समय मशीन से एक नाग दो हिस्सों में कट गया था. लोगों के मुताबिक, दो हिस्सों में कटने के बाद भी नाग दो दिनों तक जिंदा रहा था और शरीर उछल रहा था. इसको लेकर ग्रामीण खासे भयभीत हो गए थे. लोगों की मान्यता थी कि इन दो दिनों में जिसने भी इस नाग को देखा है, नागिन उसे मार देगी. उसके बाद उसी स्थान पर कई दिनों तक एक नागिन को भी देखा गया, जिसके चलते डर के कारण लोग उस स्थान पर नहीं जाते थे. इन लोगों ने इसी का फायदा उठाया और शव को नाग वाले स्थान पर ले जाकर डाल दिया और पैर में सांप काटने का निशान भी बना दिया.