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बाराबंकी में मत्स्य जीवी सहकारी समिति के उपाध्यक्ष की अपहरण के बाद हत्या, 20 दिन बाद नहर में मिला शव - बाराबंकी में हत्या

मत्स्य जीवी सहकारी समिति पर कब्जा करने के लिए समिति के सदस्यों ने उपाध्यक्ष को रास्ते से हटाने की योजना बनाई. अपहरण करके उपाध्यक्ष की हत्या कर दी, फिर उसके शव को नहर में फेंक दिया.

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Published : Jan 30, 2023, 10:49 PM IST

बाराबंकी: यूपी के बाराबंकी में मत्स्य जीवी सहकारी समिति के उपाध्यक्ष का करीब 20 दिन पहले अपहरण कर लिया गया था. युवक की पत्नी की शिकायत पर पुलिस ने अपहरण का मुकदमा दर्ज करके पड़ताल शुरू की थी. काफी छानबीन के बाद गायब युवक का शव 20 दिन बाद लखनऊ के बीबीडी थाना क्षेत्र की एक नहर में पाया गया. पुलिस ने इस मामले के तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया तो हत्या का राज खुला. गिरफ्तार आरोपियों की निशानदेही पर युवक का आधारकार्ड और पासबुक बरामद की गई है.

मत्स्य जीवी सहकारी समिति के उपाध्यक्ष लवकुश कश्यप की पत्नी किरन के अनुसार उसके पति 05 जनवरी को बाइक से निकले थे लेकिन उसके बाद वापस नहीं आए. बीती 09 जनवरी को थाने में पहुंचकर अपहरण की आशंका जताई तो पुलिस ने गुमशुदगी दर्ज करके उसकी तलाश शुरू की. पत्नी ने आशंका जताई थी कि उसके साथ रहने वाले तीन लोग उसकी हत्या कर सकते हैं. पुलिस ने तीनों आरोपियों को पकड़ा लेकिन पूछताछ के बाद उन्हें छोड़ दिया गया.

इसी बीच किरन को जानकारी लगी कि गांव के नरेंद्र कश्यप और राजेन्द्र के साथ लवकुश को देखा गया था. पत्नी ने ये बात सीओ को बताई. पुलिस ने जब इनको फिर पकड़ा तो इन लोगों ने कुबूल किया कि उन लोगों ने पवन वर्मा के कहने पर 05 जनवरी को ही लवकुश को शराब पिलाई और उसकी हत्या कर बाइक समेत नहर में फेंक दिया. इसके बाद पुलिस ने इंदिरा नहर से सटे क्षेत्र में लवकुश के शव के बारे में जानकारी जुटानी शुरू की. पता चला कि 26 जनवरी को लखनऊ के बीबीडी इलाके में इंदिरा कैनाल से एक युवक का शव बरामद हुआ था. बीबीडी पुलिस ने शव को अज्ञात में होने के चलते नियमानुसार पोस्टमार्टम कराया और दाह संस्कार कर दिया था.

रविवार को उसकी पत्नी ने बीबीडी पहुंचकर कपड़ों, फोटो और हाथ में बने टैटू के आधार पर उसकी शिनाख्त लवकुश के रूप में की. उसके बाद पुलिस ने मामले में हत्या की धाराओं को बढ़ाया. पुलिस ने इन तीनों आरोपियों पवन वर्मा पुत्र ओंकार निवासी नाऊहार, नरेंद्र कश्यप पुत्र छोटेलाल और राजेंद्र उर्फ बंटी यादव पुत्र राम आधार निवासीगण खपुरवा खानपुर थाना फतेहपुर को फतेहपुर-बेलहरा रोड पर निजामुद्दीन कोल्ड स्टोर के मोड़ से गिरफ्तार कर लिया. इनकी निशानदेही पर लवकुश का आधार कार्ड और बैंक पासबुक को बरामद कर लिया गया.

पूछताछ में अभियुक्तों ने बताया कि लवकुश कश्यप मत्स्य जीवी सहकारी समिति नाऊहार का उपाध्यक्ष था. लवकुश के पिता हीरालाल ने मछुआ समाज को मिलने वाले लाभों के लिए समिति बनाई थी. हीरालाल अध्यक्ष थे और लवकुश उपाध्यक्ष था. हीरालाल की मौत हो जाने पर लवकुश अध्यक्ष वाला कामधाम देखने लगा. समिति के सारे कागजात भी उसी के पास थे. अभियुक्त पवन वर्मा समिति का सचिव था. वह नरेंद्र कश्यप को अध्यक्ष बनाना चाहता था. जिसके लिए उसने लवकुश पर कई बार दबाव भी बनाया था. लवकुश के रहते इन लोगों का मंसूबा पूरा होते न देख इन लोगों ने लवकुश को रास्ते से हटाने की योजना बना डाली. बीती 05 जनवरी को पवन ने नरेंद्र और राजेंद्र के साथ मिलकर लवकुश का अपहरण किया और उसे शराब पिलाकर उसकी हत्या कर शव को नहर में फेंक दिया.

ये भी पढ़ेंः Samajwadi Party की राष्ट्रीय कार्यकारिणी में अखिलेश यादव ने दी इस जिले को सबसे ज्यादा तवज्जो, आखिर क्या है वजह

बाराबंकी: यूपी के बाराबंकी में मत्स्य जीवी सहकारी समिति के उपाध्यक्ष का करीब 20 दिन पहले अपहरण कर लिया गया था. युवक की पत्नी की शिकायत पर पुलिस ने अपहरण का मुकदमा दर्ज करके पड़ताल शुरू की थी. काफी छानबीन के बाद गायब युवक का शव 20 दिन बाद लखनऊ के बीबीडी थाना क्षेत्र की एक नहर में पाया गया. पुलिस ने इस मामले के तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया तो हत्या का राज खुला. गिरफ्तार आरोपियों की निशानदेही पर युवक का आधारकार्ड और पासबुक बरामद की गई है.

मत्स्य जीवी सहकारी समिति के उपाध्यक्ष लवकुश कश्यप की पत्नी किरन के अनुसार उसके पति 05 जनवरी को बाइक से निकले थे लेकिन उसके बाद वापस नहीं आए. बीती 09 जनवरी को थाने में पहुंचकर अपहरण की आशंका जताई तो पुलिस ने गुमशुदगी दर्ज करके उसकी तलाश शुरू की. पत्नी ने आशंका जताई थी कि उसके साथ रहने वाले तीन लोग उसकी हत्या कर सकते हैं. पुलिस ने तीनों आरोपियों को पकड़ा लेकिन पूछताछ के बाद उन्हें छोड़ दिया गया.

इसी बीच किरन को जानकारी लगी कि गांव के नरेंद्र कश्यप और राजेन्द्र के साथ लवकुश को देखा गया था. पत्नी ने ये बात सीओ को बताई. पुलिस ने जब इनको फिर पकड़ा तो इन लोगों ने कुबूल किया कि उन लोगों ने पवन वर्मा के कहने पर 05 जनवरी को ही लवकुश को शराब पिलाई और उसकी हत्या कर बाइक समेत नहर में फेंक दिया. इसके बाद पुलिस ने इंदिरा नहर से सटे क्षेत्र में लवकुश के शव के बारे में जानकारी जुटानी शुरू की. पता चला कि 26 जनवरी को लखनऊ के बीबीडी इलाके में इंदिरा कैनाल से एक युवक का शव बरामद हुआ था. बीबीडी पुलिस ने शव को अज्ञात में होने के चलते नियमानुसार पोस्टमार्टम कराया और दाह संस्कार कर दिया था.

रविवार को उसकी पत्नी ने बीबीडी पहुंचकर कपड़ों, फोटो और हाथ में बने टैटू के आधार पर उसकी शिनाख्त लवकुश के रूप में की. उसके बाद पुलिस ने मामले में हत्या की धाराओं को बढ़ाया. पुलिस ने इन तीनों आरोपियों पवन वर्मा पुत्र ओंकार निवासी नाऊहार, नरेंद्र कश्यप पुत्र छोटेलाल और राजेंद्र उर्फ बंटी यादव पुत्र राम आधार निवासीगण खपुरवा खानपुर थाना फतेहपुर को फतेहपुर-बेलहरा रोड पर निजामुद्दीन कोल्ड स्टोर के मोड़ से गिरफ्तार कर लिया. इनकी निशानदेही पर लवकुश का आधार कार्ड और बैंक पासबुक को बरामद कर लिया गया.

पूछताछ में अभियुक्तों ने बताया कि लवकुश कश्यप मत्स्य जीवी सहकारी समिति नाऊहार का उपाध्यक्ष था. लवकुश के पिता हीरालाल ने मछुआ समाज को मिलने वाले लाभों के लिए समिति बनाई थी. हीरालाल अध्यक्ष थे और लवकुश उपाध्यक्ष था. हीरालाल की मौत हो जाने पर लवकुश अध्यक्ष वाला कामधाम देखने लगा. समिति के सारे कागजात भी उसी के पास थे. अभियुक्त पवन वर्मा समिति का सचिव था. वह नरेंद्र कश्यप को अध्यक्ष बनाना चाहता था. जिसके लिए उसने लवकुश पर कई बार दबाव भी बनाया था. लवकुश के रहते इन लोगों का मंसूबा पूरा होते न देख इन लोगों ने लवकुश को रास्ते से हटाने की योजना बना डाली. बीती 05 जनवरी को पवन ने नरेंद्र और राजेंद्र के साथ मिलकर लवकुश का अपहरण किया और उसे शराब पिलाकर उसकी हत्या कर शव को नहर में फेंक दिया.

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